Bahadurgarh News: जल निकासी के लिए लगाए कई पंप, पानी में डूबी कॉलोनियों में कहीं ज्यादा तो कहीं कम राहत
बहादुरगढ़ की डूबी कॉलोनियों में मुंगेशपुर ड्रेन के पानी से कुछ राहत मिली है लेकिन कई इलाके अभी भी जलमग्न हैं। छोटूराम नगर और न्यू नेताजी नगर में जलभराव की स्थिति गंभीर है जिससे लोगों को परेशानी हो रही है। दिल्ली-हरियाणा सीमा पर गीतांजलि कॉलोनी में भी कई मकान डूबे हुए हैं। जलभराव रोकने के लिए प्रयास किए जा रहे हैं और ड्रेन का जलस्तर भी कम हुआ है।

जागरण संवाददाता, बहादुरगढ़। मुंगेशपुर ड्रेन से निकले पानी में डूबी कालोनियों में कहीं ज्यादा तो कहीं कम राहत मिली है। छोटूराम नगर के पास चारों तरफ से पानी में डूबे सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट से पानी निकासी के लिए कई पंप लगाए गए हैं, मगर अभी यहां पर ज्यादा राहत नहीं मिली है, क्योंकि पानी बहुत अधिक मात्रा में जमा है। छोटूराम नगर में कुछ पानी कम तो हुआ है, लेकिन इसी रफ्तार से पानी निकला तो पूरी तरह पहले सी जिंदगी होने में कई दिन लग सकते हैं।
छोटूराम नगर ही नहीं बल्कि सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट के सामने ड्रेन के दूसरी तरफ जो न्यू नेताजी नगर है, उसमें से भी पानी अभी नहीं निकला है। इन कालोनियों में जमा पानी इतना सड़ चुका है कि उसकी बदबू से घरों में सांस लेना तक दूभर हो रहा है। इसी गंदे पानी से लोगों को आना-जाना पड़ रहा है। इससे लोग बीमार हो रहे हैं।
इस समय वायरल और डायरिया का भी प्रकाेप है। काफी घरों में लोग प्रभावित हैं। छोटूराम नगर एरिया से पार्षद प्रतिनिधि हरिमोहन धाकरे ने बताया कि सिंचाई विभाग और जन स्वास्थ्य विभाग की तरफ से कई ट्रैक्टर और मोटर पंप लगाए गए हैं, लेकिन पानी अभी कालोनी में ज्यादा कम नहीं हुआ है। यहां पर पानी दूर तक फैला हुआ है।
दिल्ली-हरियाणा सीमा पर पानी में डूबे हैं काफी मकान
मुंगेशपुर ड्रेन टूटने से दिल्ली-हरियाणा सीमा पर डूबी गीतांजलि कालोनी में अभी आफत बाकी है। कालोनी की अधिकतर गलियों से पानी निकल चुका है, लेकिन इसी कालोनी में जो छोटे-छोटे पाकेट में घर बने हुए हैं वे अभी पानी में ही डूबे हुए हैं। ये बिल्कुल ड्रेन के नजदीक हैं। इसके अलावा जो घर कभी कालाेनी बसने के समय बने हुए थे और अब गलियों के लेवल से कई फीट नीचे हैं, उनमें भी कई फीट पानी भरा है।
इन घरों में जिंदगी अभी छत पर चल रही है। कुछ परिवार ऐसे भी हैं जो पानी में डूबे अपने घरों को छोड़कर इधर-उधर, किराये पर रह रहे हैं। उनके अपने घर का सामान गली में हैं। वहीं 2 सितंबर की रात पानी में डूबी कालोनी को छोड़कर झाड़ौदा में राहत शिविरों में पहुंचे लोग अब धीरे-धीरे अपने घरों को लौट रहे हैं ।
जलभराव से निपटने काे सीवर लाइन को दो जगह रोका
मुंगेशपुर ड्रेन की वजह से कई दिनों से प्रभावित वार्ड 18 के विवेकानंद नगर और धर्म विहार में जलभराव से निपटने के लिए इंतजाम किए गए हैं। ट्रैक्टर की मदद से पानी निकासी की गई है। संबंधित विभाग के जेई ने स्वयं मौके पर रहकर गड्ढा खोदकर समस्या का समाधान करवाया। कार्य का निरीक्षण वार्डवासी, पार्षद संदीप दहिया और जेई टीम ने किया।
इस प्रयास से वार्डवासियों को राहत मिलने लगी है। संभावना है कि आने वाले दिनों में सीवर बैक की समस्या नहीं होगी। पार्षद संदीप दहिया का कहना है कि पहले दिन से ही वार्ड में जलभराव की परेशानी को रोकने के प्रयास किए जा रहे हैं, मगर एक तो ड्रेन में पानी ज्यादा हो गया और ऊपर से कई जगहों से वार्ड में पानी आने के कारण निकासी में समय लग रहा।
एक फीट से नीचे जा चुका है ड्रेन का जलस्तर
मुंगेशपुर ड्रेन का जलस्तर लगातार नीचे जा चुका है। एक सप्ताह के अंदर यह एक फीट तक नीचे आया है। इसके कारण अब ड्रेन के तटबंधों के टूटने का खतरा कम हुआ है।अब आसपास में भरे पानी की ड्रेन में निकासी तेज की जा रही है।
शहर में जहां पर भी मुंगेशपुर ड्रेन के आसपास के हिस्से में जलभराव है, वहां से पानी निकासी के लिए पंप लगाए गए हैं। सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट के अलावा आधुनिक औद्योगिक क्षेत्र के पास भी जल निकासी करवाई जा रही है।
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