Muzaffarpur News: दाल कालाबजारी का मामला, टीम के अधिकारियों को चकमा देकर भाग निकला कारोबारी सत्यनारायण,
करीब आठ वर्ष पूर्व चालक मुकेश के साथ व्यवसाय के सिलसिले में मड़वन की ओर कारोबारी निकले थे। मड़वन चौक से पहले उनकी कार को चार चक्का वाहन से ओवरटेक कर रोक दिया गया था। इसके बाद उस गाड़ी से चार बदमाश उतरे और सत्यनारायण को अगवा कर लिया था। जानकारी के मुताबिक बिचौलिये की मिलीभगत से कालाबाजारी के लिए दाल का स्टाक कर लिया गया था।

जागरण संवाददाता, मुजफ्फरपुर। दाल कालाबजारी के मामले में जांच के दौरान सत्यनारायण प्रसाद से पूछताछ की गई। जब एग्रीमेंट का कागजात दिखाने को कहा गया तो वह टीम के पदाधिकारियों को चकमा देकर भाग निकला। इसके कारण पुलिस की चुनौती बढ़ गई है। हालांकि पुलिस का कहना है कि सत्यनारायण व उसके साथ इसमें शामिल अन्य आरोपितों की गिरफ्तारी को लेकर छापेमारी की जा रही है।
आठ वर्ष पूर्व कर लिया गया था अपहरण
पुलिस पूछताछ में स्थानीय लोगों ने बताया कि सत्यनारायण प्रसाद का करीब आठ वर्ष पूर्व अपहरण कर लिया गया था। प्राथमिकी में सत्यनारायण प्रसाद का नाम सामने आने के बाद यह कहा जा रहा कि कही वही सत्यनारायण तो नहीं है। इस बिंदु पर पुलिस की जांच चल रही है। हालांकि यह तो उसकी गिरफ्तारी के बाद ही स्पष्ट हो पाएगा।
क्या था मामला
बता दें कि करीब आठ वर्ष पूर्व चालक मुकेश के साथ व्यवसाय के सिलसिले में मड़वन की ओर कारोबारी निकले थे। मड़वन चौक से पहले उनकी कार को चार चक्का वाहन से ओवरटेक कर रोक दिया गया था। इसके बाद उस गाड़ी से चार बदमाश उतरे और सत्यनारायण को अगवा कर लिया था।
जानकारी के मुताबिक बिचौलिये की मिलीभगत से कालाबाजारी के लिए दाल का स्टाक कर लिया गया था। चांदनी चौक स्थित सत्यनारायण प्रसाद के गोदाम से कुल 45 टन चना दाल मिली थी। इसके साथ ही एक पिकअप वैन भी वहां से जब्त की गई थी।
इस पर भारत दाल, चना दाल, प्याज, उपभोक्ता मामले विभाग नेफेड उचित मूल्य केंद्र का बैनर लगा था। इसके अलावा गोदाम की चारदीवारी के अंदर से चार चाकू, सरकार द्वारा अनुदानित भारत दाल चना दाल के काफी संख्या में फटे हुए पैकेट भी मिले थे।
साथ ही सिलाई व वजन करने की मशीन समेत अन्य सामान जब्त किए गए। इसके अलावा राजधानी सोरटेक्स क्लीनड क्वालिटी पल्स एवं द रायल फाइनेस्ट क्वालिटी सारटेड इंडिया पल्स लिखी हुई काफी संख्या में प्लास्टिक बैग भी बरामद किए गए थे।
पूछताछ के दौरान गोदाम मालिक सत्यनारायण प्रसाद ने पुलिस को बताया कि वह पटना के कारोबारी को लीज पर दे रखे थे। हालांकि इसका कोई कागजात नहीं प्रस्तुत किया गया। इससे उनकी गतिविधि संदेह में है।
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