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    Free Electricity In Bihar: बिजली उपभोक्ताओं को हर महीने 700 रुपये तक का फायदा, मगर इनको नहीं मिल रहा लाभ

    Updated: Thu, 07 Aug 2025 06:48 PM (IST)

    बिहार सरकार की 125 यूनिट मुफ्त बिजली योजना से उपभोक्ताओं को काफ़ी राहत मिली है जिससे उन्हें हर महीने 500-700 रुपये की बचत हो रही है। हालांकि किरायेदारों को इस योजना का लाभ नहीं मिल पा रहा है क्योंकि बिजली कनेक्शन मकान मालिक के नाम पर होता है। पटना में 125 यूनिट तक बिजली मुफ्त होने से उपभोक्ताओं को काफी फायदा हो रहा है।

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    ब‍िजली उपभोक्‍ताओं को प्रत‍िमाह सात सौ तक का फायदा, किराएदार वंचित

    जागरण संवाददाता, पटना। बिहार सरकार की 125 यूनिट मुफ्त बिजली योजना से उपभोक्ताओं को बड़ी राहत मिली है। इसका सीधा फायदा उपभोक्ताओं की जेब पर पड़ा है। प्रति माह उन्हें पांच से सात सौ रुपये तक की बचत हो रही है। ग्रामीण उपभोक्ता भी तीन सौ से ज्यादा के फायदे में हैं। हालांकि, मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की इस योजना का लाभ किरायेदारों को नहीं मिल पा रहा।

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    इसका मुख्य कारण यह है कि जिन मकानों में वे रहते हैं, वहां कनेक्शन आमतौर पर मकान मालिक के नाम से होता है, और सब-मीटर के जरिए उपभोक्ताओं को बिजली आपूर्ति होती है।

    सब-मीटर होने के कारण नहीं मिल रहा फायदा:

    राजधानी में बड़ी संख्या में बाहर के लोग मकान, फ्लैट और अपार्टमेंट में किराएदार के रूप में रहते हैं। इनमें से अधिसंख्य स्थानों पर एक ही मीटर होता है। अलग-अलग फ्लैट या कमरों के लिए सब-मीटर लगाए जाते हैं। चूंकि सरकार की योजना के तहत मुख्य मीटर पर ही 125 यूनिट मुफ्त बिजली दी जाती है, इस कारण लाभ मकान मालिक को ही मिलता है।

    किराएदारों को बिजली बिल में कोई राहत नहीं मिलती। अब जब जुलाई महीने का बिल आया है तो उसमें किराएदारों को कोई छूट नहीं मिली है।

    पटेलनगर में किराए के मकान में रहने वाले रौशन सिंह बताते हैं कि प्रतिमाह वे आठ सौ से एक हजार तक बिजली बिल देते हैं। उनकी खपत अधिकतम 100 से 120 यूनिट तक जाती है, लेकिन उन्हें सरकार की योजना का लाभ नहीं मिला। जब वे कार्यालय गए तो बताया गया कि मुफ्त बिजली केवल उपभोक्ता संख्या (कंज्यूमर नंबर) पर दी जाती है। सब-मीटर की सरकारी मान्यता नहीं होती है, इस कारण किराएदारों को इसमें शामिल कैसे किया जा सकता है।

    साढ़े छह सौ से ज्यादा हो रही बचत: 

    बिजली कंपनियों के आंकड़ों के अनुसार, पटना शहरी क्षेत्र के अधिकांश घरों की औसत मासिक खपत 100 से 150 यूनिट के बीच होती है। ऐसे में बड़ी संख्या में उपभोक्ता अब शून्य बिल पा रहे हैं या फिर बहुत कम राशि का भुगतान कर रहे हैं। स्मार्ट प्रीपेड मीटर वाले उपभोक्ताओं को तो रिचार्ज भी नहीं कराना पड़ रहा, क्योंकि मुफ्त यूनिट पहले ही क्रेडिट हो रही हैं।  पटना में प्रति माह उपभोक्ताओं को 125 यूनिट के लिए करीब 688 रुपये की बचत हो रही है।

    किराएदार कैसे उठा सकते हैं मुफ्त बिजली का फायदा:

    किराएदारों को अलग उपभोक्ता संख्या लेनी होगी। इसके लिए वैध किरायानामा आवेदन के साथ संलग्न करना होगा। मकान मालिक से एनओसी भी लेना होगा।

    खपत श्रेणी प्रति यूनिट दर कुल बिल (125 यूनिट पर) योजना के बाद देय राशि मासिक बचत (रुपये में)
    बीपीएल/कुटीर ज्योति 4.15 518.75 0 518.75
    0–100 5.45 681.25 0 681.25
    101–200 6.10 762.50 0 762.50
    201–300 6.90 862.50 0 862.50