Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    Curfew in Iraq: इराक में शिया धर्मगुरु ने राजनीति छोड़ी, राष्ट्रपति भवन में घुसे समर्थक; हिंसा में 20 की मौत के बाद देशभर में कर्फ्यू

    By Mahen KhannaEdited By:
    Updated: Tue, 30 Aug 2022 04:52 AM (IST)

    Iraq News शिया मौलवी अल-सद्र के समर्थकों व सुरक्षा बलों में भिड़ंत होने से 20 लोगों की मौत हो गई है। जबकि कई लोग घायल हैं। हिंसा का दौर लंबा खिंचने की संभावना के चलते पड़ोसी देश ईरान ने इराक जाने वाली अपनी सभी उड़ानें रद कर दीं।

    Hero Image
    शिया मौलवी मुक्तदा अल-सद्र ने राजनीति से सन्यास की घोषणा की। (photo-AFP)

    बगदाद, एजेंसी। इराक के एक प्रभावशाली शिया मौलवी मुक्तदा अल-सद्र ने सोमवार को कहा कि वे राजनीति से किनारा कर सकते हैं। इसके बाद मौलवी के समर्थकों में नाराजगी फैल गई और विरोध में उन्होंने राष्ट्रपति के महल और अन्य सरकारी दफ्तरों में धावा बोल दिया। सुरक्षा बलों से टकराव में कम से कम 20 लोगों की जान चली गई और 300 से ज्यादा लोग घायल हो गए हैं। आशंका है कि हिंसा का यह दौर लंबा भी खिंच सकता है। इस बीच देश में अब कर्फ्यू लगा दिया गया है। बिगड़ी परिस्थितियों को देखते हुए पड़ोसी देश ईरान ने इराक जाने वाली अपनी सभी उड़ानें रद कर दीं और सीमा पर सभी प्रवेश द्वार बंद कर दिए। इस बीच हिंसा को देखते हुए संयुक्त राष्ट्र प्रमुख एंटोनियो गुटेरेस ने भी शांति की अपील की है।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    इस्तीफे की घोषणा होते ही समर्थक भड़के

    अल-सद्र के गुट ने भी संसद से इस्तीफा दे दिया है। इस्तीफे की घोषणा होते ही उनके समर्थक भड़क गए और सरकारी संपत्ति को निशाना बनाने लगे। सेना ने शहर में स्थानीय समयानुसार शाम सात बजे कर्फ्यू की घोषणा की। तनाव कम करने और टकराव टालने के लिए यह कदम उठाया गया। हालांकि उग्र भीड़ तोड़फोड़ करती रही। सुरक्षा बल सरकारी संस्थानों, निजी एवं सार्वजनिक संपत्ति और दूसरे देशों के दूतावासों की सुरक्षा में जुटे रहे।

    अल-सदर ने की भूख हड़ताल की घोषणा

    जानकारी के अनुसार शिया मुस्लिम धर्मगुरु अल-सदर ने जैसे ही राजनीति से सन्यास की घोषणा की, उसके समर्थक भड़क गए। वहीं दूसरी ओर अल-सदर ने हिंसा और हथियारों का इस्तेमाल बंद होने तक भूख हड़ताल की घोषणा भी कर दी है। इराक की राज्य समाचार एजेंसी आईएनए और स्टेट टीवी ने सोमवार देर रात रिपोर्ट दी। सदर के कार्यालय से तत्काल कोई पुष्टि नहीं हुई।

    कुवैत ने अपने नागरिकों से इराक छोड़ने को कहा

    इधर, कुवैती दूतावास ने इराक में अपने नागरिकों से देश छोड़ने का आग्रह किया है। कुवैत की राज्य समाचार एजेंसी (KUNA) ने सोमवार देर रात सूचना दी। प्रतिद्वंद्वी शिया समूहों के बीच झड़पों के बाद, दूतावास ने इराक की यात्रा करने के इच्छुक लोगों से अपनी योजनाओं को स्थगित करने के लिए भी कहा है।

    संसदीय चुनाव के बाद से इराक में गतिरोध

    पिछले वर्ष अक्टूबर में हुए संसदीय चुनाव के बाद से इराक की सरकार गतिरोध का सामना कर रही है। चुनाव में अल-सद्र की पार्टी को सबसे ज्यादा सीटें तो मिलीं, लेकिन बहुमत से दूर रही। सरकार बनाने के लिए उन्होंने ईरान समर्थक शिया प्रतिद्वंद्वियों के साथ समझौता करने से इन्कार कर दिया था। जुलाई में अल-सद्र के समर्थक उनके प्रतिद्वंद्वी को सरकार बनाने से रोकने के लिए संसद तक में घुस गए। इसके बाद से वे संसद भवन के बाहर धरने पर बैठे हैं।