Muzaffarpur News: सरकारी जमीन के साथ हो गया 'खेल'! जमाबंदी का सच बाहर आते ही CO ने जारी किया नया ऑर्डर
मुजफ्फरपुर के बोचहां में सरकारी भूमि की गलत तरीके से केवाला कराकर जमाबंदी कायम कराने का मामला सामने आया है। स्वास्थ्य उपकेंद्र और पंचायत सरकार भवन के निर्माण में विरोध के बाद जांच में भूमि बिहार सरकार के नाम पर दर्ज पाई गई। सीओ ने जमाबंदी रद करने की अनुशंसा की है। इसको लेकर विभाग में हड़कंप मच गया है।

जागरण संवाददाता, मुजफ्फरपुर। सरकारी भूमि की केवाला कराकर बोचहां में गलत तरीके से जमाबंदी कायम कराने का मामला सामने आया है।
दरअसल उक्त भूमि पर स्वास्थ्य उपकेंद्र और पंचायत सरकार भवन का निर्माण कराया जाना है। इसकी प्रक्रिया शुरू होते हुए जमाबंदी रैयतों ने विरोध कर दिया।
इसके बाद बोचहां सीओ ने राजस्व कर्मचारी से जांच कराई। इसमें पाया गया कि उक्त भूमि बिहार सरकार के नाम से दर्ज है।
इसका केवाला कर गलत तरीके से जमाबंदी कायम कराया गया है। उन्होंने इसकी रिपोर्ट अपर समाहर्ता को भेजकर जमाबंदी रद करने की अनुशंसा की है।
बताया गया कि बोचहां प्रखंड की सहिलारामपुर पंचायत में 37 डिसमिल भूमि स्वास्थ्य उपकेंद्र का निर्माण कराने के लिए चिह्नित की गई थी। इसपर विरोध होने के बाद राजस्व कर्मचारी ने जांच की।
रिपोर्ट में उन्होंने बताया कि दो व्यक्तियों के द्वारा केवाला करवाकर बिना दाखिल खारिज वाद संख्या के जमाबंदी कायम करवा लिया गया।
3.8 डिसमिल भूमि पर बनने वाला था पंचायत सरकार भवन
इसके अलावा विशुनपुर खेतल पंचायत में 3.8 डिसमिल भूमि पर पंचायत सरकार भवन का निर्माण किया जाने को लेकर चयनित किया गया था, लेकिन इसपर भी विरोध उत्पन्न कर दिया गया।
राजस्व कर्मचारी ने जांच रिपोर्ट देते हुए बताया कि सर्वे खतियान में रैयत गैरमजरूआ बिहार सरकार के नाम से दर्ज है।
जिस जमाबंदी के आधार पर उक्त भूमि पर दावा किया जा रहा है, वह चकबंदी पदाधिकारी के आदेश से निर्गत है।
जबकि बोचहां अंचल कार्यालय में चकबंदी लागू नहीं है। इसलिए इस जमाबंदी को भी रद करने की अनुशंसा सीओ की ओर से की गई है।
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