बाल-बाल बचे: भागलपुर में लापरवाही का हैरान करने वाला मामला, मरीजों को चढ़ाई जाने वाली थी फंगस वाली स्लाइन
भागलपुर के पीरपैंती रेफरल अस्पताल में स्वास्थ्य विभाग की बड़ी लापरवाही का मामला सामने आया है। मुंह से ब्लड आने की शिकायत लेकर पहुंचे मरीज को फंगल वाला स्लाइन लगाया जा रहा था। समय रहते मरीज के साथ आए स्वजन की नजर स्लाइन पर पड़ गई जिसके बाद काफी हंगामा हुआ। बाद में स्लाइन को बदला गया। स्वजनों ने अस्पताल प्रबंधन पर लापरवाही का आरोप लगाया है।

संसू,पीरपैंती। पीरपैंती रेफरल अस्पताल में स्वास्थ्य विभाग की हद दर्जे की लापरवाही सामने आई है। अस्पताल में मरीज को फंगस वाला स्लाइन चढ़ाया जा रहा था। स्लाइन लगाते समय मरीज के स्वजन की नजर उस पर पड़ गई, जिसके बाद इसका विरोध किया गया। तब जाकर स्लाइन बदला गया।
स्लाइन में दिखा फंगस
रेफरल अस्पताल में शुक्रवार शाम को मलिकपुर निवासी राघवेंद्र ठाकुर के 26 वर्षीय पुत्र प्रशांत ठाकुर को गंभीर स्थिति में अस्पताल में भर्ती कराया गया। उसके मुंह से ब्लड आ रहा था। ड्यूटी पर तैनात चिकित्सक डॉ. नीरज ने उसे आरएल स्लाइन तुरंत चढ़ाने का निर्देश दिया। ड्यूटी में तैनात दो एएनएम ने जैसे ही आरएल के बोतल को स्लाइन स्टैंड पर लटकाकर मरीज के हाथ में लगाने की तैयारी शुरू की, तभी रीज के चाचा सुनील आजाद ने स्लाइन बोतल में काला रंग का पदार्थ तैरते देख लिया । इसके बाद स्लाइन लगाने से मनाकर विरोध शुरू कर दिया।
प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी से की शिकायत
इसकी सूचना प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ गणेश खंडेलिया को दी गई, तब जाकर कर्मियों ने आनन-फानन में स्लाइन को बदला। मरीज के साथ आए उसके चाचा ने अस्पताल के चिकित्सीय व्यवस्था पर मनमानी करने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि यह तो संयोग था कि मेरी नजर स्लाइन बोतल पर चली गई। अस्पताल के कर्मी सारी हद पार कर चुके हैं। यहां की व्यवस्था काफी खराब हो चुकी है।
मरीज के स्वजनों में आक्रोश
प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी डॉ. गणेश खंडेलिया से शिकायत की गई तो उन्होंने कहा कि विभाग यह स्लाइन विभाग की ओर से ही भेजा गया है। इसमें हम लोग क्या करें। आप लोग भी देखा कीजिए। स्वजन ने बताया कि इसकी शिकायत स्थानीय स्तर पर पदाधिकारी को की गई है। मरीज के साथ पहुंचे लोग प्रबंधन के खिलाफ आवाज उठा रहे हैं। अस्पताल प्रबंधन की बड़ी लापरवाही पर लोगों ने आक्रोश जताया है। कहा कि जो कार्य स्वास्थ्य कर्मी को करना चाहिए, वह मरीज के स्वजन कर रहे हैं। स्लाइन लगाने के पहले बोतल की जांच करनी चाहिए। इससे घोर लापरवाही अस्पताल में क्या होगी।
मनमानी का आरोप
अस्पताल में स्वास्थ्य कर्मी जबरदस्त मनमानी करते हैं। स्वजन का आरोप है कि झूठा स्पष्टीकरण पूछकर खानापूर्ति की जाती है। ज्यादा विरोध होने पर अस्पताल से तबादला कर दिया जाता है। फिर बाद में उस कर्मी को अस्पताल बुला लिया जाता है। स्वजन ने उसने इसकी जांच कर दोषी पर कार्रवाई करने तथा रिपोर्ट सार्वजनिक करने की मांग की है।
मरीज के चाचा सुनील आजाद ने बताया कि कहलगांव एसडीएम एवं सिविल सर्जन को भी शिकायत करने के लिए फोन किया, लेकिन फोन रिसीव नहीं हुआ। उसने बताया कि व्हाट्सएप के जरिए सभी वरीय पदाधिकारियों को इसकी लिखित शिकायत भेजी गई है। ताकि दूसरे मरीज के साथ ऐसा बर्ताव नहीं हो। उन्होंने कहा कि जिस कंपनी द्वारा स्लाइन आपूर्ति की जा रही है, अगर उसे नहीं बदला गया तो हम लोग चुप नहीं बैठेंगे। विरोध में अस्पताल में धरना-प्रदर्शन करेंगे।
जांच के बाद होगी कार्रवाई
प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारीगणेश खंडेलिया ने कहा कि मरीज को चढ़ाने के लिए लाया गया स्लाइन देखने में फंगस जैसा लग रहा है। जांच के बाद ही स्पष्ट हो पाएगा कि उसमें क्या गड़बड़ी है। पूरे बिहार में बीएमआइएससीएल कंपनी दवाई आपूर्ति कर रही है। इसकी सीएस को शिकायत की गई है। ड्यूटी में तैनात चिकित्सक एवं कर्मी से स्पष्टीकरण पूछा गया है। जांच के बाद दोषी पाए जाने पर उन पर भी कार्रवाई के लिए वरीय अधिकारियों लिखा जाएगा। इसकी भी जानकारी सीएस को दी गई है।
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