फेसबुक ने 12 वर्ष पहले गुम हुए बेटे को मां से मिलवाया
24 अप्रैल 2005 को घर से ट्यूशन पढ़ाने निकला मुकेश लापता हो गया था। 12 वर्ष फेसबुक के माध्यम से वह अपने परिवार से मिला।
सिवान [जेएनएन]। एक लड़का मुकेश 12 वर्ष पहले अपने घर से ट्यूशन पढ़ने के लिए निकला था। लेकिन उसके बाद फिर वापस नहीं लौटा। परिजनों ने उसे ढ़ूढ़ने की काफी कोशिश की लेकिन जब कहीं से कुछ सुराग न मिला तो वे हार थक कर बैठ गये।
अचानक 12 वर्ष बाद गांव के ही एक मुकेश ने गांव के ही एक युवक को फेसबुक पर मैसेज किया। जब उस युवक ने मुकेश के घरवालों को यह बात बतायी तो, उनके खुशी का ठिकाना न रहा। परिवारवालों ने मुकेश से बात भी की और फिर उसे वापस घर ले आये। यह कोई फिल्मी कहानी नहीं है, बल्कि सिवान जिले के महाराजगंज के एक गांव की सच्ची घटना है। आज 12 वर्ष के बाद मुकेश अपने मां-बाप के साथ है।
बताया जा रहा है कि महाराजगंज प्रखंड के महुआरी गांव के बलिराम सिंह का पुत्र मुकेश कुमार 24 अप्रैल 2005 को घर से ट्यूशन पढऩे के लिए निकला, फिर वापस नहीं लौटा। घर वालों ने काफी खोजबीन की लेकिन कुछ पता नहीं चल सका।
12 वर्ष बाद 26 मई 2017 को गांव के ही एक युवक प्रियांशु कुमार के फेसबुक पर मुकेश ने मैसेज किया। उसके बाद प्रियांशु ने जब घर वालों को मुकेश के बारे में बताया तो सभी खुशी से झूम उठे। प्रियांशु ने उसके मां-पिता एवं भाई से बात भी कराई।
अगले दिन ही मुकेश के पिता एवं भाई पंजाब के लिए रवाना हुए। 30 मई की देर रात वे उसे लेकर घर पहुंचे। 31 मई की सुबह गांव में जश्न का माहौल था। मुकेश के घर-गांव सहित रिश्तेदारों की भीड़ इकठ्ठी थी। हर कोई मुकेश से यह जानने की कोशिश करता रहा है कि आखिर वह पंजाब कैसे पहुंच गया। 12 वर्ष बाद उसे घर की याद कैसे आई।
इस बात पर मुकेश ने बताया कि पिताजी ने उसे पढ़ने के लिए डांट दिया था। इससे नाराज होकर वह ट्यूशन न जाकर सीधे सिवान जंक्शन पहुंचा और ट्रेन में बैठ गया और पंजाब पहुंच गया। वहां वह फैक्ट्री में मजदूरी करने लगा था।
मुकेश पंजाब के जालंधर में किसी प्राइवेट कंपनी में नौकरी करता है। सबसे ज्यादा खुशी मां एवं पिता को है। मां सुनैना देवी का कहना है कि जब से बेटा घर से गायब हुआ था, उसी समय से मेरा मन उदास रह रहा था। अाज मैं बहुत खुश हूं।
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