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    Father of Modern Economics: क्या है Adam Smith का आधुनिक इकोनॉमिक्स में योगदान, आज है उनका 300वां जन्मदिन

    By Gaurav KumarEdited By: Gaurav Kumar
    Updated: Fri, 16 Jun 2023 09:02 PM (IST)

    Father of Modern Economics Adam Smith मॉडर्न अर्थशास्त्री के जनक कहे जाने वाले एडम स्मिथ का आज 300वां जन्मदिन है। स्मिथ ने अपनी किताबों से अर्थशास्त्र जीडीपी की अवधारणा और अनेक मुद्दों पर प्रकाश डाला। आज भी उनके विचार अर्थशास्त्र के शास्त्रीय स्कूल और संस्थानों में मौजूद हैं।

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    Adam Smith Father of Modern Economics: Accomplishments, Books, Theories and History

    नई दिल्ली,बिजनेस डेस्क: सामाजिक दार्शनिक और राजनीतिक अर्थशास्त्री, एडम स्मिथ (Adam Smith) 18वीं सदी के स्कॉटिश अर्थशास्त्री, दार्शनिक और लेखक थे जिन्हें आधुनिक अर्थशास्त्र का जनक (Father of Modern Economics) माना जाता है।

    अगर आप यह सोच रहे हैं कि आज हम इनकी बात क्यों कर रहे हैं तो आपको बता दें कि आज इस महान व्यक्तित्व का आज 300वां जन्मदिन है। एडम स्मिथ का जन्म आज ही के दिन यानी 16 जून 1723 में हुआ था। स्मिथ को सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) की अवधारणा बनाने और वेतन अंतर की भरपाई के अपने सिद्धांत के लिए भी जाना जाता है। स्मिथ अहस्तक्षेप आर्थिक नीतियों के एक प्रमुख प्रस्तावक थे।

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    स्मिथ का उल्लेखनीय योगदान

    अर्थशास्त्र के क्षेत्र में स्मिथ का सबसे उल्लेखनीय योगदान उनकी 1776 की किताब, एन इंक्वायरी इन द नेचर एंड कॉजेज ऑफ द वेल्थ ऑफ नेशंस (An Inquiry into the Nature and Causes of the Wealth of Nations) थी।

    हालांकि उनकी पहली किताब 1759 में छपी, द थ्योरी ऑफ मोरल सेंटीमेंट्स (The Theory of Moral Sentiments) प्रतिस्पर्धा, आपूर्ति और मांग और स्व-हित का उपयोग करके खुद को विनियमित करने के लिए मुक्त बाजारों की प्रवृत्ति के बारे में बताया था। स्मिथ की ये दोनों किताब अर्थशास्त्र के क्षेत्र में क्लासिक पीस कही जाती है।

    क्यों कहा जाता है अर्थशास्त्र का जनक?

    एडम स्मिथ को पूंजीवाद, मुक्त बाजार और आपूर्ति और मांग पर अपने सिद्धांतों के कारण "अर्थशास्त्र का जनक" कहा जाता है। स्मिथ के इस महान कार्य के लिए साल 2007 में बैंक ऑफ इंग्लैंड ने 20 पाउंड के नोट पर स्मिथ की तस्वीर लगाई।

    वह रॉयल सोसाइटी ऑफ आर्ट्स के सदस्य थे और स्कॉटलैंड की कई इमारतों का नाम उनके नाम पर रखा गया है। उनके नाम पर एक पुरस्कार, एडम स्मिथ अवार्ड (Adam Smith Award), द एसोसिएशन ऑफ प्राइवेट एंटरप्राइज एजुकेशन द्वारा दिया जाने वाला सर्वोच्च सम्मान है। ग्लासगो विश्वविद्यालय में उनके नाम पर एक कुर्सी, पुस्तकालय, अनुसंधान केंद्र और भवन है।

    क्या हैं स्मिथ के अर्थशास्त्र के 3 नियम?

    अर्थशास्त्र के लिए एडम स्मिथ ने तीन नियम दिए है, पहला सेल्फ इंटरेस्ट का नियम, दूसरा प्रतिस्पर्धा का नियम

    आपूर्ति और मांग का नियम दिया था।

    एडम स्मिथ ने अपने जीवन में द वेल्थ ऑफ नेशंस, द थ्योरी ऑफ मोरल सेंटीमेंट्स, लेक्चर्स ऑन जस्टिस, पुलिस, रेवेन्यू, एंड आर्म्स और एसेज ऑन फिलॉसॉफिकल सब्जेक्ट्स जैसे किताबें लिखी।

    68 साल की उम्र में निधन

    एडम स्मिथ का निधन 17 जुलाई, 1790 को, 68 वर्ष की आयु में, एडिनबर्ग, स्कॉटलैंड में हुआ था। स्मिथ को कैनोंगेट किर्कयार्ड में दफनाया गया था।

    स्मिथ ने जिन विचारों को उन्होंने लोकप्रिय बनाया, वे ब्रिटेन के प्रमुख मुक्त-बाजार नवउदारवादी थिंक टैंक एडम स्मिथ इंस्टीट्यूट जैसे अर्थशास्त्र के शास्त्रीय स्कूल और संस्थानों में मौजूद हैं।