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    पिता किसान और तंगहाल जीवन, तगड़ा संघर्ष करके बने नेट बॉलर और फिर पाया IPL कॉन्‍ट्रैक्‍ट; रोचक है Ashok Sharma की कहानी

    Updated: Fri, 28 Mar 2025 06:34 PM (IST)

    राजस्थान के एक किसान के बेटे अशोक शर्मा ने कभी अपने सीनियर्स से क्रिकेट किट उधार लिए थे और ट्रेनिंग के लिए घंटों सफर किया। अब उन्होंने राजस्थान रॉयल्स की आईपीएल 2025 टीम में जगह बना ली है। जैसे अजीत तेंदुलकर ने अपने भाई सचिन तेंदुलकर को क्रिकेटर बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। वैसे ही जयपुर के रामपुरा गांव में जन्मे अशोक इस कहानी से खुद को जोड़ सकते हैं।

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    राजस्थान रॉयल्स के तेज गेंदबाज अशोक शर्मा। फोटो- सोशल मीडिया

     स्पोर्ट्स डेस्क, नई दिल्ली। छह साल पहले, राजस्थान के एक किसान का 16 वर्षीय बेटा जयपुर में एक क्रिकेट अकादमी के बाहर खड़ा यह सोच रहा था कि क्या उसके सीमित साधन उसे क्रिकेट खेलने की अनुमति दे पाएंगे, लेकिन उसकी मेहनत और लगन ने यह सब संभाव कर दिखाया है। नेट बॉलर से सफर शुरू करने वाले अशोक शर्मा राजस्थान रॉयल्स का हिस्सा बन गए हैं।

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    राजस्थान के क्रिकेट इतिहास में पहली बार, राज्य के 10 क्रिकेटर आईपीएल 2025 में खेलेंगे। एक सीजन में अब तक का सबसे ज्यादा। इनमें 22 वर्षीय अशोक शर्मा भी शामिल हैं। मीडियम पेसर गेंदबाज ने 2022 का सीजन कोलकाता नाइट राइडर्स के साथ बिताया, हालांकि उन्हें कोई गेम नहीं मिला, और 2023 और 2024 में राजस्थान रॉयल्स के लिए नेट बॉलर थे। अब, उन्हें आईपीएल 2025 के लिए उनकी टीम में शामिल किया गया है।

    सचिन तेंदुलकर से मिली है कहानी

    जैसे अजीत तेंदुलकर ने अपने भाई सचिन तेंदुलकर के करियर को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। वैसे ही जयपुर के पास रामपुरा गांव में जन्मे अशोक इस कहानी से खुद को जोड़ सकते हैं। क्योंकि उनके बड़े भाई ने उन्हें क्रिकेट खेलने के लिए प्रेरित किया। स्पोर्ट्सबूम से बात करते हुए अशोक ने अपनी क्रिकेट जर्नी पर खुलकर बात की। अशोक ने बताया कि वह सीनियर्स से क्रिकेट किट उधार लेते थे।

    घर में रही आर्थिक तंगी

    अशोक ने बताया, मेरे पिता किसान थे, इसलिए हमें हमेशा आर्थिक तंगी से जूझना पड़ता था। मेरे भाई अक्षय ने मुझे छोटी उम्र में ही क्रिकेट से परिचित कराया और हम कुछ अन्य बच्चों के साथ गली क्रिकेट खेलते थे। अक्षय और हम दोनों ही क्रिकेट को अपना करियर बनाना चाहते थे, लेकिन आर्थिक तंगी के कारण पिता केवल एक को ही कोचिंग दे सकते थे।

    भाई के त्याग से बना क्रिकेटर

    अशोक कहते हैं, अक्षय ने अपने सपनों को त्याग दिया ताकि मैं अपने सपनों को पूरा कर सकूं। उस एक त्याग की वजह से ही मैं इतनी दूर तक पहुंच पाया हूं। सीनियर्स से क्रिकेट किट उधार ली और ट्रेनिंग के लिए घंटों सफर किया।

    विवेक यादव में एक मार्गदर्शक की खोज

    रामपुरा में क्रिकेट के लिए बुनियादी ढांचे की कमी थी, इसलिए अशोक को ट्रेनिंग की सुविधाएं नहीं मिल पा रही थीं। अक्षय ने जयपुर में अरावली क्रिकेट क्लब के बारे में पता लगाया, जो अशोक के लिए ट्रेनिंग की सबसे नजदीकी सुविधा थी। उस समय, अरावली क्रिकेट क्लब का संचालन दिवंगत क्रिकेटर विवेक यादव द्वारा किया जाता था, जिन्होंने प्रथम श्रेणी क्रिकेट में राजस्थान और आईपीएल में दिल्ली डेयरडेविल्स का प्रतिनिधित्व किया था। अशोक ने पहली बार लेदर बॉल इसी क्लब में पकड़ी थी।

    अरावली क्रिकेट क्लब रामपुरा के सबसे नजदीकी क्रिकेट अकादमी थी, लेकिन फिर भी यह काफी दूर थी। अशोक को क्लब तक पहुंचने के लिए रोजाना एक घंटे से ज्यादा का सफर करना पड़ता था और फिर आखिरकार वह क्लब के हॉस्टल में रहने चले गए। अपने खुद के क्रिकेट गियर खरीदने में असमर्थ होने के कारण, उन्होंने क्लब में अपने सीनियर्स से किट उधार लिए।

    आईपीएल में इस टीम रह चुके हैं हिस्सा

    साल 2022 में केकेआर ने अशोक को 55 लाख रुपये में खरीदा। हालांकि, उन्हें पूरे सीजन बेंच पर ही बैठना पड़ा। उन्होंने एक बार फिर आईपीएल 2023 और 2024 में राजस्थान रॉयल्स के लिए नेट गेंदबाज की भूमिका निभाई। इसके बाद साल 2025 के लिए राजस्थान रॉयल्स ने खरीदा और टीम में शामिल किया। बता दें कि 17 जून, 2002 को जन्मे अशोक अपने तीखे बाउंसर के लिए जाने जाते हैं और उन्होंने 2019 में राजस्थान की अंडर-19 स्टेट टीम के हिस्से के रूप में अपनी क्षमता का प्रदर्शन किया।

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