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पल-भर में बदल गया म्यूनस्टर की सड़क का माहौल, हर तरफ मची थी चीख-पुकार

जर्मनी के शहर म्यूनस्टर में जिस तर्ज पर हमला किया गया उसने नीस और नांतेस शहर में हुए हमले की याद ताजा कर दी। इसके अलावा जर्मनी में 2016 में बर्लिन में इसी तरह से हमला किया गया था।

By Kamal VermaEdited By: Published: Sun, 08 Apr 2018 01:48 PM (IST)Updated: Sun, 08 Apr 2018 04:25 PM (IST)
पल-भर में बदल गया म्यूनस्टर की सड़क का माहौल, हर तरफ मची थी चीख-पुकार
पल-भर में बदल गया म्यूनस्टर की सड़क का माहौल, हर तरफ मची थी चीख-पुकार

नई दिल्‍ली [स्‍पेशल डेस्‍क]। जर्मनी में एक हमलावर ने वैन से कुचलकर करीब चार लोगों को मार डाला। इस हमले में 30 से अधिक लोगों के घायल होने की खबर है जिसमें से दस की हालत बेहद नाजुक बताई जा रही है। हमले को अंजाम देने के बाद वैन में सवार हमलावर ने भी खुद की भी गोली मारकर आत्‍महत्‍या कर ली। यह घटना जर्मनी के राज्य नॉर्थराइन वेस्टफेलिया के पुराने शहर म्यूनस्टर में घटी। इस हमले के बाद भी वहां दहशत का माहौल है। जर्मनी में ऐसा पहली बार नहीं हुआ है कि जब हमलावर ने लोगों को मारने के लिए किसी वाहन का इस्‍तेमाल किया हो।

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बर्लिन हमले की याद ताजा

शनिवार शाम की घटना ने 19 दिसंबर 2016 को बर्लिन में हुए हमले की याद ताजा कर दी। उस दिन भी एक तेज गति से आते ट्रक ने कई लोगों को बेरहमी से कुचल डाला था। इस हमले में 12 लोगों की मौत हो गई थी जबकि 50 से अधिक लोग घायल हुए थे। इस हमले को अंजाम देने के लिए हमलावर ने क्रिसमस की तैयारी में सजी क्रिसमस मार्किट को चुना था, जहां उस वक्‍त काफी भीड़ थी। शनिवार को भी म्यूनस्टर में हमलावर ने इसी तर्ज पर हमलाकर अधिक से अधिक लोगों को मारने की कोशिश की थी। आपको बता दें कि म्‍यूनस्‍टर सैलानियों का पसंदीदा शहर है। जर्मनी आने वाले सैलानी एक बार इस खूबसूरत शहर को देखने के लिए काफी संख्‍या में यहां का रुख करते हैं।

पल-भर में बदल गया माहौल

शनिवार को जिस वक्‍त यह हमला किया गया उस वक्‍त वहां स्थित ओपन रेस्‍त्रां ग्रासर केंपनकर्ल में काफी भीड़ थी। लोग अपने खाने और ड्रिंक का लुत्‍फ उठा रहे थे। इतने में ही एक तेज गति से आते ट्रक ने वहां की खुशियों को मातम में बदल दिया। हमले के बाद वहां पर चारों तरफ कुर्सियां और टेबल चारों तरफ फैल गईं और जमीन पर जहां तहां खून बिखरा हुआ था। हमले के बाद तीन लाख की आबादी वाले इस खूबसूरत म्यूनस्टर शहर में सशस्त्र पुलिस बल को तैनात कर दिया गया। हमले के बाद फिलहाल पुलिस दो लोगों की तलाश में जुटी है। मीडिया रिपोट्स के मुताबिक ये लोग हमले के बाद वैन में से निकल कर भागे थे। हालांकि पुलिस ने इस बारे में अब तक कोई और जानकारी नहीं दी है।

खुद को बचाने के लिए भाग रहे थे लोग

जर्मनी की घरेलू मीडिया के मुताबिक हमले के बाद मची अफरातफरी में लोग मदद के लिए चिल्‍ला रहे थे और बेतहाशा खुद को बचाने के लिए वहां से भाग रहे थे। कुछ लोगों ने स्‍थानीय मीडिया को इस पूरे वाकये के बारे में भी बताया है। वहीं पुलिस उस वैन की भी जांच करने में जुटी है जिसका इस्‍तेमाल हमलावर ने किया था। पुलिस ने ट्वीट कर लोगों से घटनास्थल से दूर रहने का आग्रह किया है और साथ ही सोशल मीडिया पर अफवाहें ना फैलाने की हिदायत दी है. इलाके के आसपास की सड़कों को बंद कर दिया गया है। पुलिस की गाड़ियों और एम्बुलेंस के अलावा पुलिस के हेलीकॉप्टर भी गश्त लगाते हुए दिख रहे हैं।

पहले भी हुआ है ऐसा की हमला

हमलावर ने 7 अप्रैल को जिस तर्ज पर हमले को अंजाम दिया उसी तर्ज पर 22 दिसंबर 2014 को फ्रांस के नांतेस शहर और 14 जुलाई 2016 को फ्रांस के ही एक अन्‍य शहर नीस में आतंकी ने हमले को अंजाम दिया था। नीस हमले में करीब 86 लोगों की मौत हुई थी जबकि 400 के करीब लोग घायल हुए थे। वहीं नांतेस में दस लोगों की मौत हो गई थी। इसके अलावा 7 अप्रैल 2017 को स्टॉकहोम में भारतीय दूतावास के निकट भीड़ को रौंदते हुए एक ट्रक डिपार्टमेंटल स्टोर में जा घुसा था। इस हमले में पांच लोग मारे गए थे और 15 लोग घायल हो गए थे।

फिर करना होगा विचार

इस हमले ने एक बार फिर से दुनिया को आतंकवाद से बचाव और उनके हमला करने के तरीकों पर दोबारा विचार करने को बाध्‍य कर दिया है। जर्मनी में इस तरह का यह दूसरा हमला था, वहीं फ्रांस भी इस तरह के हमलों से दो चार हो चुका है। यूरोप के कई देश जिसमें ब्रसेल्‍स और ब्रिटेन भी शामिल हैं इस तरह के हमलों की मार झेल चुका है। लिहाजा अब दु‍निया के देशों को इस ओर सोचने की बेहद जरूरत है कि वह अपने यहां भीड़-भाड़ वाले इलाकों, सड़कों या शहरों में इस तरह के वाहनों की आवाजाही को सुनिश्चित करें या उनको रोक दें। आपको बता दें कि आतंकियों के लिए भीड़-भाड़ वाले इलाके बेहद आसान निशाना हुआ करते हैं। इसमें भी यदि हमला किसी वाहन से किया जाना हो तो इसको वक्‍त रहते भांप लेना भी काफी मुश्किल होता है। ऐसे में सावधान रहने की बेहद जरूरत है।

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