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    एक हफ्ते के भीतर कम होगी आपकी EMI! वित्त मंत्री के बाद RBI गवर्नर दे सकते हैं बड़ा तोहफा

    रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) अपनी फरवरी की मॉनेटरी पॉलिसी कमेटी (MPC) मीटिंग में ब्याज दरों 0.25 फीसदी की कटौती कर सकता है। यह बजट में टैक्स कटौती के एलान बाद आम जनता के लिए एक और बड़ी मिल सकती है। इससे कार लोन और होम लोन सस्ता हो जाएगा। हालांकि डॉलर के मुकाबले रुपये (INR/USD) की लगातार गिरती वैल्यू चिंता का एक बड़ा कारण है।

    By Suneel Kumar Edited By: Suneel Kumar Updated: Mon, 03 Feb 2025 06:05 PM (IST)
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    डॉलर के मुकाबले रुपये (INR/USD) की लगातार गिरती वैल्यू चिंता का एक बड़ा कारण है।

    बिजनेस डेस्क, नई दिल्ली। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 1 फरवरी को पेश यूनियन बजट में खपत आधारित मांग (Consumption-Led Demand) को बढ़ाने के लिए इनकम टैक्स में कटौती जैसे कई अहम उपाय किए। इस दिशा में अगला कदम अब आरबीआई गवर्नर संजय मल्होत्रा उठा सकते हैं।

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    आर्थिक जानकारों का मानना है कि रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) अपनी फरवरी की मॉनेटरी पॉलिसी कमेटी (MPC) मीटिंग में ब्याज दरों 0.25 फीसदी की कटौती कर सकता है। हालांकि, डॉलर के मुकाबले रुपये (INR/USD) की लगातार गिरती वैल्यू चिंता का एक बड़ा कारण है।

    क्यों हो सकती है ब्याज दरों में कटौती?

    • महंगाई नियंत्रण में: खुदरा महंगाई (Retail Inflation) RBI की 6 फीसदी की तय सीमा के अंदर बनी हुई है।
    • सुस्त खपत को बढ़ावा: सुस्त खपत (Sluggish Consumption) को रफ्तार देने के लिए यह जरूरी हो सकता है।
    • दो साल का इंतजार: फरवरी 2023 से RBI ने रेपो रेट 6.5 फीसदी पर स्थिर रखा है। पिछली बार मई 2020 (कोविड काल) में ब्याज दरों में कटौती की गई थी।

    आरबीआई का बड़ा फैसला कब आएगा?

    • नई मौद्रिक नीति समिति (MPC) की बैठक बुधवार से शुरू होगी।
    • शुक्रवार, 7 फरवरी 2025 को फैसले की घोषणा होगी।
    • मीटिंग की अध्यक्षता नए RBI गवर्नर संजय मल्होत्रा करेंगे।
    • मल्होत्रा पहली बार इस अहम मीटिंग को लीड करेंगे।

    क्या कहते हैं एक्सपर्ट्स?

    Bank of Baroda के चीफ इकोनॉमिस्ट Madan Sabnavis का कहना है, "ब्याज दर में कटौती की संभावना अधिक है क्योंकि RBI पहले ही 1.5 लाख करोड़ रुपये की लिक्विडिटी बाजार में डाल चुका है।" इसके अलावा, बजट में किए गए ऐलान को समर्थन देने के लिए रेपो रेट में कटौती फायदेमंद होगी।

    वहीं, ICRA की चीफ इकोनॉमिस्ट Aditi Nayar के मुताबिक, "बजट 2025 से महंगाई पर ज्यादा असर नहीं पड़ेगा, इसलिए फरवरी की पॉलिसी में दरों में कटौती का फैसला लिया जा सकता है।" हालांकि, अगर रुपये की कीमत और गिरती है (INR/USD), तो यह फैसला अप्रैल 2025 तक टल सकता है। सोमवार को भारतीय रुपया 55 पैसे गिरकर 87.17 प्रति डॉलर (All-Time Low) पर बंद हुआ।

    दरअसल, अमेरिका के नवनिर्वाचित राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अपने चुनावी वादे के मुताबिक, मेक्सिको, कनाडा और चीन पर टैरिफ का एलान कर दिया है। इससे दुनियाभर में ट्रेड वॉर की आशंका पैदा हो गई है। आरबीआई कोई भी फैसला लेने से पहले इस फैक्टर पर भी ध्यान देगा।

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