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    Oscar नॉमिनेटेड डॉक्यूमेंट्री To Kill A Tiger ओटीटी पर हुई रिलीज, सच्ची घटना पर आधारित है फिल्म

    To Kill A Tiger इस बार 96वें एकेडमी अवॉर्ड्स यानी Oscar 2024 के लिए नॉमिनेटेड है। निशा पाहुजा के निर्देशन में बनी यह डॉक्यूमेंट्री काफी समय से चर्चा में है। भारत में हर कोई इस डॉक्यूमेंट्री फिल्म के रिलीज का वेट कर रहा था। ऐसे में अब यह फिल्म ऑस्कर शुरू होने से कुछ घंटों पहले ओटीटी पर रिलीज कर दी गई है।

    By Rajshree Verma Edited By: Rajshree Verma Updated: Sun, 10 Mar 2024 05:24 PM (IST)
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    नेटफ्लिक्स पर हुई स्ट्रीम (Photo Credit: X)

    एंटरटेनमेंट डेस्क, नई दिल्ली। निशा पाहुजा के निर्देशन में बनी डॉक्यूमेंट्री फिल्म 'टू किल अ टाइगर' लंबे समय से सुर्खियों में बनी हुई है। इस डॉक्यूमेंट्री फिल्म को 96वें एकेडमी अवॉर्ड्स में बेस्ट डॉक्यूमेंट्री फीचर के लिए नॉमिनेटेड किया गया है।

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    कुछ दिनों पहले इसके ट्रेलर को रिलीज किया गया था, जिसे हर किसी ने काफी पसंद किया। उसके बाद से ही हर कोई इसके रिलीज होने का बेसब्री से इंतजार कर रहा था। ऐसे में अब ये फिल्म रिलीज हो गई है।

    यह भी पढ़ें: प्रियंका चोपड़ा ने जारी किया To Kill A Tiger का ट्रेलर, चुभने वाले सवाल उठाती है Oscar नॉमिनेटेड डॉक्यूमेंट्री

    नेटफ्लिक्स पर हुई स्ट्रीम

    मनोरंजन जगत के सबसे प्रतिष्ठित एकेडमी अवॉर्ड्स 'ऑस्कर' 10 मार्च को लॉस एंजिल्स के डॉल्बी थिएटर में होने जा रहे हैं। ऐसे में हर किसी की निगाहें उन्हीं पर टिकी हुई है। अब 'ऑस्कर' अवॉर्ड्स के शुरू होने से कुछ घंटों पहले नेटफ्लिक्स ने 10 मार्च को ही डॉक्यूमेंट्री फिल्म 'टू किल अ टाइगर' को स्ट्रीम कर दिया है।

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    नेटफ्लिक्स ने एक पोस्टर जारी करते हुए लिखा, 'विपरीत परिस्थितियों में साहस, लचीलेपन और धैर्य की एक वास्तविक कहानी - अब सर्वश्रेष्ठ वृत्तचित्र फीचर के लिए अकादमी पुरस्कार नामांकित। टू किल ए टाइगर अब स्ट्रीमिंग हो रही है, केवल नेटफ्लिक्स पर'।

    सच्ची घटना पर आधारित 'टू किल अ टाइगर' डॉक्यूमेंट्री

    निशा पाहुजा के निर्देशन में बनी 'टू किल अ टाइगर' की कहानी बेहद संवेदनशील है। यह कहानी झारखंड के एक परिवार की है। जहां साल 2017 में एक बारात से घर लौटते हुए एक 13 साल की किशोरी के साथ तीन लोगों ने दुष्कर्म की घटना को अंजाम दिया। इसके बाद बेटी को न्याय दिलाने के लिए एक पिता कोर्ट-कचहरी के चक्कर लगाता है।

    ऐसे में उसे और उसके परिवार को जान से मारने की धमकियां तक मिलती हैं। भय और शंका के बावजूद पिता अपनी बेटी को न्याय दिलाने के लिए कैसे लड़ाई लड़ता है, डॉक्यूमेंट्री में इसी कहानी को बयां किया गया है।

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