प्रयाग ग्रुप पर ईडी का शिकंजा, बिहार-बंगाल और असम में 116 करोड़ की संपत्ति जब्त
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने प्रयाग ग्रुप के खिलाफ बड़ी कार्रवाई करते हुए बिहार, बंगाल और असम में 116 करोड़ रुपये की संपत्ति जब्त की है। यह जब्ती मनी लॉ ...और पढ़ें

राज्य ब्यूरो, पटना। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने धोखाधड़ी से उच्च रिटर्न की पेशकश कर प्रयाग ग्रुप द्वारा जुटाई गई संपत्ति के मामले में कार्रवाई करते हुए इस ग्रुप की बिहार के साथ ही पश्चिम बंगाल और असम में स्थित 116 करोड़ रुपये की अचल संपत्तियां जब्त कर ली है। जब्त संपत्ति में 104 करोड़ रुपये मूल्य की 450.42 एकड़ भूमि भी शामिल है।
यह संपत्तियां इन राज्यों में किन स्थानों पर स्थित है इसे ईडी ने स्पष्ट नहीं किया है। अपनी कार्रवाई के दौरान जांच एजेंसी ने भूमि पर बने करीब छह करोड़ रुपये के सुपर स्ट्रक्चर एवं कंपनी के निदेशकों बासुदेव बागची, अविक बागची और स्वप्ना बागची के नाम पर छह करोड़ रुपये की अचल संपत्तियां भी जब्त की हैं।
प्रवर्तन निदेशालय ने सीबीआइ की दर्ज प्राथमिकी और आरोप पत्र के आधार पर प्रयाग ग्रुप के खिलाफ मनी लॉन्ड्रिंग मामले में जांच शुरू की थी। ईडी ने जब जांच प्रारंभ की तो उसे जानकारी मिली कि प्रयाग ग्रुप ने अपनी कंपनियों प्रयाग इन्फोटेक हाई-राइज लिमिटेड और प्रयाग इन्फोटेक नेटवर्क प्राइवेट लिमिटेड के माध्यम से आरबीआई या सेवी से बिना किसी अनुमोदन के अवैध जमा और धन परिचालन स्कीम शुरू की।
कंपनी ने अपने निवेशकों को उच्च रिटर्न की पेशकश करके 38,71,674 जमाकर्ताओं से 2,863 करोड़ रुपये जुटाए। परंतु निवेश होने के बाद कंपनी ने 31 मार्च 2016 तक जमाकर्ताओं के 1,906 करोड़ रुपये (ब्याज को छोड़ कर) के बकाया का भुगतान नहीं किया।
जांच में तय तथ्य भी सामने आए कि कंपनी ने एकत्रित धन का उपयोग किसी भी वैध व्यावसायिक गतिविधियों के लिए नहीं किया। समूह ने एक पोंजी जैसी स्कीम चलाई जिसमें नये निवेशकों से प्राप्त धन का उपयोग पहले के निवेशकों को चुकाने के लिए किया गया।
धन का एक बड़ा हिस्सा भूमि, होटल, फिल्म सिटी परियोजनाओ, कंपनियों के अधिग्रहण, एजेंटों को कमीशन भुगतान, विज्ञापन, सेलिब्रिटी प्रचार और प्रमोटरों और उनके परिवार के सदस्यों के व्यक्तिगत संवर्धन के लिए लगाया गया।
इस अपराध की आय का प्रयाग ग्रुप के निदेशक और प्रमोटर बासुदेव बागची, अविक बागची और स्वप्ना बागची ने व्यक्तिगत लाभ उठाया। इन्होंने पारिश्रमिक के बहाने धन निकाला, व्यक्तिगत नामों पर अचल संपति हासिल की। बिना प्रतिफल के खुद को शेयर आवंटित किया। इस मामले में ईडी द्वारा विशेष पीएमएलए कोर्ट के समक्ष अभियोजन शिकायत पहले ही दायर की जा चुकी है। वर्तमान में बासुदेव बागची और अविक बागची न्यायिक हिरासत में हैं और आगे की जांच जारी है।

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