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    Chaiti Chhath Puja 2024: आस्था का महापर्व चैती छठ शुरू, जानें क्या है नहाय-खाय और सूर्य अर्घ्य की तिथि

    Updated: Fri, 12 Apr 2024 04:43 PM (IST)

    सूर्य उपासना महापर्व चैती छठ नहाय खाय के साथ शुरू हो गया। स्नान ध्यान करने के बाद व्रती पवित्रता के साथ पुजा अर्चना कर अरवा चावल का भातचना का दाल कद्दू की सब्जी सेंधा नमक का ही प्रयोग कर जिसमें तुलसी का पत्ता व गंगा जल लेकर अन्न ग्रहण करती है। खरना को लेकर होने वाली विशेष पूजा की तैयारी में महिलाएं जुट गई है।

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    बिहार में आस्था का महापर्व चैती छठ शुरू।

    जागरण संवाददाता, अररिया। Chaiti Chhath Puja 2024 शुक्रवार को नहाय-खाय के साथ चैती छठ की शुरुआत हो गयी। पर्व को लेकर महिलाओं ने घरों में तैयारी में जुट गई है। घरों में छठी मैया की गीत सुनाई दे रही है। इस चार दिवसीय आस्था के अनुष्ठान पर विधि-विधान के साथ लोगों ने पूजा पाठ शुरू किया। छठ व्रती स्नान करने के बाद अपने-अपने घरों में प्रसाद बनाते दिखे।

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    नहाय- खाय के दिन छठ व्रत करने वाले श्रद्धालुओं ने दाल-चावल के साथ कद्दू की सब्जी को प्रसाद के रूप में ग्रहण किया। स्नान के बाद कद्दू, चने की दाल, चावल तैयार कर व्रतियों के साथ ही श्रद्धालु भी प्रसाद के रूप में ग्रहण किये।

    36 घंटे का निर्जला उपवास

    शनिवार को खरना व्रती दिन भर उपवास रखने के बाद शाम को गन्ने के रस में बने चावल की खीर के साथ दूध, चावल का पिट्ठा व घी चुपड़ी रोटी का प्रसाद भगवान सूर्य को अर्पित करने के बाद ग्रहण करेंगे। इसके बाद 36 घंटे का निर्जला उपवास शुरू होगा।

    रविवार को अस्तगामी तो सोमवार को उदीयमान सूर्य को जलार्पण

    रविवार को अस्ताचलगामी भगवान सूर्य को दिया जायेगा। वहीं सोमवार को उदीयमान भगवान सूर्य को अर्ध्य दिया जायेगा। उसके बाद व्रती पारण करेंगी। छठ में गेहू का भी काफी महत्व है, क्योंकि प्रसाद बनाने में भी इसका प्रयोग होता है।

    खरना को भी प्रसाद में आटे की रोटी खायी जाती है। महिलाएं प्रसाद के लिए गेहूं को धाे कर सुखाने में जुटी है। इस दौरान छठ गीत की धुन सुनाई दे रही है। हर महिला के मुंह से छठ गीत ही निकल रहा है।

    स्नान-ध्यान के बाद पुजा-अर्चना

    सूर्य उपासना महापर्व चैती छठ नहाय खाय के साथ शुरू हो गया। स्नान-ध्यान करने के बाद व्रती पवित्रता के साथ पुजा-अर्चना कर अरवा चावल का भात,चना का दाल, कद्दू की सब्जी सेंधा नमक का ही प्रयोग कर जिसमें तुलसी का पत्ता व गंगा जल लेकर अन्न ग्रहण करती है। खरना को लेकर होने वाली विशेष पूजा की तैयारी में महिलाएं जुट गई हैं।

    गुरुवार से ही फल फूल पूजा की सारी सामग्री सूप दौरा कपड़ा खरीद करने को लेकर महिलाओं व उनके परिवार के लोग बाजार में देखे गए। चैती छठ को लेकर कुआड़ी व कुर्साकांटा के बाजारों में चहल-पहल का नजारा देखा जा रहा है। हालांकि चैती छठ का प्रचलन लोगों में कम दिखाई पड़ती है।

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