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    London: वीजा नियमों में बदलाव से ब्रिटेन में घटी भारतीय छात्रों की संख्या, सार्वजनिक सेवाओं पर बढ़ रहा था बोझ

    Updated: Wed, 01 May 2024 08:23 PM (IST)

    ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने इंटरनेट मीडिया पर एक बयान में कहा कि आंकड़ों का मतलब है कि देश की वीजा प्रणाली में उनके द्वारा किए गए बदलाव काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि स्वजन और आश्रितों को ब्रिटेन लाने वाले छात्रों की संख्या बहुत अधिक थी। यह उचित नहीं था। उन्होंने कहा कि हमारे बदलाव काम कर रहे हैं।

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    ब्रिटेन में छात्र वीजा नियमों में बदलाव के बाद विदेशी छात्रों की संख्या में गिरावट देखने को मिली है।

    पीटीआई, लंदन। ब्रिटेन में छात्र वीजा नियमों में बदलाव के बाद विदेशी छात्रों के साथ आने वाले आश्रितों या निकट स्वजन जैसे पति, पत्नी और बच्चों की संख्या में गिरावट देखने को मिली है। ब्रिटिश सरकार ने इसका स्वागत किया है। ब्रिटेन के गृह विभाग का कहना है कि पिछले साल की तुलना में इस साल जनवरी से लेकर मार्च के महीने में छात्रों के साथ आने वाले आश्रितों की संख्या में 80 प्रतिशत तक गिरावट देखने को मिली है।

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    इसके अलावा इस बार 26,000 से कम छात्रों ने वीजा का लिये आवेदन किया है। हालांकि, 2023 में भारतीय नागरिकों को 1,20,110 अध्ययन वीजा मिला जो 2022 की तुलना में 14 प्रतिशत कम था। जनवरी से प्रभावी नियमों के तहत, अनुसंधान पाठ्यक्रमों को छोड़कर अधिकतर अंतरराष्ट्रीय छात्र स्वजनों को साथ नहीं ला सकते हैं। अब वे अपना पाठ्यक्रम पूरा करने से पहले अपना वीजा नहीं बदल सकते हैं।

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    हाल के वर्षों में अंतरराष्ट्रीय छात्र वीजा मामले में भारतीय सबसे आगे रहे हैं और ये आंकड़े दर्शाते हैं कि इस साल की शुरुआत में देखी गई गिरावट का मतलब यह हो सकता है कि कम भारतीय छात्र ब्रिटेन के विश्वविद्यालयों को चुन रहे हैं। फरवरी के आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, 2019 और 2023 के बीच अध्ययन वीजा पाने वाले भारतीयों की संख्या में 85,849 की वृद्धि हुई, जो ब्रिटेन में अंतरराष्ट्रीय छात्रों सबसे अधिक संख्या है।

    ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक ने इंटरनेट मीडिया पर एक बयान में कहा कि आंकड़ों का मतलब है कि देश की वीजा प्रणाली में उनके द्वारा किए गए बदलाव काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि स्वजन और आश्रितों को ब्रिटेन लाने वाले छात्रों की संख्या बहुत अधिक थी। यह उचित नहीं था। उन्होंने कहा कि हमारे बदलाव काम कर रहे हैं।

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    ब्रिटेन के गृह मंत्री जेम्स क्लेवरली के कार्यालय ने उनकी वीजा कार्रवाई के प्रभाव को उजागर करने के लिए अंतरिम आंकड़े जारी किए। क्लेवरली ने कहा कि लगातार बढ़ती संख्या हमारी आव्रजन प्रणाली में ब्रिटिश लोगों का भरोसा कम कर रही है, सार्वजनिक सेवाओं पर बोझ डाल रही है और वेतन को कम कर रही है।