'रूस पहले' की लहर में पुतिन का जीतना तय, सत्ता में पूरा होगा 25 वर्ष का सफर
इस जीत के साथ पुतिन छह साल के एक और कार्यकाल के लिए राष्ट्रपति बन जाएंगे।
मॉस्को (रायटर)। रूस में रविवार को राष्ट्रपति पद का चुनाव होना है। रूसी मतदाता राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन को एक और कार्यकाल का मौका देने को तैयार दिख रहे हैं। वह पुतिन को पश्चिम के देशों के खिलाफ खड़े होने का श्रेय देते हैं। जबकि पश्चिमी देश पुतिन को खतरनाक तानाशाह के रूप में देखते हैं। यह चुनाव ऐसे समय में हो रहा है जब रूस अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सीरिया युद्ध और पूर्व रूसी जासूस को जहर देने के मामले में ब्रिटेन के साथ तनाव में उलझा हुआ है।
चुनाव सर्वेक्षणों के मुताबिक, 65 वर्षीय पुतिन को शानदार बढ़त है। इस जीत के साथ वह छह साल के एक और कार्यकाल के लिए राष्ट्रपति बन जाएंगे। इस तरह सत्ता में उनका करीब 25 वर्ष पूरा हो जाएगा। ऐसा करने वाले वह जोसेफ स्टालिन के बाद दूसरे रूसी नेता होंगे। चुनाव प्रचार के दौरान पुतिन ने खुद को शत्रु दुनिया में रूस के राष्ट्रीय हितों की रक्षा करने वाला एकमात्र व्यक्ति बताया है।
उनके समर्थक सीरिया में रूस के सैन्य दखल और 2014 में यूक्रेन के क्रीमिया क्षेत्र पर कब्जे को पुतिन की देशभक्ति का प्रमाण मानते हैं। नौ मार्च के चुनाव सर्वेक्षण में पुतिन को 69 फीसद मिले थे। जबकि उनके निकटतम प्रतिद्वंद्वी कम्युनिस्ट पार्टी के उम्मीदवार पावेल ग्रुदिनिन को केवल सात फीसद मिले थे।
कम मतदान कर सकता है प्रभावित
माना जा रहा है कि कम मतदान पुतिन के मुश्किल पैदा कर सकता है। इसके अलावा पुतिन विरोधी रूसी अल्पसंख्यक उनके खिलाफ मतदान के लिए उतर गए तो उसका भी असर पड़ सकता है। कम मतदान से सत्तारूढ़ दल के भीतर पुतिन के कद को नुकसान पहुंचा सकता है।