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    'इतना काफी है कि मैं जिंदा...'Single Papa की रिलीज के बाद क्या बोले Kunal Khemu, जोखिम लेना है पसंद

    By Priyanka SinghEdited By: Surabhi Shukla
    Updated: Thu, 18 Dec 2025 08:43 PM (IST)

    अभिनेता कुणाल खेमू नए साल के संकल्पों से ज्यादा जीवन और परिवार को महत्व देते हैं। वह नेटफ्लिक्स की वेब सीरीज 'सिंगल पापा' में नजर आ रहे हैं ...और पढ़ें

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    सिंगल पापा के एक सीन में कुणाल खेमू (फोटो-इंस्टाग्राम)

    प्रियंका सिंह, मुंबई। अभिनेता कुणाल खेमू (Kunal Khemu) के अनुसार नए साल के संकल्पों से ज्यादा महत्वपूर्ण हैं जीवन की कई अन्य चीजें। इन दिनों वह नजर आ रहे हैं नेटफ्लिक्स की वेब सीरीज सिंगल पापा में...

    साल 2025 खत्म होने को है, ऐसे में नए साल को लेकर कुछ लोगों के मन में कई उम्मीदें होती हैं। हालांकि अभिनेता कुणाल खेमू की सोच अलग है। उनका कहना है कि हर साल जीवन का एक अहम अध्याय होता है। मेरे लिए इतना काफी है कि मैं इस साल भी जिंदा हूं। अपने परिवार के साथ समय बिताने का मौका मिल रहा है, नए तरह का काम मिल रहा है, इससे ज्यादा क्या चाहिए।

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    मेरा आत्मविश्वास बढ़ा है - कुणाल 

    हाल ही में नेटफ्लिक्स के शो सिंगल पापा में मुख्य भूमिका में दिखे कुणाल आगे कहते हैं कि इस शो को करने के बाद आत्मविश्वास बढ़ा है कि कुछ नया कर सकता हूं। कई बार कलाकारों के पास इतनी सहूलियत नहीं होती कि वे नया काम चुनें या जोखिम लें। वे एक जैसा काम करते रह जाते हैं।

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    पहले एपिसोड की कहानी सुनते ही कहा हां

    खैर, फिर भी आम लोगों के मुकाबले एक कलाकार की जिंदगी ऐसी होती है कि उन्हें कुछ न कुछ नया करने को मिलता है। कलाकार होने के अपने फायदे हैं। एक ही जिंदगी में, हम कई जिंदगियां जी लेते हैं। कुणाल आगे कहते हैं कि सिंगल पापा इकलौता ऐसा कंटेंट है, जिसके पहले एपिसोड की कहानी सुनते ही मैंने हां कर दी थी। औपचारिकता पूरी करने के लिए मैंने बाकी स्क्रिप्ट बाद में पढ़ी, लेकिन मैं जानता था कि मैं इसका हिस्सा बनूंगा।

    जेंटल पेरेटिंग पर क्या बोले कुणाल खेमू

    इस शो में पैरेंटिंग और गोद लेने की प्रक्रिया के बारे में सरलता से बात की गई है। कई बार सीन देखने के बाद पता चलता था कि इतनी बड़ी बात कह दी है। निजी जीवन में पिता होने का अनुभव शो में उन्हें कितना काम आया? इस पर वह कहते हैं कि हम जैसे आज अपने बच्चे को परवरिश दे रहे हैं, उससे हमारी परवरिश अलग रही है। मैं यह नहीं कहूंगा कि समय बदल गया, तो हमें बदलने की जरूरत है। शो में जेंटल पैरेंटिंग (बच्चे को प्यार से पालना-पोसना) की बात की गई है। पैरेंटिंग निजी चीज होती है, जो तरीका आपके लिए काम करता है, जरूरी नहीं दूसरे के लिए भी करे।

    इंटरनेट पर सलाह देने के लिए पूरी दुनिया है, लेकिन आपको खुद देखना होगा कि आपका बच्चा आपसे क्या चाहता है। जब तक बच्चे 18 साल के नहीं हो जाते हैं, वे आपकी जिम्मेदारी हैं। आप नहीं कह सकते हैं कि मेरी जेंटल पैरेटिंग की वजह से मेरा बच्चा बिगड़ गया है।

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