'भाई साहब' पर हमले के आरोपितों को जमानत देने के दौरान जानें- दिल्ली की कोर्ट ने क्या कहा
2020 North East Delhi Riots जमानत याचिका पर सुनवाई के दौरान अदालत ने कहा कि सिर्फ इस आधार पर आरोपितों को अनंत काल के लिए जेल में नहीं रखा जा सकता कि सह-आरोपितों की पहचान और गिरफ्तारी अभी बाकी है।
नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। 2020 North East Delhi Riots: दिल्ली दंगे के दो आरोपितों को कड़कड़डूमा कोर्ट ने मंगलवार को 20 हजार रुपये के निजी मुचलके व इतनी ही जमानत राशि पर सशर्त जमानत दे दी। जमानत याचिका पर सुनवाई के दौरान अदालत ने कहा कि सिर्फ इस आधार पर आरोपितों को अनंत काल के लिए जेल में नहीं रखा जा सकता कि सह-आरोपितों की पहचान और गिरफ्तारी अभी बाकी है।
गौरतलब है कि इस साल 24 फरवरी को उत्तर पूर्वी दिल्ली में दंगे के दौरान चांद बाग पुलिया इलाके में भाई साहब नामक व्यक्ति पर हमले के आरोप में आरोपित गुलफाम को मई और जावेद को जुलाई में गिरफ्तार किया गया था। मंगलवार को अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश विनोद यादव की अदालत में दोनों की जमानत याचिका पर वीडियो कान्फ्रेंसिंग के जरिये सुनवाई हुई। अदालत ने दोनों पक्षों के वकीलों की दलील सुनने के बाद कहा कि प्राथमिकी में दोनों आरोपितों के नाम नहीं हैं। इस मामले में जांच पूरी हो चुकी है और आरोप पत्र दायर किया जा चुका है। इस मामले के अन्य आरोपितों की पहचान और गिरफ्तारी होनी बाकी है, यह देखते हुए इन्हें जेल में बंद नहीं रखा जा सकता। अदालत ने दोनों की जमानत याचिका मंजूर करते हुए आदेश दिया कि दोनों क्षेत्र में शांति से रहेंगे। दोनों को अपने मोबाइल में आरोग्य सेतु एप डाउनलोड करने का निर्देश भी दिया।
यहां पर बता दें कि इसी साल 24-25 फरवरी को हुए दिल्ली दंगों में 50 से अधिक लोगोें की मौत हो गई थी, जबकि सैकड़ों लोग घायल हुए थे। इसके बाद से दिल्ली पुलिस स्पेशल सेल इसकी जांच चल रही है। अब तक कई आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल हो चुकी है। इस बीच कुछ दिन पहले जवाहर लाल नेहरू विश्वविद्यालय के पूर्व छात्र उमर खालिद को भी गिरफ्तार किया, जिस पर दंगों की साजिश रचने का आरोप है।
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