मोबाइल फोन का इस्तेमाल किए बिना सोशल मीडिया के जरिये मांगता था रंगदारी
सोशल मीडिया के जरिये ही वह गिरोह के सदस्यों से संपर्क करता था और कारोबारियों, केबल ऑपरेटरों से रंगदारी मांगता था। ...और पढ़ें

नई दिल्ली [विनीत त्रिपाठी]। कुख्यात सोनू दरियापुर न केवल दस साल तक खुफिया एजेंसियों के नेटवर्क ध्वस्त कर बेखौफ एक राज्य से दूसरे राज्य में घूमता रहा, बल्कि सोशल मीडिया के जरिये रंगदारी भी मांग रहा था। सोशल मीडिया के जरिये वह पूरा नेटवर्क चलाता था।
पुलिस से बचने के लिए मोबाइल फोन का इस्तेमाल नहीं करता था और न ही कभी परिजनों से मिलने जाता था। स्पेशल सेल की टीम उसके फेसबुक, वाट्सएप व टेलीग्राम पर बने एकाउंट को खंगाल रही है।
स्पेशल सेल के डीसीपी संजीव कुमार यादव ने बताया कि सोनू ने फेसबुक मैसेंजर, टेलीग्राम व वाट्सएप पर फर्जी नाम से एकाउंट खोल रखा था। इन सभी एकाउंट के नाम रोचक रखे गए थे। उन्होंने जांच के चलते इनकी जानकारी देने से मना कर दिया है।
सोशल मीडिया के जरिये ही वह गिरोह के सदस्यों से संपर्क करता था और कारोबारियों, केबल ऑपरेटरों से रंगदारी मांगता था। कुख्यात मोनू की हत्या के बाद भी वह कई बार रंगदारी की रकम वसूलने व अपने गिरोह के सदस्यों से मिलने दिल्ली आया था। उसके सोशल मीडिया एकाउंट के जरिये स्पेशल सेल को कई अहम जानकारी मिली हैं।
बदल देता था कार का नंबर
सोनू जानकारों के माध्यम से वाहन को बदलता था। दूसरे राज्य में जाने से पहले नंबर प्लेट भी बदल देता था। उसकी कार से दिल्ली, राजस्थान, पंजाब व हरियाणा की नंबर प्लेट बरामद हुई हैं।
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