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    दिल्ली दंगों से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में ताहिर हुसैन को मिली जमानत, मुस्तफाबाद से लड़ा था विधानसभा चुनाव

    Updated: Sat, 29 Mar 2025 11:31 PM (IST)

    उत्तर पूर्वी दिल्ली दंगों से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में मुख्य आरोपी और पूर्व पार्षद ताहिर हुसैन को शनिवार को जमानत मिल गई। अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश समीर बाजपेयी की अदालत ने उन्हें यह राहत दी है। ताहिर पर आरोप है कि उन्होंने तीन डमी कंपनियां बनाकर 1.59 करोड़ रुपये जुटाए थे और उस पैसे को दंगों में इस्तेमाल किया था।

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    दिल्ली दंगों से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में ताहिर हुसैन को मिली जमानत।

    जागरण संवाददाता, पूर्वी दिल्ली। उत्तर पूर्वी दिल्ली दंगे से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग मामले में मुख्य आरोपित एवं पूर्व पार्षद ताहिर हुसैन को शनिवार को कड़कड़डूमा स्थिति कोर्ट ने जमानत दे दी। अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश समीर बाजपेयी के कोर्ट ने दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 436-ए के प्रविधान के तहत उसे यह राहत दी है।

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    कोर्ट ने आदेश में कहा कि ताहिर पर जो आरोप हैं, उनमें निर्धारित कारावास की अधिकतम अवधि का आधा हिस्सा वह पूरा कर चुका है। लिहाजा वह जमानत का हकदार है। कोर्ट ने उसे 50 हजार रुपये के दो जमानती और इतनी ही राशि का निजी मुचलका जमा करने को कहा है। हालांकि वह अभी बाहर नहीं आ पाएगा। दंगे की साजिश के मामले में वह न्यायिक हिरासत में है।

    मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के तहत दर्ज की थी प्राथमिकी

    फरवरी 2020 में उत्तर-पूर्वी दिल्ली में हुए दंगे में 53 लोग मारे गए थे। इसे लेकर ईडी ने ताहिर हुसैन के खिलाफ प्रीवेंशन आफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (पीएमएलए) के तहत प्राथमिकी की थी। उसमें आरोप लगाया था कि ताहिर हुसैन ने तीन डमी कंपनियां बनाकर अवैध तरीके से 1.59 करोड़ रुपये जुटाए थे। उस धन को उसने उत्तर पूर्वी दिल्ली में दंगा भड़काने के लिए लोगों में बांटा था।

    अधिकतम सात वर्ष की सजा का प्रावधान

    इस मामले में मार्च 2022 में ताहिर के खिलाफ आरोप तय हुए थे। अब इस मामले का ट्रायल चल रहा है। इस मामले में ताहिर ने वैधानिक जमानत के लिए लगाई अर्जी में कहा था कि उस पर लगे मनी लॉन्ड्रिंग के आरोप में अधिकतम सात वर्ष की कैद का प्रावधान है। वह इस केस में चार वर्ष से अधिक कैद में बिता चुका है। इसलिए दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 436-ए के तहत उसे जमानत प्रदान की जाए।

    AIMIM की टिकट पर लड़ा था मुस्तफाबाद से चुनाव

    इस पर कोर्ट ने उसे राहत दे दी। बता दें कि दंगे में नाम आने के बाद ताहिर को आप ने निलंबित कर दिया था। इसी वर्ष उसने आल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआइएमआइएम) ज्वाइन कर मुस्तफाबाद विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ा था।

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