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गांधी के आदर्शों पर चलकर ही संतुलित समाज का निर्माण संभव: सुजाता

- बापू के पुण्य स्मृति पर्व पर उजड़ता गांव, दम घुटता शहर पर परिचर्चा का हुआ आयोजन सं

By JagranEdited By: Published: Wed, 13 Feb 2019 12:59 AM (IST)Updated: Wed, 13 Feb 2019 12:59 AM (IST)
गांधी के आदर्शों पर चलकर ही संतुलित समाज का निर्माण संभव: सुजाता
गांधी के आदर्शों पर चलकर ही संतुलित समाज का निर्माण संभव: सुजाता

- बापू के पुण्य स्मृति पर्व पर उजड़ता गांव, दम घुटता शहर पर परिचर्चा का हुआ आयोजन संवाद सूत्र, कुर्सेला (कटिहार) : राष्ट्रपिता महात्मा गांधी के परिनिर्वाण के 71 वें पुण्य स्मृति पर्व पर पूर्व सांसद नरेश यादव की अध्यक्षता में गांधी घर कुर्सेला में श्रद्धांजलि सभा का आयोजन किया गया। इसमें सांसद तारिक अनवर, पूर्व सांसद निखिल चौधरी, जिला पार्षद गोपाल यादव, लेखिका सुजाता चौधरी, पूर्व मंत्री दुलाल चंद्र गोस्वामी आदि ने भी शिरकत की। अतिथियों ने सर्वप्रथम गांधी के प्रतिमा पर माल्यार्पण कर श्रद्धांजलि अर्पित की। बाद में आडिटोरियम हाल में उजड़ता गांव तथा दम घुटता शहर विषय पर आयोजित परिचर्चा में भाग लिया। लेखिका सुजाता चौधरी ने कहा कि महात्मा गांधी के आदर्शों पर चलकर ही असंतुलित दुनिया को संतुलित किया जा सकता है। साथ ही इससे ही संतुलित समाज का निर्माण भी संभव है। उन्होंने कहा कि गांधी के सपनों के स्वराज को पूरा करने के लिए शिक्षा को प्राथमिकता देना अनिवार्य है। उन्होंने बिहार की शिक्षा व्यवस्था पर भी जमकर तंज कसा। सांसद तारीक अनवर ने कहा कि बापू ने हिन्दुस्तान को बहुत नजदीक से देखा था। उन्होंने कहा कि जहां इतनी विविधताएं है उसको जोड़ कर रखने का काम तभी हो सकता है जब सर्व धर्म सछ्वाव पर विश्वास रखा जाए। हर धर्म इंसानियत की सीख देता है। अगर मानवता को हमलोग मानते है तो हमे सभी धर्मो का सम्मान करना चाहिए। पूर्व सांसद निखिल चौधरी तथा पूर्व मंत्री दुलाल चंद्र गोस्वामी ने कहा कि उजड़ता गांव तथा दम घुटता शहर पर विस्तार से प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बिहार में शराब बंदी कर गांधी जी के सपनो को साकार किया। सर्वोदय आश्रम के अध्यक्ष सह पूर्व सांसद नरेश यादव ने कहा कि जब संविधान बन रहा था तो पूज्य बापू की अटूट इच्छा थी कि देश मे नशाबंदी हो। जब संविधान बनकर तैयार हो गया तो संविधान को दिखाने के लिए गांधी जी के पास लाया गया। महात्मा गांधी ने देखा कि संविधान मे मद्य निषेध नहीं है तो अफरा-तफरी का माहौल हो गया था। उजड़ता गांव तथा दम घुटता शहर थीम के लिए बिहार के मुख्यमंत्री तथा देश के प्रधानमंत्री से मुलाकात कर पटना तथा दिल्ली मे सेमिनार आयोजित करेंगे। इस मौके पर एनबीआर स्कूल के बच्चों द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्रम तथा नाटक की प्रस्तुति दी गई। नाटक मे दिखाया गया कि हिन्दू, मुस्लिम, सिख, ईसाई सभी धर्मो के लोगों का भगवान एक ही है। उसी ईश्वर ने सभी धर्मो के मनुष्य को बनाया है। इस अवसर पर प्रभाकर झा, दिनेश प्रसाद यादव, राधा कांत झा, जगन्नाथ मंडल, शमशाद आलम, अल्तमस्त दीवान, टनटन ठाकुर, मिथिलेश यादव, मंसूर आलम, अरूण कुमार साह, संटू यादव, सत्यनारायण चौधरी आदि मौजूद थे ।

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