'चारा खाने वाले क्या जानें मखाना का स्वाद', ऋतुराज सिन्हा ने तेजस्वी यादव के बयान पर दिया जवाब
बिहार में इसी साल के अंत तक विधानसभा चुनाव होने हैं। चुनाव के पहले अब सभी पार्टियां एक-दूसरे पर आरोप-प्रत्यारोप लगा रहे हैं। तेजस्वी यादव ने आज पीएम मोदी पर निशाना साधते हुए कहा कि नरेन्द्र मोदी चाहें तो 365 दिन मखाना खाएं चाहें तो लालू प्रसाद सत्तू भी खाना-पीना सीखा देंगे। अब उनके इस बयान पर भाजपा के राष्ट्रीय मंत्री ऋतुराज सिन्हा ने पलटवार किया है।

राज्य ब्यूरो, पटना। भाजपा के राष्ट्रीय मंत्री ऋतुराज सिन्हा ने नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के प्रधानमंत्री मोदी के ऊपर दिए बयान पर अपनी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा कि तेजस्वी दिल्ली में हुए विधानसभा चुनाव में भाजपा की प्रचंड जीत से विचलित हो गए हैं। उन्होंने तेजस्वी के बयान को छोटे मुंह बड़ी बात बताया है।
ऋतुराज ने कहा कि तेजस्वी के परिवार को बिहार चलाने का मौका मिला था लेकिन आप मिट्टी ,चारा खाने और अलकतरा पीने में व्यस्त रहे। जैसे कोई बच्चा छुपकर चुरा-चुरा कर मिट्टी खाता है वैसे ही आपने चुरा-चुरा कर बिहार के लोगों का खजाना खाया है और पिया है।
अब जिसे मौका मिला है, वह काम कर रहा है तो अब आपके पेट में दर्द क्यों हो रहा है। यह हड़बड़ाहट और घबराहट नहीं तो और क्या है।
तेजस्वी यादव के उम्र के दिए बयान पर उन्होंने कहा कि अब आप उम्र का हवाला दे रहे हैं। जबकि लालू जी को बिहार की जनता ने सिर्फ 45 साल की उम्र में प्रदेश का मुख्यमंत्री बनाया था, लेकिन उन्होंने क्या साबित किया। उन्होंने भ्रष्टाचार, अत्याचार, घोटाला यही साबित किया।
युवाओं के बेहतर स्वास्थ्य और विकास पर सरकार का विशेष ध्यान : मंगल पांडेय
प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने कहा है कि किशोरावस्था के दौरान किशोर-किशोरियों को शारीरिक परिवर्तन के साथ भावनात्मक, बौद्धि और सामाजिक व्यवहार में परिवर्तन के दौर से गुजरना होता है।
इस दौरान युवाओं को लैंगिंग भेदभाव, बाल विवाह, गर्भावस्था, प्रजनन और प्रसव के दौरान परेशानियों का सामना करना होता है। जिसे देखते हुए प्रदेश में किशोर स्वास्थ्य से जुड़े छह मुद्दों पोषण, यौन एवं प्रजनन स्वास्थ्य, गैर संचारी रोग, नशावृति की रोकथाम, लिंग आधारित हिंसा और मानसिक स्वास्थ्य पर परामर्श और चिकित्सा सेवा देने की व्यवस्था की गई है।
उन्होंने कहा कि राज्य में अच्छी तादाद में किशोर एवं किशोरियां हैं। स्वास्थ्य विभाग इनके बेहतर शारीरिक और मानसिक स्वास्थ्य के प्रयत्नशील है। इसी के तहत 10 जिलों में युवा क्लीनिक संचालित है। यह क्लीनिक मेडिकल कॉलेज, सदर अस्पताल, प्राथमिक, सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में संचालित है।
इसके अलावा 11 जिलों में सदर अस्पतालों के साथ ही चयनित सामुदायिक एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों पर युवा क्लीनिक स्थापित की गई है। युवा क्लीनिक के तहत 10 से 19 आयु के किशोर-किशोरियों को परामर्श एवं चिकित्सकीय सेवाएं प्रदान की जाती हैं।
वित्तीय वर्ष 2024-25 में माह दिसंबर तक कुल 1,09356 किशोर किशोरियों को परामर्श एवं चिकित्सकीय सेवाएं दी गई हैं। मंत्री पांडेय ने कहा कि राज्य में अभी 208 युवा क्लीनिक का संचालन किया जा रहा है।
कई युवा क्लीनिक को अपग्रेड भी किया जा रहा है। किशोरों को इस कार्यक्रम का ज्यादा से ज्यादा फायदा मिले, इसके लिए राज्य के 14 जिलों में स्कूल स्वास्थ्य कार्यक्रम भी चलाए जा रहे हैं।
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