रेलवे में खेल! गाड़ियों पर भारत सरकार लिखकर लगा रहे थे चूना, 4 राज्यों की पुलिस भी नहीं पकड़ पाई
रेलवे में आउटसोर्सिंग के नाम पर ली गई गाड़ियां हरियाणा पंजाब हिमाचल और चंडीगढ़ में बिना स्टेट टैक्स चुकाए दौड़ रही हैं। भारत सरकार लिखा होने के कारण इन गाड़ियों को कोई नहीं रोकता है। परिवहन विभाग के अधिकारी भी बेपरवाह हैं। हैरानी की बात तो ये है कि जिन अधिकारियों के पास राजस्व बचाने की जिम्मेदारी है वे इससे अंजान बने हुए हैं।

दीपक बहल, अंबाला। रेलवे में अफसरों के लिए आउटसोर्सिंग पर ली गईं गाड़ियां हरियाणा सहित चार राज्यों को राजस्व का चूना लगा रही हैं।
ये कामर्शियल श्रेणी में आती हैं, लेकिन बिना स्टेट टैक्स अदा किए एक से दूसरे राज्य और केंद्रशासित प्रदेश चंडीगढ़ में दौड़ती हैं।
भारत सरकार लिखा होने के कारण कोई नहीं रोकता है गाड़ी
भारत सरकार लिखा होने के कारण इन्हें कोई नहीं रोकता। इन गाड़ियों पर कमर्शियल प्लेट तक नहीं लगी है। नियम ताक पर हैं और परिवहन विभाग के अधिकारी बेपरवाह हैं।
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जिन अधिकारियों के पास राजस्व बचाने की जिम्मेदारी है, वे अंजान बने हैं। अंबाला मंडल में करीब 70 गाड़ियां आउटसोर्स से ले रखी हैं, जिनका वार्षिक किराया करीब 4 करोड़ 20 लाख रुपये जाता है।
टेंडर का फायदा उठा रही हैं कंपनियां
रेलवे और प्राइवेट कंपनियों के बीच हुए टेंडर की शर्तों का फायदा कंपनियां उठा रही हैं। कमर्शियल गाड़ियों की नंबर प्लेट भी पीली होती हैं, जबकि इन गाड़ियों पर निजी वाहन नंबर प्लेट का इस्तेमाल किया जा रहा है।
एक राज्य से दूसरे राज्य जाती है अधिकारी की गाड़ी
अंबाला रेल मंडल की सीमा चार राज्यों और एक केंद्रशासित प्रदेश तक फैली है। इस मंडल का मुख्यालय अंबाला छावनी में है, जहां पर सभी शाखा अधिकारी और मंडल प्रबंधक भी बैठते हैं। मंडल की सीमा हरियाणा, पंजाब, हिमाचल प्रदेश, उत्तर प्रदेश, चंडीगढ़ तक है।
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ऐसे में रेल अधिकारी या अन्य स्टाफ गाड़ियों से सभी राज्यों में आवाजाही करती हैं। पहले रेल महकमे के पास सरकारी गाड़ियां होती थीं, लेकिन अब टेंडर के माध्यम से प्राइवेट गाड़ियां अफसरों को अलॉट कर रखी हैं।
क्या बोले अधिकारी?
अंबाला के जिला परिवहन अधिकारी सुशील कुमार ने कहा कि यह मामला उनकी जानकारी में नहीं है। यदि ऐसा हो रहा है, तो वह चेक करवाएंगे और नियम अनुसार जो भी कार्रवाई होगी, वह की जाएगी।
वहीं, सीनियर डीसीएम नवीन कुमार झा ने कहा कि जिन कंपनियों से रेलवे ने टाइअप किया है, उन कंपनियों को अवगत कराया जाएगा, ताकि सरकारी नियमों की पालना हो।
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