KK Pathak: फिर एक्शन मोड में नजर आए केके पाठक, 6 घंटे में जारी कर दिए 36 आदेश; हर कोई हैरान!
बेतिया राज का कायाकल्प अब संभव हो सकता है क्योंकि राजस्व पर्षद के अध्यक्ष केके पाठक ने इसकी जिम्मेदारी ले ली है। वे बेतिया पहुंचे और 36 आदेश जारी किए जिनमें बेतिया राज की खाली जमीनों का उपयोग उद्योग विश्वविद्यालय और अस्पताल के लिए करने का प्रस्ताव था। साथ ही उन्होंने राज भवन के जीर्णोद्धार के लिए प्रोजेक्ट तैयार करने की दिशा में काम करने का निर्देश दिया।

जागरण संवाददाता, बेतिया। बेतिया राज का उत्तराधिकारी नहीं होने के कारण कोर्ट ऑफ वार्ड में जाने के 128 साल बाद इस ऐतिहासिक धरोहर को तारणहार मिला है। राजस्व पर्षद के अध्यक्ष पद पर केके पाठक (KK Pathak) के पद भार के बाद बेतिया राज (Bettiah Raj) के कायाकल्प की उम्मीद बढ़ गई है।
सोमवार की रात राजस्व पर्षद के अध्यक्ष केके पाठक एक्सपर्ट के साथ बेतिया पहुंचे। मंगलवार की सुबह से ही वे एक्शन में आ गए। करीब छह घंटे में उन्होंने 36 आदेश जारी किए हैं। सर्किट हाउस से निकलने के बाद वे राज के खाली पड़े भूखंड हजारी पशु मेला ग्राउंड में पहुंचे।
110 एकड़ में फैले मेला ग्राउंड की जमीन का उपयोग कई रूप में किया जा सकता है। मेडिकल इंडस्ट्री समेत कई काम के लिए यह उपयुक्त जगह है। फिर वे सरिसवा रोड पावर ग्रिड, माधोपुर, मैनाटांड़ रोड़ में स्थित बेतिया राज के खाली पड़े जमीनों को निरीक्षण किया।
उन्होंने कहा कि इस भूमि पर इंडस्ट्री, यूनिवर्सिटी, कॉलेज, अस्पताल भी बनाया जा सकता है। इस दौरान उन्होंने बेतिया राज के 50 एकड़ से ज्यादा रकबा वाले भूखंडों तथा 20 एकड़ से ज्यादा के रकवा वाले भूखंडों को अलग-अलग सूची तैयार करने को कहा।
केके पाठक ने कहा की पहले बड़े-बड़े भूखंडों का उपयोग किया जाएगा। इसके बाद छोटे भूखंडों का उपयोग होगा। टाउनशिप डेवलपमेंट के अलावा यहां उद्योग धंधे भी लगेंगे। जिससे न सिर्फ बेतिया का विकास होगा वरन यहां की आर्थिकी में भी व्यापक बदलाव आएगा।
राज भवन के दीवारों पर कलाकृति देख मंत्रमुग्ध हुए अध्यक्ष
राजस्व पर्षद के अध्यक्ष के भूखंडों का जायजा लेने के बाद दोपहर में राज भवन में पहुंचे। वे राज भवन के शीश महल, रानी निवास, राज भवन परिसर का मंदिर, कुआं, दुर्गा पूजा मंडप आदि भग्नावेशों को काफी देर तक निहारते रहे। राज भवन के दीवारों पर बने कलाकृति को देखकर कहा कि यह सिर्फ इतिहास नहीं यहां का गौरव है।
अपने साथ मौजूद आर्किटेक्ट व पर्यटन विभाग के अधिकारियों से केके पाठक ने कहा कि इसका इसी स्वरूप में विकास के लिए प्रोजेक्ट तैयार करें। राजभवन की भीतरी भागों में फैले हरियाली को देखकर कहा कि ध्यान रहे की भवनों के जीर्णोदार और सौंदरीकरण के दौरान हरे पेड़ नहीं कटे। निरीक्षण के दौरान वे अधिकारियों को निर्देश भी दे रहे थे
अध्यक्ष के साथ रहा अधिकारियों का काफिला
राजस्व पर्षद के अध्यक्ष के साथ अधिकारियों का काफिला भी रहा। उनके साथ राजस्व पर्षद के सचिव गिरिवर दयाल सिंह के अलावा नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ अर्बन अफेयर व पर्यटन विभाग के पदाधिकारी भी बेतिया आए थे। केके पाठक के एक-एक आदेश को अधिकारी नोट कर रहे थे।
उन्होंने कहा कि यहां जो भी काम होगा इसकी सतत मॉनिटरिंग होती रहनी चाहिए। राज व्यवस्थापक अनिल कुमार सिन्हा केके पाठक को राजभवन के इतिहास और उस समय होने वाला इसका उपयोग के बारे में बता रहे थे। राजगुरु परिवार के प्रमोद व्यास के अलावा शहर के कई गणमान्य लोग, मंदिरों के पुजारी भी निरीक्षण के दौरान मौजूद रहे।
राज के कर्मचारियों ने सौंपा ज्ञापन
बेतिया राज के कर्मचारी संघ के सम्मानित अध्यक्ष प्रमोद व्यास ने कर्मचारियों की मांग पत्र का एक ज्ञापन राजस्व पर्षद के अध्यक्ष को सौंपा। ज्ञापन में राज के कर्मचारियों के वेतन बढ़ाने की मांग की गई थी।
ज्ञापन के माध्यम से कर्मचारियों ने अध्यक्ष को बताया कि बेतिया राज के कर्मचारियों, मंदिरों के पुजारी, टहलू का वेतन काफी कम है। राज में जो संविदा पर काम कर रहे हैं, उनका मानदेय नियमित कर्मचारियों के वेतन से ज्यादा है। जिससे कर्मचारियों में हीन भावना है। वे अपने परिवार का भरण पोषण भी नहीं कर पा रहे हैं। अध्यक्ष ने इस दिशा में कार्रवाई का आश्वासन दिया।
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