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    Delhi Election 2020 : EC ने जारी की मतदाताओं की आखिरी सूची, बुजुर्ग घर बैठे करेंगे मतदान

    By Mangal YadavEdited By:
    Updated: Thu, 23 Jan 2020 10:54 AM (IST)

    दिल्ली के सभी 70 विधानसभा क्षेत्रों में एक-एक मॉडल मतदान केंद्र होंगे। इनमें अन्य मतदान केंद्रों की तुलना में अधिक सुविधा होगी।

    Delhi Election 2020 : EC ने जारी की मतदाताओं की आखिरी सूची, बुजुर्ग घर बैठे करेंगे मतदान

    नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। विधानसभा चुनाव के लिए नामांकन खत्म होने के साथ ही मतदाता सूची में बदलाव की प्रक्रिया भी बंद कर दी गई है। मुख्य निर्वाचन अधिकारी (सीईओ) कार्यालय ने इस चुनाव के लिए मतदाताओं की अंतिम सूची तैयार ली है। सीईओ कार्यालय के मुताबिक, एक करोड़ 47 लाख 86 हजार 389 मतदाता मिलकर इस बार दिल्ली की सरकार चुनेंगे। इस तरह पिछले विधानसभा चुनाव की तुलना में इस बार करीब 14.77 लाख अधिक मतदाता हैं।

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    सीईओ रणबीर सिंह ने कहा कि मतदाता सूची में अब कोई परिवर्तन नहीं किया जाएगा। नए नाम जोड़ने व काटने का काम 21 जनवरी के बाद बंद कर दिया गया है। छह जनवरी को विधानसभा चुनाव की घोषणा के दिन मतदाता सूची के आंकड़े जारी किए गए थे। तब दिल्ली में एक करोड़ 46 लाख 92 हजार 136 मतदाता थे। इसके बाद भी 11 जनवरी तक काफी संख्या में लोगों ने मतदाता सूची में नाम जोड़ने के लिए आवेदन किया था, जिनका सूची में नाम शामिल करने की प्रक्रिया चल रही थी। इस तरह छह जनवरी के बाद 94,246 मतदाता जुड़े हैं जिसमें 18 से 19 वर्ष के नए मतदाता अधिक हैं।

    70 मॉडल मतदान केंद्र संभालेंगी महिला अधिकारी

    दिल्ली के सभी 70 विधानसभा क्षेत्रों में एक-एक मॉडल मतदान केंद्र होंगे। इनमें अन्य मतदान केंद्रों की तुलना में अधिक सुविधा होगी। खास बात यह है कि इन 70 मतदान केंद्रों के सभी बूथ पिंक बूथ होंगे। इसका मतलब यह है कि उसकी कमान पूरी तरह महिला अधिकारियों के हाथ में होगी। इसका मकसद महिला सशक्तीकरण को बढ़ावा देना है। इसके अलावा हर जिले में एक मतदान बूथ दिव्यांग अधिकारी व कर्मचारी संभालेंगे। ऐसे मतदान केंद्रों पर कर्मचारियों की इच्छा से तैनात किया जाएगा।

    मतदाताओं से संबंधित आंकड़े

    22 जनवरी 2020 तक फाइनल मतदाताओं के आंकड़े

    कुल मतदाता: 1,47,86,389

    पुरुष मतदाता: 81,05,236

    महिला मतदाता: 66,80,277

    थर्ड जेंडर : 869

    सर्विस मतदाता: 11,608

    पहली बार मतदान करने वाले मतदाता (18 से 19 साल के) : 2,32,815

    80 साल से अधिक उम्र वाले मतदाता: 2,04,830

    100 साल से अधिक उम्र वाले मतदाता: 690

    दिव्यांग मतदाता: 50,473

    एनआरआइ मतदाता: 498

    मतदाताओं का अनुपात: 73.40

    मतदाताओं का लिंगानुपात: 824

    सबसे अधिक मतदाताओं वाला सीट: मटियाला

    मटियाला क्षेत्र में मतदाताओं की संख्या: 4,23,682

    सबसे कम मतदाताओं वाली सीट: चांदनी चौक

    चांदनी चौक क्षेत्र में मतदाताओं की संख्या: 1,25,684

    लोकसभा चुनाव के बाद बढ़े मतदाता: चार लाख 69 हजार 929

    कुल मतदान केंद्र: 2689

    कुल मतदान बूथ: 13,750

    करीब चार हजार मतदाता व बुजुर्ग घर बैठे करेंगे मतदान

    80 साल से अधिक उम्र के बुजुर्गों व दिव्यांग मतदाताओं को इस बार घर बैठे मतदान की सुविधा दी जा रही है। ऐसे कुल 2,55,303 मतदाता हैं लेकिन इसमें से सिर्फ करीब चार हजार लोगों ने ही इस सुविधा के लिए आवेदन दिया है। सीईओ कार्यालय के अनुसार मतदान के दिन चुनाव अधिकारी बैलेट लेकर उनके घर जाएंगे और मतदान कराएंगे। यह मतदान भी पूरी तरह गोपनीय होगा। उसकी वीडियो रिकार्डिंग भी कराई जाएगी और उम्मीदवारों के एजेंट भी वहां मौजूद रह सकते हैं। घर पर मतदाता के नहीं मिलने पर अधिकारी कुछ देर बाद दूसरी बार भी बैलेट लेकर जाएंगे।

    11 विधानसभा क्षेत्रों में मतदाताओं की पहचान के लिए क्यूआर कोड का इस्तेमाल

    चुनाव में इस बार 11 विधानसभा क्षेत्रों में मतदाताओं की पहचान के लिए क्यूआर कोड का इस्तेमाल तो होगा लेकिन अब डिजिटल मतदाता पर्ची का इस्तेमाल नहीं होगा। इसलिए बूथ के अंदर मोबाइल फोन ले जाना वर्जित होगा। हालांकि लोग वोटर हेल्पलाइन एप से डिजिटल मतदाता पर्ची डाउनलोड कर उसका प्रिंट्रआउट लेकर मतदान केंद्र पर जा सकते हैं।

    दरअसल, इस बार दिल्ली की सभी 70 सीटों पर चुनाव अधिकारियों द्वारा बूथ एप के इस्तेमाल करने की तैयारी थी। इसके तहत सभी मतदाताओं की पर्ची पर क्यूआर कोड का प्रावधान किया गया है, ताकि मतदाता केंद्र पर चुनावी ड्यूटी में जुटे अधिकारी बूथ एप के माध्यम से क्यूआर कोड स्कैन कर मतदाताओं की पहचान कर सकें। बाद में चुनाव आयोग ने सिर्फ 11 विधानसभा क्षेत्रों में ही इसका इस्तेमाल करने की इजाजत दी।

    तब यह कहा गया था कि बूथ लेवल अधिकारी (बीएलओ) घर-घर जाकर क्यूआर कोड युक्त मतदाता पर्ची पहुंचाएंगे। किसी वजह से यह पर्ची खो जाने पर मतदाता मोबाइल फोन लेकर मतदान केंद्र पर जा सकेंगे ताकि क्यूआर कोड स्कैन करने के लिए डिजिटल पर्ची का इस्तेमाल हो सके। मुख्य निर्वाचन अधिकारी (सीईओ) डॉ. रणबीर सिंह ने कहा कि इस प्रावधान पर कई लोगों ने सवाल उठाए। चुनाव में गोपनीयता सबसे अहम है। इसे ध्यान में रखते हुए बूथ में मोबाइल ले जाने की स्वीकृति नहीं होगी।

    पिक एंड ड्रॉप की सुविधा

    80 वर्ष से अधिक उम्र वाले जिन बुजुर्गों व दिव्यांग मतदाताओं ने घर बैठे मतदान के लिए आवेदन नहीं दिया है उन्हें पिक एंड ड्रॉप की सुविधा दी जाएगी। इसके लिए 25 जनवरी से सीईओ कार्यालय को अनुरोध भेजा जा सकेगा और 31 जनवरी तक अनुरोध स्वीकार किया जाएगा। वोटर हेल्पलाइन नंबर (1950) पर कॉल कर या मैसेज (7738299899) भेजकर सुविधा की मांग की जा सकती है। मतदाताओं को मैसेज बॉक्स में वोटर कार्ड नंबर और स्पेस देकर पिक लिखकर दिए नंबर पर मैसेज करना होगा।

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