Chunavi Kisse: जब पांच बार सांसद रह चुके इस कद्दावर नेता को झेलनी पड़ी थी शर्मनाक हार, भारी पड़ी थी ये जिद
Lok Sabha Election 2024 राजनीति की डगर आसान नहीं होती है। कई बार बड़े-बड़े नेताओं को भी इसमें मुंह की खानी पड़ती है। ऐसा ही कुछ हुआ था पूर्व रक्षा मंत्री जॉर्ज फर्नांडीस के साथ जिन्हें अपने जीवन के अंतिम चुनाव में बड़ी हार झेलनी पड़ी थी। जबकि वह इससे पहले पांच बार सांसद रह चुके थे। पढ़ें पूरा किस्सा..
प्रमोद कुमार, मुजफ्फरपुर। कभी देश के प्रमुख नेताओं में से एक और एनडीए के संयोजक रहे पूर्व रक्षा मंत्री जॉर्ज फर्नांडीस के राजनीतिक जीवन का अंतिम चुनाव बहुत अच्छा नहीं रहा। वर्ष 2009 के लोकसभा चुनाव में पार्टी ने टिकट नहीं दिया तो निर्दलीय खड़े हो गए।
वर्ष 2009 के लोकसभा चुनाव में मुजफ्फरपुर से पांच बार सांसद रह चुके जॉर्ज फर्नांडीस को जदयू ने टिकट नहीं दिया। उनकी जगह कैप्टन जय नारायण निषाद को पार्टी ने उम्मीदवार घोषित कर दिया। नाराज जॉर्ज पार्टी के फैसले के विरुद्ध चुनाव लड़ने की जिद पर अड़ गए।
जनता को रास नहीं आई जिद
पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष रहे शरद यादव एवं मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने उन्हें समझाने का हरसंभव प्रयास किया, लेकिन उन्होंने अपनी जिद नहीं छोड़ी और स्वतंत्र उम्मीदवार के रूप में मैदान में उतर आए। जॉर्ज के चुनावी मैदान में उतरने की जिद जनता को भी रास नहीं आई।
आपातकाल में जॉर्ज को जेल से संसद पहुंचाने वाले मतदाताओं ने इस बार उनको पूरी तरह से नकार दिया। उनको मात्र 22,804 मत मिले और वे पांचवें स्थान पर रहे। जबकि जदयू के घोषित उम्मीदवार कैप्टन जय नारायण निषाद को 1.95 लाख, प्रतिद्वंद्वी भगवान लाल सहनी को 1.47 लाख वोट मिले।
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साबित हुआ अंतिम चुनाव
तीसरे स्थान पर रहीं विनीता विजय को 1.08 लाख। बिजेंद्र चौधरी चौथे स्थान पर रहे और 44 हजार मत हासिल किया। जॉर्ज के बाद 12,195 मत लेकर महापौर समीर कुमार छठे स्थान पर रहे। जॉर्ज के लिए यह अंतिम चुनाव साबित हुआ। जॉर्ज 1977, 1980, 1989, 1991 और 2004 में मुजफ्फरपुर से सांसद रहे थे।
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