SCO Defence Minister's Meeting: चीन और पाकिस्तान के रक्षा मंत्रियों के सामने राजनाथ सिंह ने की दो टूक बात, रूस-यूक्रेन युद्ध पर जताई चिंता
उज्बेकिस्तान के ताशकंद में रक्षा मंत्रियों की बैठक को संबोधित करते हुए केंद्रीय मंत्री ने कहा कि सीमा पार आतंकवाद सहित किसी भी रूप में आतंकवाद जब किसी के द्वारा और किसी भी उद्देश्य के लिए किया जाता है तो यह मानवता के खिलाफ अपराध है।

ताशकंद, एजेंसी। शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के रक्षा मंत्रियों की बैठक में रक्षा मंत्री राजनाथ ¨सह ने चीन और पाकिस्तान दोनों को आतंकवाद पर भारत की चिंताओं से अवगत कराया। उन्होंने एक तरफ जहां अफगानिस्तान का इस्तेमाल किसी भी सूरत में आतंकवादी गतिविधियों के लिए नहीं किये जाने को लेकर चेतावनी दी वहीं दूसरी तरफ यह भी कहा कि एससीओ के सभी देशों को आतकंवाद के मुद्दे पर एक दूसरे की संवेदनाओं का ख्याल रखना चाहिए। राजनाथ सिंह ने जब यह बात कही जो वहां पाकिस्तान और चीन के रक्षा मंत्री भी उपस्थित थे।
इसका महत्व इसलिए ज्यादा है कि हाल के दिनों में पाकिस्तान में छिपे आतंकवादियों पर शिकंजा कसने में जुटा भारत लगातार कोशिश कर रहा है और चीन उस पर पानी फेर रहा है। पिछले दो महीने में पाकिस्तान के दो खूंखार आतंकियों पर अंतरराष्ट्रीय प्रतिबंध लगाने की भारत की पहल सिर्फ चीन के विरोध की वजह से असफल हुई हैं। उज्बेकिस्तान की राजधानी ताशकंद में एससीओ रक्षा मंत्रियों की यह बैठक इसलिए महत्वपूर्ण है कि तकरीबन तीन हफ्ते बाद इसी जगह पर एससीओ के सभी शीर्ष नेतृत्व की बैठक प्रस्तावित है। बैठक में पीएम नरेन्द्र मोदी, चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग, रूस के राष्ट्रपति ब्लादिमीर पुतिन और पाकिस्तान के पीएम शाहबाज शरीफ के भी हिस्सा लेने की पूरी संभावनाएं हैं।
वहां पीएम मोदी की पाकिस्तानी प्रधानमंत्री के साथ मुलाकात को लेकर पाकिस्तान के समाचार पत्रों में लगातार खबरें प्रकाशित हो रही हैं। हालांकि भारतीय विदेश मंत्रालय ने इस बारे में आधिकारिक तौर पर कोई टिप्पणी नहीं की है। प्रवक्ता अरविंद बागची का कहना है कि अभी इस बारे में कोई टिप्पणी करना जल्दबाजी होगी। पीएम मोदी की यात्रा व उनकी द्विपक्षीय मुलाकातों के बारे में निर्धारित समय से कुछ समय पहले ही जानकारी दी जाती है।राजनाथ सिंह ने कहा कि आतंकवाद वैश्विक सुरक्षा व शांति के लिए सबसे बड़ी चुनौती के तौर पर उभर कर सामने आया है।
अफगानिस्तान को हालात पर राजनाथ सिंह ने की टिप्पणी
भारत हर तरह के आतंकवाद से लड़ने को लेकर प्रतिबद्ध है ताकि अपने क्षेत्र को शांति व स्थिर बना सके। हमें एससीओ के सदस्य देशों के बीच आतंकवाद के खिलाफ संयुक्त क्षमता विकसित करनी चाहिए। उन्होंने अफगानिस्तान के हालात से सभी एससीओ देशों के हितों को जोड़ते हुए कहा कि यह सुनिश्चित करना बेहद जरूरी है कि वहां की जमीन का इस्तेमाल किसी भी दूसरे देश में आतंकवाद फैलाने के लिए ना हो। साथ ही वहां आतंकवाद को किसी भी तरह से शरण नहीं दी जानी चाहिए।
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