Nafe Singh Murder: नामजद आरोपियों का होगा नार्को टेस्ट? नफे सिंह परिवार के आरोपों के आधार पर CBI की जांच शुरू
बहादुरगढ़ के पूर्व विधायक नफे सिंह राठी (Nafe Singh Murder Case) की 25 फरवरी 2024 की शाम गोलियों से भूनकर हत्या कर दी गई थी। अंधाधुंध फायरिंग में एक पार्टी कार्यकर्ता की भी मौत हो गई। अब इस हत्याकांड की जांच सीबीआई को सौंप दी गई है। अब सीबीआई परिवार द्वारा लगाए गए आरोपों के आधार पर सीबीआई जांच करेगी।

जागरण संवाददाता, बहादुरगढ़। Nafe Singh Murder Case: इनेलो के प्रदेश अध्यक्ष एवं पूर्व विधायक नफे सिंह राठी हत्याकांड में सीबीआइ ने अपने स्तर पर अलग से केस दर्ज कर उसी एंगल पर अपनी जांच शुरू की है, जो आरोप नफे सिंह के परिवार ने लगा रखा है।
सीबीआइ को कई तरह की सीसीटीवी फुटेज, फोटो और दूसरी जानकारी भी परिवार ने दी है। ऐसे में सीबीआइ अब इस बिंदु पर जांच में जुट गई है कि हत्यारों और नामजद आरोपितों का कोई लिंक है या नहीं।
पुलिस की ओर से तो सभी नामजद आरोपितों से कई बार पूछताछ की गई थी, मगर किसी का लिंक न मिलने की बात कही गई। इसीलिए किसी को गिरफ्तार नहीं किया गया था।
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परिवार ने नार्को टेस्ट की उठाई मांग
सप्ताह भर पहले ही नफे सिंह के परिवार ने सभी नामजद आरोपितों के नार्को टेस्ट की मांग भी उठाई थी, लेकिन अब सीबीआइ ने यह केस अपने हाथ में लिया है। सीबीआइ के सूत्रों ने बताया कि टीम ने सबसे पहले नामजद आरोपितों की भूमिका को लेकर ही जांच शुरू की है।
स्वजनों ने अब तक पालिटिकल एंगल को ही इस हत्याकांड की मुख्य वजह बताई है। ऐसे में इस मामले में नामजद आरोपितों का कोई लिंक है या नहीं, इसका पता जांच पूरी होने के बाद ही लगेगा। सीबीआइ नफे सिंह के परिवार द्वारा लगाए गए आरोपों के आधार पर ही जांच शुरू की है।
मोबाइल कॉल रिकॉर्ड और लोकेशन की होगी जांच
नामजद आरोपितों की काल रिकार्ड व लोकेशन जांची जाएगी सीबीआइ की ओर से इस मामले में नामजद आरोपितों की हत्या से पहले कुछ महीनों की मोबाइल कॉल रिकॉर्ड और उनकी लोकेशन की जांच की जाएगी।
यदि आरोपितों का हत्याकांड से कोई कनेक्शन मिलता है तो यह मामला खुल ही जाएगा और अगर कोई कनेक्शन नहीं मिला तो फिर सीबीआइ द्वारा जांच को दूसरे एंगल पर आगे बढ़ाया जाएगा। जल्द ही सीबीआइ की ओर से इस मामले में बड़ी रेड भी की जाएगी।
यह है मामला
इनेलो के प्रदेशाध्यक्ष पूर्व विधायक नफे सिंह राठी की 25 फरवरी, 2024 को सांखौल-बराही मार्ग के रेलवे फाटक पर हत्या हुई थी।
हमले में उनके साथ पार्टी कार्यकर्ता जयकिशन दलाल भी मारे गए थे, जबकि गाड़ी चला रहे नफे सिंह के भांजे संजय और सुरक्षागार्ड संजीत जख्मी हो गए थे। नफे सिंह राठी की हत्या के मामले में दो शूटर अभी फरार हैं। इन दोनों पर एक-एक लाख का इनाम है।
सीबीआई की जांच से न्याय की उम्मीद
जितेंद्र नफे सिंह के पुत्र पार्षद जितेंद्र राठी का कहना है कि स्थानीय पुलिस ने दो शूटर तो पकड़े लेकिन नामजद आरोपितों को लेकर कोई कार्रवाई नहीं की। अब सीबीआइ की जांच से न्याय की उम्मीद है। हमारी बस एक ही मांग है कि जो भी इस हत्याकांड में शामिल हैं, वे बेनकाब हों और हमें न्याय मिले।
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