द्वारका एक्सप्रेसवे टनल ट्रायल में ये समस्याएं आई सामने, अब इस पर शुरू हुआ काम
गुरुग्राम में द्वारका एक्सप्रेसवे और एयरपोर्ट टनल का ट्रायल जारी है। परीक्षण के दौरान तेज गति और धूल की समस्याएँ सामने आईं। सुरक्षा बढ़ाने के लिए रंबल स्ट्रिप्स और पानी का छिड़काव किया जाएगा। एनएचएआई दिल्ली-गुरुग्राम एक्सप्रेसवे पर यातायात कम करने के लिए प्रयासरत है। दिल्ली भाग के खुलने से यातायात में सुधार की उम्मीद है। टोल प्लाजा पर 34 लेन हैं जिससे प्रतिदिन ढाई लाख वाहन गुजर सकेंगे।

आदित्य राज, गुरुग्राम। द्वारका एक्सप्रेसवे की टनल के साथ ही एयरपोर्ट टनल का ट्रायल तीसरे दिन भी जारी रहा। तीसरे दिन दो कमियां महसूस की गईं। टनलों में वाहनों की अधिकतम स्पीड 80 किलोमीटर प्रतिघंटा निर्धारित है लेकिन कुछ वाहन इससे भी अधिक स्पीड से निकल रहे हैं।
यही नहीं वाहनों की तेज रफ्तार से धूल का गुब्बार टनलों के अंदर बन रहा है। दोनों की वजह से हादसा होने की आशंका है। इसे देखते हुए जहां टनलों में जगह-जगह खासकर जहां-जहां मोड़ है, वहां पर रंबल स्ट्रिप लगाए जाएंगे वहीं धूल का गुब्बार न बने इसके लिए समय-समय पर पानी का छिड़काव किया जाएगा।
दोनों के ऊपर शनिवार से ही काम शुरू कर दिया गया। खासकर सुरंगों की रेलिंग पर रिफ्लेटिंग टेप लगाने का काम शुरू कर दिया गया है। इससे पता चल सकेगा कि कहां से सुरंग मुड़ रही है।
यशोभूमि से एयरपोर्ट की तरफ जाने-आने के लिए 3.5 किलोमीटर लंबी टनल एवं एयरपोर्ट से गुरुग्राम की तरफ निकलने के लिए 2.2 किलोमीटर लंबी टनल बनाई गई है। दोनों का प्रतिदिन दोपहर 12 बजे से तीन बजे तक ट्रायल किया जा रहा है। अगले कुछ दिनों तक लगातार ट्रायल किया जाएगा।
प्रतिदिन कुछ न कुछ तकनीकी कमियां सामने आ रही हैं। पहले दिन नेटवर्क की दिक्कत की समस्या सामने आई थी। उसके ऊपर काम शुरू कर दिया गया है। दूसरे व तीसरे दिन खासकर तीसरे दिन सुरक्षात्मक कमियां महसूस की गईं।
इसके लिए न केवल जगह-जगह व रंबल स्ट्रिप लगाए जाएंगे बल्कि गो स्लो के बोर्ड भी जगह-जगह लगाए जाएंगे। दुर्घटना से देर भली स्लोगन लिखे बोर्ड भी लगाए जाएंगे। दोनों टनलों में कैमरे लगे हुए हैं लेकिन अभी ट्रैफिक कंट्रोल रूम से नहीं जुड़े हैं।
एनएचएआई का मानना है कि कंट्रोल रूम से जुड़ने के बाद चालान हो सकेंगे लेकिन मनमानी करने वालों पर लगाम लगाने के लिए सुरक्षात्मक उपाए करने होंगे। अगले दो से तीन दिनों के भीतर दोनों टनलों में सुरक्षात्मक उपाए कर दिए जाएंगे।
बता दें कि दिल्ली-गुरुग्राम एक्सप्रेसवे पर से ट्रैफिक का दबाव कम करने के लिए द्वारका एक्सप्रेसवे का निर्माण किया गया है। इसे दो हिस्से में बांटकर बनाया गया है। गुरुग्राम भाग का उद्घाटन हो चुका है। दिल्ली भाग के उद्घाटन के लिए एनएचएआइ ने प्रधानमंत्री कार्यालय से समय मांग रखा है।
द्वारका एक्सप्रेसवे का टोल प्लाजा तैयार
गुरुग्राम-दिल्ली सीमा पर द्वारका एक्सप्रेसवे का टोल प्लाजा बनाया गया है। इसमें 34 लेन हैं। इनसे होकर प्रतिदिन औसतन ढाई लाख वाहन आराम से निकलेंगे यानी एक सेकंड के लिए भी वाहन नहीं रुकेंगे। टोल प्लाजा में अत्याधुनिक कैमरे लगाए गए हैं ताकि वे प्लाजा के नजदीक आते ही फास्टैग रीड कर लेंगे।
फिलहाल एक लाख वाहन प्रतिदिन द्वारका एक्सप्रेसवे से निकल रहे हैं। दिल्ली भाग के चालू होने के बाद उम्मीद की जा रही है प्रतिदिन औसतन डेढ़ लाख वाहन निकलेंगे। इससे दक्षिण गुरुग्राम के इलाके में दिल्ली-गुरुग्राम एक्सप्रेसवे पर ट्रैफिक का दबाव काफी कम होने की उम्मीद है।
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