Delhi Rains: जलभराव से निपटने के लिए दिल्ली की तैयारियां अभी भी अधूरी, लगानी होगी और ताकत
नई दिल्ली में बुधवार को हुई बारिश ने गर्मी से राहत दी लेकिन जलभराव और जाम से मुश्किलें बढ़ गईं। दिल्ली की एजेंसियों की तैयारियों की पोल खुल गई जिससे लोग सोशल मीडिया पर नाराजगी जता रहे हैं। कई इलाकों में दो घंटे तक जाम लगा रहा। मिंटो ब्रिज और ओल्ड राजेंद्र नगर में जलभराव नहीं हुआ पर अन्य जगहों पर स्थिति खराब रही।

जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। बुधवार को वर्षा ने दिल्ली वालों को गर्मी व उमस से राहत दी, लेकिन साथ ही जलभराव व भीषण जाम की समस्या से भी दोचार होना पड़ा। इससे दिल्ली की एजेंसियों के जलभराव से निपटने के दावे पानी में बह गए। साथ ही एजेंसियों की तैयारियों की भी पोल खुल गई है।
ऐसे में दिल्ली की इन एजेंसियों से नागरिक इंटरनेट मीडिया पर और बेहतर तैयारी करने की मांग करते हुए नजर आए। क्योंकि लोगों को जलभराव व जाम के कारण दो से ढाई घंटे तक परेशान होना पड़ा। हालांकि मिंटो ब्रिज से लेकर विकास मार्ग और ओल्ड राजेंद्र नगर के बड़ा बाजार जैसे रोड पर जलभराव नहीं हुआ।
अधिकारियों की भी जवाबदेही सुनिश्चत करने की मांग
ऐसे में जैसे प्रविधान जलभराव से निपटने के लिए एजेंसियों ने इन स्थानों पर किए हैं वैसे ही सुधार अन्य जलभराव के स्थानों पर करने की दरकार है। साथ ही एजेंसियों ने हर जलभराव के लिए नोडल अधिकारियों की नियुक्ति की थी ऐसे में इन अधिकारियों की भी जवाबदेही सुनिश्चत करने की मांग हो रही है।
बृहस्पतिवार को वर्षा के कारण स्थित यह रही कि नाट प्लेस, इंडिया गेट, मथुरा रोड, रिंग रोड, बहादुर शाह जफर मार्ग, आइटीओ, विकास मार्ग, दिल्ली गेट, बाराखंभा, कश्मीरी गेट, सराय काले खां, लक्ष्मी नगर, शास्त्री पार्क, छतरपुर जैसे इलाकों में जलभराव के साथ ही जाम की भीषण समस्या रही। अरविंद मार्ग, जीके, रेल भवन, अक्षरधाम, आश्रम, पुल प्रहलादपुर, एमबी रोड, एमजी रोड, पुराना रोहतक रोड, शादीपुर, मधुबन चौक समेत अन्य शामिल हैं।
यह जलभराव अधिक देर के लिए नहीं रहा
जाम की स्थिति यह कि 15 से 20 मिनट का सफर एक से दो घंटे में पूरा हो रहा था। खासकर यमुना पार पूर्वी दिल्ली में रिहायशी इलाकों की गलियों से लेकर मुख्य मार्गों पर वर्षा का पानी जमा हुआ। दिल्ली भर में प्रमुख मार्गों पर 150 से अधिक स्थानों पर जलभराव की शिकायतें मिली। हालांकि, यह जलभराव अधिक देर के लिए नहीं रहा। वर्षा के आधे से एक घंटे में अधिकांश स्थानों से पानी निकल गया। जबकि, जाम के स्थान 200 से अधिक रहे।
सीलमपुर, शाहदरा मेट्रो स्टेशन के बाहर, ब्रह्मपुरी रोड, बाबरपुर सौ फुटा रोड, वजीराबाद रोड, एनएच-नौ की सर्विस लेन, स्वामी दयानंद मार्ग, शाहदरा जीटी रोड, यमुना विहार, बृजपुरी रोड समेत कई जगह वर्षा से जलराव हुआ। सड़कों पर इतना पानी भर गया कि कई वाहन बंद हो गए। इससे सड़कों पर जाम लग गया। लोग जलभराव में अपने वाहनों को धक्का लगाकर साइड करते हुए दिखाई दिए।
सीलमपुर सर्विस रोड पर करीब तीन फुट पानी जमा हो गया
सीलमपुर सर्विस रोड पर करीब तीन फुट पानी जमा हो गया। बैरिकेड लगाकर वाहनों के लिए रास्ता बंद करना पड़ा। जिस सड़क पर जलभराव हुआ, वहां लंबा जाम लगा। जलभराव से लोगों के मकानों व दुकानों में पानी भर गया। जिससे नाराज लोग निगम व पीडब्ल्यूडी की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाते दिखे।
दक्षिणी दिल्ली में कई स्थानों पर जलजमाव होने से यातायात प्रभावित रहा। संगम विहार, देवली, सैनिक फार्म व एमबी रोड पर पानी भर जाने से वाहनों की रफ्तार रुक सी गई। वहीं आउटर रिंग रोड पर मोदी मिल फ्लाईओवर से मथुरा रोड पर जसोला विहार तक जाम लगा रहा। आश्रम, मूलचंद, चिराग दिल्ली चौक पर भी वाहन रेंगते नजर आए।
आउटर रिंग रोड, रिंग रोड, डीएनडी पर भी वाहनों की कतार लगी रही। वहीं गुरुग्राम से महरौली आने वाले मार्ग पर जल निकासी के लिए एमसीडी ड्रेनेज का काम करा रहा है। तेज वर्षा में पानी की निकासी न होने से कुतुब मीनार मेट्रो स्टेशन से लेकर छतरपुर तक का इलाका भीषण जाम की चपेट में रहा। फरीदाबाद, गुरुग्राम और नोएडा जाने व लौटने वालों को घंटों जाम में फंसना पड़ा।
घर पहुंचने को लेकर परेशान हुए लोग
शाम को हुई वर्षा व जलभराव के बीच लाेग घर पहुंचने में परेशान दिखे। खासकर बसों को पकड़ने में काफी परेशान आई। कई बस स्टाप के सामने की सड़क पर जलभराव था। आइटीओ के बस स्टाप पर भी जलभराव की स्थित थी। ऐसे में लोगों को पानी में उतरकर बसें पकड़नी पड़ रही थी।
होने चाहिए और सुधार
निगम की निर्माण समिति के अध्यक्ष रहे जगदीश ममगांई कि दिल्ली के संवेदनशील इलाके हैं जहां जलभराव होता है। इस वर्ष अभी तक मिंटो ब्रिज और ओल्ड राजेंद्र नगर में जहां पिछले वर्ष जलभराव हुआ था वहां नहीं हुआ। हालांकि पिछले साल जब जलभराव हुआ था वर्षा की मात्रा ज्यादा थी लेकिन इस वर्ष कम है। फिर भी यहां जलभराव न होना उचित कदम है।
उन्होंने कहा कि सरकार को चाहिए कि अगर उनके काम करने से मिंटो ब्रिज और ओल्ड राजेंद्र नगर जैसे प्वाइंट पर जलभराव नहीं हुआ है तो सभी अन्य प्वाइंट पर इस तरह के काम करें नई पाइपलाइन डाले, जल निकासी की नालियों की क्षमता बढाएं ताकि जलभराव न हो।
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