AgustaWestland Case: 'भारत में मेरी जमानत देने वाला कोई नहीं', जेल में बंद क्रिश्चियन मिशेल का छलका दर्द
अगस्ता वेस्टलैंड मामले में आरोपी क्रिश्चियन मिशेल ने दिल्ली हाई कोर्ट में जमानत की शर्तों में ढील देने की याचिका दायर की। मिशेल ने पांच लाख रुपये का बांड भरने और पासपोर्ट जमा करने की शर्त में छूट मांगी है। मिशेल ने कहा कि भारत में उसका कोई जमानतदार नहीं है। अदालत ने मिशेल और ईडी के वकीलों की दलीलें सुनने के बाद फैसला सुरक्षित रख लिया है।

जागरण संवाददाता, नई दिल्ली। अगस्ता वेस्टलैंड से जुड़े 3600 करोड़ रुपये के मनी लॉन्ड्रिंग मामले में आरोपी बिचौलिए क्रिश्चियन मिशेल जेम्स की याचिका पर दिल्ली हाई कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रख लिया। मिशेल और ईडी की ओर से पेश वकीलों की दलीलें सुनने के बाद जस्टिस स्वर्णकांत शर्मा की बेंच ने कहा कि मामले में विस्तृत आदेश पारित किया जाएगा। इस दौरान मिशेल ने तिहाड़ जेल से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए सुनवाई में हिस्सा लिया।
मिशेल के साथ ये परेशानी
याचिका दाखिल कर मिशेल ने पांच लाख रुपये का बांड भरने की जमानत शर्त में छूट मांगी थी। साथ ही पासपोर्ट जमा कराने की शर्त को रद्द करने का निर्देश देने का अनुरोध किया था। मिशेल ने कहा था कि उसका पुराना पासपोर्ट समाप्त हो चुका है और नया पासपोर्ट हासिल करने की प्रक्रिया में कम से कम चार से आठ सप्ताह का समय लगने की संभावना है।
भारत में कोई जमानतदार नहीं
सुनवाई के दौरान मिशेल की ओर से पेश वकील ने कहा कि उनका मुवक्किल विदेशी नागरिक है और ऐसे में भारत से कोई भी व्यक्ति उसका जमानतदार बनने के लिए आगे नहीं आएगा। यह भी दलील दी गई कि जमानत मिलने के बाद भी मिशेल को पासपोर्ट के नवीनीकरण तक जेल में नहीं रखा जा सकता।
ईडी के वकील ने याचिका का विरोध करते हुए कहा कि जमानत की शर्तें उचित और तर्कसंगत हैं। ईडी ने यह भी दलील दी कि अगर मिशेल कोई स्थानीय जमानतदार पेश नहीं करता है तो भारत में उसकी मौजूदगी सुनिश्चित करने का कोई तरीका नहीं है। मिशेल को चार मार्च को जमानत दी गई थी। 18 फरवरी को सुप्रीम कोर्ट ने उसे सीबीआई से जुड़े मामले में जमानत दी थी।

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