CBI Raid: आप नेता दुर्गेश पाठक के घर छापेमारी, जांच में विदेशी फंडिंग को लेकर खुले बड़े राज; इस तरह हुआ फर्जीवाड़ा
सीबीआई ने आप नेता दुर्गेश पाठक के घर पर विदेशी फंडिंग मामले में छापेमारी की। जांच में सामने आया कि आप नेताओं ने विदेशी फंडिंग के दानदाताओं के नाम अपने खाते में छिपाए थे। कनाडा में एक फंड इवेंट में दुर्गेश पाठक ने निजी लाभ के लिए विदेशी फंड जुटाए थे। सीबीआई ने फॉरेन करेंसी रेगुलेशन एक्ट का केस दर्ज किया है।
जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। विदेशी फंडिंग मामले में सीबीआई ने बृहस्पतिवार सुबह मध्य जिला के न्यू राजेंद्र नगर स्थित आम आदमी पार्टी के नेता दुर्गेश पाठक के घर पर छापेमारी की। सुबह करीब 7.30 बजे सीबीआई की टीम उनके घर पर पहुंची थी। करीब साढ़े चार घंटे तक घर की तलाशी लेने के बाद सीबीआई पौने 12 बजे वापस लौट गई।
पिछले साल मई में ईडी ने गृह मंत्रालय को सौंपी एक रिपोर्ट में दुर्गेश पाठक समेत अन्य आप नेताओं के बैंक खातों में विदेशी फंडिंग के साक्ष्य मिलने की बात कही थी। जिसके बाद गृह मंत्रालय में अंडर सेकेट्री राजेश कुमार ने सीबीआई में शिकायत कर दी थी। जांच के बाद बुधवार को सीबीआई ने आप नेता दुर्गेश पाठक व कपिल भारद्वाज समेत अन्य अज्ञात के खिलाफ विदेशी मुद्रा नियंत्रण कानून (एफसीआरए) के तहत प्राथमिकी दर्ज की थी। उसके अगले दिन सीबीआई ने छापेमारी शुरू कर दी।
सीबीआई का कहना है कि आप नेताओं ने विदेशी फंडिंग के दान दाताओं के नाम अपने खाते में छिपाया ताकि आम आदमी पार्टी को विदेशी फंड कौन दे रहा है इस बारे में किस अन्य पार्टी को पता न चल सके।
वहीं, जांच में सामने आया कि 2016 में कनाडा में एक फंड इवेंट में दुर्गेश पाठक ने निजी लाभ के लिए विदेशी फंड जुटाए थे। विदेश में रहने वाले 155 लोगों ने 1.02 करोड़ रुपये अलग-अलग 404 अगल-अलग तिथियों में दिए थे, इनमें 55 पासपोर्ट का इस्तेमाल किया गया था।
टोरंटो कनाडा में किया था एक कार्यक्रम
22 नवंबर 2015 को आम आदमी पार्टी ने टोरंटो कनाडा में एक कार्यक्रम किया था, जिसे दुर्गेश पाठक ने अटेंड किया था, उस कार्यक्रम में 15,000 कनेडियन डॉलर मिले थे। हाथों से लिखा हुआ डाटा शीट्स जिसमें दान-दाताओं के नाम और राशि के बारे में जिक्र किया था। उसे पार्टी नेताओं ने मेल के जरिये पार्टी को भेजा था। और तो और हाथों से लिखे डाटा शीट्स में दान-दाताओं के जो नाम लिखे गए थे, उनको आप नेताओं ने आधिकारिक रिकॉर्ड्स पर नहीं लाया। इस तरह विदेशी फंडिंग में दान-दाताओं के नाम छिपाकर गड़बड़ी की गई।
30 जनवरी 2016 को भी आम आदमी पार्टी ने टोरेंट कनाडा में एक और कार्यक्रम किया था, जिसमें 11786 डॉलर विदेशी फंडिंग मिली और 3821 डॉलर को कार्यक्रम का खर्चा दिखाया दिया गया। 7955 डॉलर को आप पार्टी के आईडीबीआई इंडिया के खाता नंबर 0178104000086735 में आम आदमी पार्टी के 11 कनाडा वालंटियर्स के पासपोर्ट के जरिए भेजा गया। उक्त रकम को इस तरह से दिखाया गया कि कार्यक्रम में शामिल 200 लोगों ने उक्त रकम दान दिया है।
आम आदमी पार्टी दावा करती थी कि विदेशी चंदा उन्हें सिर्फ ऑनलाइन पोर्टल और चेक के जरिए ही मिलती है। जांच में यह गलत पाया गया। इसी को लेकर सीबीआई ने फॉरेन करेंसी रेगुलेशन एक्ट का केस दर्ज किया है, जिसमें दुर्गेश पाठक और कपिल भारद्वाज को नामजद किया गया है। सीबीआई ने कुछ दस्तावेज व इलेक्ट्रॉनिक गजट जब्त कर अपने साथ ले गई है। उसकी जांच के बाद दुर्गेश को जल्द सीबीआई पूछताछ के लिए बुला सकती है।
इस तरह हुआ फर्जीवाड़ा
पहले ईडी ने इस केस में मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के तहत जांच की और फिर गृह मंत्रालय ने शिकायत दी। आरोप है कि आम आदमी पार्टी ने आप ओवरसीज इंडिया नाम का एक नेटवर्क बनाया था, जिसमें अमेरिका, कनाडा और ऑस्ट्रेलिया जैसे देशों के वालंटियर्स शामिल थे। उक्त नेटवर्क के जरिए विदेशी फंड जुटाया गया। यह पैसा आप नेताओं को सीधे भेजा गया जो विदेशी चंदे से जुड़ी कानून एफसीआरए का उल्लंघन है।
रिपोर्ट के मुताबिक, भगवंत तूर नाम के एक व्यक्ति के जरिए नेताओं को करीब 29,000 अमेरिकी डॉलर भेजे गए थे। विदेश से फर्जी पहचान या गलत दस्तावेज के जरिए चंदा लिया गया। चंदा देने वालों की पहचान को छिपाया गया। कई बार एक ही पासपोर्ट नंबर से अलग-अलग लोगों ने चंदा दिया। 201 दान-दाता के लिए सिर्फ 51 ई-मेल आईडी का इस्तेमाल हुआ। 71 दान-दाताओं के सिर्फ 21 मोबाइल नंबर इस्तेमाल किए। 75 लोगों ने 15 क्रेडिट कार्ड से करीब 20 लाख रुपये का चंदा दिया।
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कनाडा के 19 नागरिकों से आए 51 लाख रुपये की जानकारी सही तरीके से दर्ज नहीं की गई। एक कनाडाई नागरिक ने आप की वेबसाइट के जरिए सीधा चंदा भेजा था।
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