दीवाली से पहले दिल्ली में AQI 301 के पार, GRAP-2 लागू; किन-किन चीजों पर लगी पाबंदी?
दिल्ली में प्रदूषण का स्तर बढ़ने के कारण ग्रेडेड रिस्पांस एक्शन प्लान (GRAP) का दूसरा चरण लागू कर दिया गया है। वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) 301 के पार चला गया है। आशंका है कि प्रदूषण बढ़ता रहा तो जल्द ही तीसरा चरण भी लागू हो सकता है। दिल्ली-एनसीआर के लोगों से ग्रेप के नियमों का पालन करने की अपील की गई है।

दिल्ली में एक्यूआई 301 के पार होते ही GRAP-2 लागू
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। दिल्ली में प्रदूषण का स्तर बढ़ने के साथ ही ग्रैप-GRAP का दूसरा चरण (बहुत खराब, एक्यूआई 301-400) रविवार की शाम को लागू कर दिया गया। आशंका यही है कि इसी रफ्तार से प्रदूषण यदि बढ़ता रहा तो जल्द ही ग्रेप का तीसरा चरण भी लागू किया जा सकता है। साथ ही, शासन-प्रशासन को प्रदूषण घटाने के लिए कुछ बड़े कदम उठाने होंगे। वहीं, दिल्ली-एनसीआर के लोगों भी ग्रेप में बताई गई पाबंदियों का सख्ती से पालन करना होगा।
एक्यूआई में लगातार हो रही बढ़ोत्तरी
दिल्ली और राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में बढ़ते वायु प्रदूषण को देखते हुए कमीशन फॉर एयर क्वालिटी मैनेजमेंट (CAQM) ने तत्काल प्रभाव से ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (GRAP) के चरण-II को लागू कर दिया है। यह निर्णय शनिवार को GRAP उप-समिति की बैठक में लिया गया, जिसमें दिल्ली की वायु गुणवत्ता सूचकांक (AQI) में लगातार हो रही गिरावट की समीक्षा की गई।
और खराब हो सकती है स्थिति
उप-समिति के अनुसार, दिल्ली का AQI आज सुबह से बढ़ रहा है और दोपहर 4 बजे 296, जबकि शाम 7 बजे 302 दर्ज किया गया। आईएमडी और आईआईटीएम के पूर्वानुमान ने भी आने वाले दिनों में वायु गुणवत्ता में और खराबी की चेतावनी दी है। इस स्थिति को देखते हुए, चरण-I के साथ-साथ चरण-II के तहत सभी कार्रवाइयों को पूरे NCR में लागू करने का फैसला किया गया है।
AQI का स्तर और न बिगड़े
बता दें कि चरण-II का अर्थ होता है ‘अति खराब’ वायु गुणवत्ता। इसके तहत कड़े उपायों में धूल नियंत्रण, वाहन उत्सर्जन पर नियंत्रण और अन्य प्रदूषण स्रोतों पर रोक शामिल है। सभी संबंधित एजेंसियों को निर्देश दिया गया है कि वे GRAP के तहत उपायों को गंभीरता से लागू करें और सख्त निगरानी रखें ताकि AQI का स्तर और न बिगड़े।
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नागरिकों से भी अपील की गई है कि वे GRAP चरण-I और II के नागरिक चार्टर का पालन करें, जिसमें अनावश्यक वाहन उपयोग कम करना, निर्माण गतिविधियों पर नियंत्रण और खुले में कचरा जलाने से बचना शामिल है।
उप-समिति ने कहा कि वह वायु गुणवत्ता पर निरंतर नजर रखेगी और स्थिति के आधार पर भविष्य में और कदम उठाएगी। अधिक जानकारी के लिए CAQM की वेबसाइट (caqm.nic.in) पर विजिट किया जा सकता है।
नागरिकों से सहयोग की अपील
दिल्ली-एनसीआर में स्वच्छ हवा के लिए सभी को मिलकर प्रयास करने की जरूरत है। प्रदूषण नियंत्रण के लिए अपने स्तर पर योगदान दें और GRAP के दिशा-निर्देशों का पालन करें।
GRAP चरण-II क्या-क्या होता है प्रतिबंधित?
ग्रेडेड रिस्पॉन्स एक्शन प्लान (GRAP) चरण-II तहत दिल्ली-NCR में वायु प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए निम्नलिखित उपाय लागू किए जाते हैं...
निर्माण गतिविधियों पर नियंत्रण: धूल उत्पन्न करने वाली निर्माण गतिविधियों पर सख्ती। निर्माण स्थलों पर धूल नियंत्रण उपाय जैसे पानी का छिड़काव और बैरियर लगाना अनिवार्य।
वाहन उत्सर्जन: पुराने और प्रदूषणकारी वाहनों (विशेष रूप से BS-III पेट्रोल और BS-IV डीजल वाहनों) पर प्रतिबंध। ट्रैफिक जाम कम करने के लिए वैकल्पिक मार्गों और समय का उपयोग।
औद्योगिक और जनरेटर उत्सर्जन: कोयला/लकड़ी आधारित उद्योगों पर रोक। डीजल जनरेटर (नॉन-इमरजेंसी उपयोग) पर प्रतिबंध।
सड़कों और सार्वजनिक स्थानों पर धूल नियंत्रण: सड़कों पर नियमित पानी का छिड़काव। यांत्रिक स्वीपिंग और वैक्यूम क्लीनिंग को बढ़ावा।
खुले में जलाने पर रोक: कचरा, पत्तियां या अन्य सामग्री जलाने पर पूर्ण प्रतिबंध। कृषि अवशेष जलाने (पराली) पर सख्त निगरानी।
सार्वजनिक परिवहन को प्रोत्साहन: बसों और मेट्रो सेवाओं की आवृत्ति बढ़ाना। नागरिकों से कारपूलिंग और सार्वजनिक परिवहन का उपयोग करने की अपील।
नागरिक जागरूकता और सहयोग: नागरिकों से अनावश्यक वाहन उपयोग कम करने, ऊर्जा संरक्षण, और प्रदूषणकारी गतिविधियों से बचने का अनुरोध। स्कूलों और कार्यालयों में प्रदूषण नियंत्रण के लिए जागरूकता अभियान।
प्रदूषण निगरानी और प्रवर्तन: प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड और स्थानीय प्रशासन द्वारा सख्त निगरानी। उल्लंघन करने वालों पर जुर्माना और कानूनी कार्रवाई।
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