DTC बसों में तंबाकू और बीड़ी फूंकने वालों की खैर नहीं, कर्मचारी ठोक रहे भारी जुर्माना
दिल्ली परिवहन निगम (डीटीसी) बसों में तंबाकू और बीड़ी के सेवन पर सख्ती से कार्रवाई की जा रही है। नियम तोड़ने वालों पर चालान काटा जा रहा है और जुर्माना लगाया जा रहा है। यह कदम न केवल यात्रियों के स्वास्थ्य को ध्यान में रखता है बल्कि दिल्ली सरकार की स्वच्छता और प्रदूषण नियंत्रण नीतियों को भी मजबूत करता है।
जागरण संवाददाता, पश्चिमी दिल्ली। दिल्ली परिवहन निगम (डीटीसी) की बसों में तंबाकू का सेवन और बीड़ी पीने की बढ़ती शिकायतों के बाद अब डीटीसी कर्मचारी सख्त कार्रवाई कर रहे हैं। सार्वजनिक परिवहन को स्वच्छ और सुरक्षित बनाने के लिए शुरू की गई इस मुहिम के तहत नियम तोड़ने वालों पर चालान काटा जा रहा है और जुर्माना लगाया जा रहा है। यह कदम न केवल यात्रियों के स्वास्थ्य को ध्यान में रखता है, बल्कि दिल्ली सरकार की स्वच्छता और प्रदूषण नियंत्रण नीतियों को भी मजबूत करता है।
डीटीसी अधिकारियों के अनुसार, बसों में धूम्रपान और तंबाकू उत्पादों का उपयोग प्रतिबंधित है। इसके बावजूद, कई यात्री नियमों की अनदेखी करते हुए बीड़ी, सिगरेट या तंबाकू चबाते पाए गए हैं। इससे न केवल सह-यात्रियों को परेशानी होती है, बल्कि बसों की साफ-सफाई भी प्रभावित होती है। जगह- जगह थूककर बसों को लाल किया गया है। इस समस्या से निपटने के लिए डीटीसी कर्मियों की फौज (टिकट चैकिंग स्टाफ व अन्य) सक्रिय हो गई है। वह नियम तोड़ने वालों के खिलाफ तत्काल कार्रवाई कर भी रहे हैं।
बीड़ी और गुटका अन्य यात्रियों के लिए भी असुविधाजनक
पिछले कुछ महीनों में प्राप्त शिकायतों के आधार पर करीब एक सप्ताह पहले यह अभियान शुरू किया गया। एक डीटीसी अधिकारी ने बताया कि उन्हें रोजाना यात्रियों से शिकायतें मिल रही थीं कि कुछ लोग बसों में बीड़ी पीते हैं या गुटखा थूकते हैं। यह न केवल अस्वास्थ्यकर है, बल्कि अन्य यात्रियों के लिए असुविधाजनक भी है। अब ऐसे लोगों का चालान काटा जा रहा है और 200 रुपये तक का जुर्माना लगाया जा रहा है।
बसों में टिकट चैक करने के दौरान ही निगरानी बढ़ी
इस अभियान के तहत डीटीसी कर्मचारी बसों में टिकट चैक करने के दौरान ही निगरानी बढ़ा रहे हैं। वह यात्रियों से भी पूछ रहे हैं कि किसी ने आसपास गुटखा तो नहीं थूका है या बीड़ी तो नहीं पी है। नियम तोड़ने वाले यात्रियों को पहले चेतावनी दी जाती है, और अनुपालन न करने पर चालान काटा जाता है। जुर्माने की राशि सीधे डीटीसी के खाते में जमा की जाती है, जिसका उपयोग बसों की रखरखाव और स्वच्छता के लिए किया जाएगा। साथ ही, यात्रियों को जागरूक करने के लिए बसों में घोषणाएं भी शुरू की गई हैं, जिनमें तंबाकू और धूम्रपान के दुष्प्रभावों के बारे में बताया जा रहा है।
एसी बसों में बीड़ी की गंध से सांस लेना मुश्किल
यात्रियों ने इस पहल का स्वागत किया है। उत्तम नगर से रोजाना सफर करने वाली रेखा शर्मा ने कहा कि कुछ बुजुर्ग लोग बस में बैठकर बीड़ी पीने लगते हैं। बिना एसी की बस में तो धूआं बाहर निकल जाता है, लेकिन एसी बसों में तो बीड़ी की गंध से सांस लेना मुश्किल हो जाता था। अब कर्मचारी कार्रवाई कर रहे हैं, तो उम्मीद है कि स्थिति सुधरेगी। हालांकि, कुछ यात्रियों का मानना है कि केवल जुर्माना पर्याप्त नहीं है। उनका सुझाव है कि तंबाकू उत्पादों की बिक्री पर भी सख्ती होनी चाहिए।
प्रमुख मार्गों पर तैनात पुलिसकर्मी डीटीसी कर्मचारियों की मदद कर रहे
दिल्ली पुलिस भी इस अभियान में सहयोग कर रही है। बस अड्डों और प्रमुख मार्गों पर तैनात पुलिसकर्मी डीटीसी कर्मचारियों की मदद कर रहे हैं ताकि नियम तोड़ने वालों पर नकेल कसी जा सके। विशेषज्ञों का कहना है कि यह कदम दिल्ली को स्वच्छ और धूम्रपान-मुक्त बनाने की दिशा में एक सकारात्मक प्रयास है।
डीटीसी के इस अभियान से न केवल सार्वजनिक परिवहन की गुणवत्ता में सुधार होगा, बल्कि लोगों में जागरूकता भी बढ़ेगी। अधिकारियों ने चेतावनी दी है कि नियमों का उल्लंघन करने वालों के खिलाफ कार्रवाई और सख्त की जाएगी।
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