डायरेक्ट टैक्स कलेक्शन 8 फीसदी बढ़कर हुआ 17.04 लाख करोड़ रुपये, STT से मिले 40195 करोड़
चालू वित्त वर्ष 2025-26 में शेयर बाजार की गतिविधियों का असर प्रत्यक्ष कर संग्रह पर दिखा है। 1 अप्रैल से 17 दिसंबर के बीच एसटीटी से सरकार को 40,195 करो ...और पढ़ें

नई दिल्ली। देश में चालू वित्त वर्ष 2025-26 के दौरान शेयर बाजार में बढ़ी गतिविधियों का असर प्रत्यक्ष कर संग्रह पर भी साफ दिख रहा है। एक अप्रैल से 17 दिसंबर के बीच प्रतिभूति लेनदेन कर (एसटीटी) से सरकार को 40,195 करोड़ रुपये का शुद्ध राजस्व प्राप्त हुआ, जो बाजार में मजबूत ट्रेडिंग व निवेशकों की सक्रियता को दर्शाता है।
आयकर विभाग के शुक्रवार को जारी आंकड़ों के मुताबिक, इसी अवधि में देश का कुल प्रत्यक्ष कर संग्रह आठ प्रतिशत बढ़कर 17.04 लाख करोड़ रुपये से अधिक हो गया। इसमें कॉर्पोरेट कर से 8.17 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा और गैर-कॉर्पोरेट कर से करीब 8.47 लाख करोड़ रुपये का योगदान रहा। कर संग्रह में बढ़ोतरी का एक कारण ‘रिफंड’ जारी करने की प्रक्रिया का धीमा होना भी रहा।
सालाना आधार पर 14 प्रतिशत की गिरावट
वित्त वर्ष 2025-26 में 17 दिसंबर तक रिफंड जारी करने में सालाना आधार पर 14 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई और कुल रिफंड राशि 2.97 लाख करोड़ रुपये से अधिक रही। वहीं, रिफंड को समायोजित करने से पहले सकल प्रत्यक्ष कर संग्रह 4.16 प्रतिशत बढ़कर 20.01 लाख करोड़ रुपये के पार पहुंच गया।
सरकार ने चालू वित्त वर्ष के लिए कुल प्रत्यक्ष कर संग्रह का लक्ष्य 25.20 लाख करोड़ रुपये रखा है, जो पिछले वर्ष के मुकाबले 12.7 प्रतिशत अधिक है। इसके साथ ही, सरकार का लक्ष्य वित्त वर्ष 2025-26 में एसटीटी से कुल 78,000 करोड़ रुपये जुटाने का है, जिसमें अब तक 40,195 करोड़ रुपये की वसूली हो चुकी है।

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