Haryana News: फसल अवशेष जलाते ही किसान के पास GPS लोकेशन के साथ पहुंचेगा फोटो, दोषियों पर होगी कार्रवाई
गेहूं की कटाई के बाद ही अब फसल अवशेषों के जलाने के मामले सामने आने लगे हैं। वहीं नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल के आदेश के अनुसार धारा-144 का प्रयोग करते हुए सभी जिलों में तुरंत प्रभाव से फसल अवशेष जलाने पर रोक के निर्देश दिए गए हैं। इसको लेकर प्रशासन ने पूरी तैयारी कर ली है। अब फसल के अवशेष जलाने पर किसान के पास जीपीएस लोकेशन के साथ फोटो पहुंचेगा।
राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। गेहूं की कटाई के बाद अब कुछ स्थानों पर फसल अवशेष जलाने के मामले सामने आने लगे हैं। ऐसे में कृषि विभाग ने गांव, खंड व जिला स्तर पर टीमों का गठन किया है, जो किसानों को फाने (गेहूं के फसल अवशेष) जलाने से रोकेंगी। इसके अलावा हरसेक द्वारा सेटेलाइट के माध्यम से मौके की जीपीएस लोकेशन के साथ फोटो किसान के पास भेजा जाएगा। फसल अवशेष में आग लगाने वाले के खिलाफ नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।
धारा 144 लागू कर फसल अवशेष जलाने पर रोक
नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल के आदेश के अनुसार, धारा-144 का प्रयोग करते हुए सभी जिलों में तुरंत प्रभाव से फसल अवशेष जलाने पर रोक के निर्देश दिए गए हैं। यह आदेश 25 जून तक लागू रहेंगे। कृषि, राजस्व और पंचायत विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए गए हैं कि वे किसानों को फसल अवशेष नहीं जलाने के बारे में जागरूक करें। किसान कृषि यंत्रों की सहायता से फसल अवशेषों का प्रबंधन कर सकते हैं, ताकि आगजनी से होने वाले नुकसान से बचा जा सके। इसके साथ ही भूमि की उर्वरा शक्ति को बढ़ाया जा सके।
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भूमि के मित्र कीट की हो जाती मृत्यु
फसल अवशेष को जलाने से भूमि के मित्र कीट मर जाते हैं, जबकि उनका जिंदा रहना जरूरी है। मित्र कीटों के मर जाने से भूमि की उर्वरक शक्ति कम होने से फसल की पैदावार पर भी प्रभाव पड़ता है।