CM नीतीश को नसीहत, झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की सराहना; क्या है मंत्री इरफान अंसारी की मंशा?
झारखंड के स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी ने हिजाब विवाद पर बिहार के सीएम नीतीश कुमार को सलाह दी है। उन्होंने सीएम हेमंत सोरेन की राष्ट्रपति मुर्मू के स ...और पढ़ें

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार व झारखंड सीएम हेमंत सोरेन। जागरण आर्काइव
आदरणीय मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार जी,@NitishKumar
— Dr. Irfan Ansari (@IrfanAnsariMLA) December 30, 2025
बिहार सरकार
सादर प्रणाम।
मैं अत्यंत विनम्रता और गहरी पीड़ा के साथ आपको यह पत्र लिख रहा हूँ। मेरा उद्देश्य किसी प्रकार का व्यक्तिगत आक्षेप करना नहीं है, बल्कि एक अत्यंत संवेदनशील विषय पर आपका ध्यान आकृष्ट करना है, ताकि लोकतंत्र,… pic.twitter.com/oFi6XsVTpN
डिजिटल डेस्क, पटना। महिला आयुष चिकित्सक के हिजाब विवाद को झारखंड के स्वास्थ्य मंत्री डॉ. इरफान अंसारी ने फिर हवा देने की कोशिश की है।
अपने सीएम हेमंत सोरेन की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु के साथ तस्वीर शेयर करते हुए उन्होंने बिहार के सीएम नीतीश कुमार को सलाह दे दी है।
उन्होंने अपने एक्स प्लेटफॉर्म पर नीतीश कुमार को संबोधित करते हुए लंबा पोस्ट लिखा है। इसमें हेमंत सोरेन के स्वभाव की प्रशंसा में उन्होंने कई शब्द लिखे हैं।
इरफान अंसारी ने लिखा है, आदरणीय मुख्यमंत्री नीतीश कुमार जी, सादर प्रणाम। मैं अत्यंत विनम्रता और गहरी पीड़ा के साथ आपको यह पत्र लिख रहा हूँ।
Hemant Soren के स्वभाव की सराहना
मेरा उद्देश्य किसी प्रकार का व्यक्तिगत आक्षेप करना नहीं है, बल्कि एक अत्यंत संवेदनशील विषय पर आपका ध्यान आकृष्ट करना है, ताकि लोकतंत्र, संविधान और मानवीय मूल्यों की गरिमा बनी रहे।
झारखंड की संस्कृति, संस्कार और पहचान सदा से मानवता, समानता और आपसी सम्मान की प्रतीक रही है। खनिज संपदा से समृद्ध झारखंड के लोकप्रिय मुख्यमंत्री आदरणीय हेमंत सोरेन का आचरण, उनका सरल स्वभाव और आम जनता से मिलने-जुलने का तरीका यह सिखाता है कि पद चाहे कितना भी बड़ा क्यों न हो, इंसानियत उससे कहीं ऊपर होती है।
उनके व्यवहार में न कोई अहंकार है, न सत्ता का दंभ—बल्कि ऐसा अपनापन है कि मन स्वतः झुककर प्रणाम कर उनका आशीर्वाद लेने को प्रेरित हो जाता है।
सत्ता स्थायी नहीं होती, लेकिन सत्ता में रहते हुए किए गए कार्य और अपनाया गया व्यवहार ही व्यक्ति को महान बनाते हैं। इतिहास साक्षी है कि जनता ने कभी भी घमंड, भेदभाव और किसी भी वर्ग को नीचा दिखाने की मानसिकता को स्वीकार नहीं किया है।
हाल ही में एक अल्पसंख्यक बच्ची के साथ जिस प्रकार की घटना सामने आई है, उसने न केवल मुझे, बल्कि पूरे देश को गहरा दुःख और पीड़ा पहुंचाई है।
एक संवैधानिक पद पर आसीन व्यक्ति से ऐसी असंवेदनशीलता की अपेक्षा कदापि नहीं की जाती। आपने मुख्यमंत्री पद की शपथ लेते समय यह वचन दिया था कि आप संविधान में पूर्ण आस्था रखेंगे, सभी धर्मों का समान रूप से सम्मान करेंगे, विधि के अनुसार न्याय करेंगे और किसी को अपमानित नहीं होने देंगे।
पहनावे पर उंगली उठाना असंवैधानिक
झारखंड के स्वास्थ्य मंत्री ने आगे कहा है कि, यही शपथ लोकतंत्र में जनता के विश्वास की आधारशिला होती है। इंसान होना ही सबसे बड़ी पहचान है।
गरीब होना कोई पाप नहीं होता। किसी भी व्यक्ति के पहनावे पर उंगली उठाना न केवल असंवेदनशील है, बल्कि असंवैधानिक भी है।
हर धर्म का अपना पहनावा, अपनी परंपरा और अपना सम्मान होता है। इसलिए मेरा आपसे विनम्र आग्रह है कि किसी भी व्यक्ति—विशेषकर बहनों और बेटियों—के सम्मान को कभी ठेस न पहुंचाई जाए।
मेरा आपसे विनम्र निवेदन है कि सत्ता में रहते हुए व्यवहार में समानता, संवेदनशीलता और करुणा को सर्वोपरि रखें। भविष्य में इस प्रकार की घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो—यही देशहित और समाजहित में होगा।
साथ ही, मेरा सुझाव है कि आप हमारे लोकप्रिय मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से एक बार अवश्य मिलें और उनके नेतृत्व, व्यवहार तथा मानवीय दृष्टिकोण से कुछ सीखें। इससे लोकतंत्र और अधिक मजबूत होगा। इसी आशा और विश्वास के साथ।

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