Bihar Teacher Salary: केके पाठक के शिक्षा विभाग से आई बड़ी खबर, हजारों शिक्षकों और कर्मचारियों का वेतन बंद
दो हजार से अधिक शिक्षकों का भुगतान जनवरी से बाधित है। दो महीने से वेतन का भुगतान नहीं होने की वजह से घर की अर्थव्यवस्था चरमरा गई है। सुधीर कुमार नामक शिक्षक ने बताया कि पैसे के अभाव में बच्चों का पठन-पाठन बाधित है। एक अन्य शिक्षक ने बताया कि पिता के इलाज के लिए पैसे नहीं हैं। शिक्षा विभाग के अधिकारी ने वेतन बंद कर रखा है।
जागरण संवाददाता, मुजफ्फरपुर। प्राथमिक, मध्य व उच्च माध्यमिक स्कूल के करीब दो हजार से अधिक शिक्षकों को वेतन नहीं मिल रहा है। वेतन के अभाव में उनकी स्थिति खराब हो गई है। दूसरी ओर, जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय के कर्मचारियों का भी वेतन दो महीने से बाधित है।
पूरे प्रकरण में सबसे बड़ी बात यह कि विभाग के सभी अधिकारियों का जनवरी महीने का वेतन भुगतान हो चुका है। शिक्षा अधिकारियों की मानें तो आवंटन नहीं होने की वजह से भुगतान नहीं हो रहा है। आवंटन प्राप्त होने के साथ ही कर्मचारियों के वेतन का भुगतान कर दिया जाएगा।
दो हजार से अधिक शिक्षकों का भुगतान जनवरी से बाधित है। दो महीने से वेतन का भुगतान नहीं होने की वजह से घर की अर्थव्यवस्था चरमरा गई है। सुधीर कुमार नामक शिक्षक ने बताया कि पैसे के अभाव में बच्चों का पठन-पाठन बाधित है।
एक अन्य शिक्षक ने बताया कि पिता के इलाज के लिए पैसे नहीं हैं। शिक्षा विभाग के अधिकारी ने वेतन बंद कर रखा है।
चल अचल संपत्ति के पेच में फंसा वेतन
चल-अचल संपत्ति के पेच में शिक्षकों का वेतन फंसा है। दिसंबर में ही प्रत्येक शिक्षक को चल-अचल संपत्ति का ब्योरा देना होता है। बड़ी संख्या में शिक्षकों ने संपत्ति के ब्योरे के अलावा आयकर का हिसाब भी नहीं दिया है। जिलाधिकारी ने मामले को काफी गंभीरता से लिया है। चल-अचल संपत्ति का ब्योरा नहीं देने पर अधिकारी व कर्मचारी को चिह्नित कर वेतन भुगतान पर रोक लगाने का आदेश दिया है। विभाग के इस कदम से शिक्षकों की बचैनी बढ़ गई है।
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