क्रिप्टोकरेंसी पर आ सकता है ठोस कानून, बड़ी तैयारी में सरकार, जानिए जून में क्या होने वाला है
New Norms on Crypto भारत सरकार जून में क्रिप्टो एसेट पर पॉलिसी फ्रेमवर्क तैयार करने के लिए फ्लोट पेपर जारी कर सकती है। ऐसे में क्रिप्टोकरेंसी को लेकर आने वाले समय में नए नियम-कानून बन सकते हैं। फिलहाल देश में क्रिप्टोकरेंसी को लेकर कोई ठोस नीति नहीं है। इससे जुड़े मामलों में टैक्स और मनी लॉन्ड्रिंग जैसे कानूनों के तहत कार्रवाई होती।
नई दिल्ली. अगर आप क्रिप्टोकरेंसी खरीदते हैं या उसमें निवेश करते हैं तो आपके लिए एक अहम खबर आई है। दरअसल, भारत सरकार जून में क्रिप्टो एसेट पर पॉलिसी फ्रेमवर्क तैयार करने के लिए पेपर जारी कर सकती है। अंग्रेजी अखबार की एक रिपोर्ट में यह दावा किया गया है। ऐसे में क्रिप्टोकरेंसी को लेकर आने वाले समय में नए नियम-कानून बन सकते हैं। माना जा रहा है कि ये कवायद इसलिए भी की जा रही है क्योंकि अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप लगातार इस करेंसी को प्रमोट कर रहे हैं।
अगले महीने आने वाले पेपर में क्या होगा
क्रिप्टोकरेंसी को लेकर पेपर में संभवतः अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) और वित्तीय स्थिरता बोर्ड के सिंथेसिस लेटर से कुछ सुझावों को लिया जाएगा। रिपोर्ट में कहा गया है कि इसमें विभिन्न न्यायालयों द्वारा अपनाए गए नियमों पर भी राय मांगी जाएगी। हालांकि, एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने एक मीडिया हाउस को बताया कि इस उद्योग पर पड़ने वाले व्यापक प्रभाव को ध्यान में रखते हुए कोई भी निर्णय अचानक नहीं लिया जाएगा।
देश में क्रिप्टोकरेंसी को लेकर कानून का अभाव
रिपोर्ट में आगे सूत्र के हवाले से कहा गया है कि भारत के राष्ट्रीय हित को ध्यान में रखते हुए यह निर्णय लिया जाएगा। क्रिप्टोकरेंसी को लेकर ऐसी चर्चा ऐसे समय में सामने आई है जब सुप्रीम कोर्ट ने हाल ही में मनी लॉन्ड्रिंग के एक मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ED) की जांच पर टिप्पणी करते हुए कहा था कि केंद्र अब तक क्रिप्टोकरेंसी पर कोई स्पष्ट कानून लेकर क्यों नहीं आया?
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सूत्रों की मानें तो अब सरकार इस दिशा में काम कर रही है और क्रिप्टोकरेंसी को लेकर यह फ्लोट पेपर सार्वजनिक परामर्श के लिए उपलब्ध कराया जाएगा. बता दें कि देश में क्रिप्टोकरेंसी को लेकर कोई ठोस नीति नहीं है। फिलहाल, डिजिटल करेंसी से जुड़े मामलों में टैक्स और मनी लॉन्ड्रिंग जैसे कानूनों के तहत कार्रवाई होती है।
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