Agra: योगी चैतन्य नाथ मर्डर केस में खुलासा, शिष्य ही निकला गुरु की हत्या का आरोपी, कत्ल की वजह जानकर सभी हैरान
Agra Crime News In Hindi Today योगी के भाई मुन्ना मिश्रा की शिकायत पर पुलिस ने दस दिन बाद समाधि से शव निकाल कर पोस्टमार्टम कराया था। रिपोर्ट में हत्या की पुष्टि हुई थी। पुलिस ने उनका गायब मोबाइल सर्विलांस पर लगाया था। मोबाइल की लोकेशन बिहार में मिली थी। पुलिस टीम आरोपित अक्षय गुप्ता उर्फ बालयोगी मदन नाथ को बिहार से पकड़ कर लाई।
जागरण संवाददाता,आगरा। सदर के नामनेर स्थित लालनाथ की समाधि मठ के मठाधीश योगी चैतन्य नाथ की हत्या का पुलिस ने पर्दाफाश कर दिया है। पुलिस ने योगी के शिष्य बालयोगी मदन नाथ उर्फ अक्षय गुप्ता को बिहार से गिरफ्तार किया है। आरोपित की निशानदेही पर पुलिस ने हत्या में इस्तेमाल डंडा भी बरामद किया है।
प्रभारी निरीक्षक प्रदीप कुमार ने बताया कि 12 मई को मठ परिसर में योगी चैतन्य नाथ का शव मिला था। संतों ने बिना पुलिस को सूचना दिए समाधि दे दी थी।
गलत हरकत करने पर डंडे से फोड़ा सिर
आरोपित ने बताया कि वो बिहार के जिला सहरसा के थाना पतरघट के पीपरा गांव का रहने वाला है। आरोपित खुद नाथ संप्रदाय की दीक्षा ले चुका था। पहले अन्य मठ में रहकर सेवा करता था। 10 मई को वो योगी चैतन्यनाथ के पास आया था। योगी चैतन्य नाथ ने उसके खाने पीने और रहने की व्यवस्था की। रात में वो योगी की सेवा कर रहा था। योगी ने उसके साथ गलत हरकत करने का प्रयास किया। इसके बाद गुस्से में आकर उसने डंडे से योगी के सर पर ताबड़तोड़ वार किए। इसके बाद वेश बदल कर बिहार भाग गया।
ये भी पढ़ेंः Circle Rates: यूपी के इस जिले में सर्किल रेट बढ़ाने की तैयारी, 7 साल बाद होगा बदलाव, तहसीलदारों से मांगी रिपोर्ट
स्वजन नहीं संतुष्ट,मुख्यमंत्री से मिलेंगे
मृतक योगी चैतन्य नाथ के भाई मुन्ना मिश्रा ने बताया कि 58 वर्षीय बुजुर्ग किसी जवान युवक के साथ गलत हरकत कैसे कर सकता है। यह साजिश है। योगी चैतन्यनाथ बाबा बालकनाथ के इकलौते शिष्य और उत्तराधिकारी थे। संप्रदाय के मठों की हजारों करोड़ की जमीन की रखवाली करते थे।
संप्रदाय से जुड़े कुछ लोग जमीनों पर कब्जे के लिए उनको रास्ते से हटाना चाहते थे। घटना की सीबीआई जांच की मांग करने मां के साथ मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मिलने जाएंगे। उन्होंने अपनी जान का खतरा बताया है।