इजरायल के साथ मुक्त व्यापार समझौता करेगा भारत, टर्म ऑफ रेफरेंस पर किए हस्ताक्षर
भारत और इजरायल मुक्त व्यापार समझौते पर बातचीत शुरू करने के लिए सहमत हो गए हैं। दोनों देशों ने टर्म ऑफ रेफरेंस पर हस्ताक्षर किए हैं, जो समझौते की रूपरेखा तय करेगा। यह कदम दोनों देशों के बीच आर्थिक संबंधों को मजबूत करने और व्यापार के नए अवसर पैदा करने में सहायक होगा। इससे भारत और इजरायल के रणनीतिक संबंध और भी मजबूत होंगे।

भारत और इजरायल ने टर्म ऑफ रेफरेंस पर हस्ताक्षर किए। (X- @PiyushGoyal)
जागरण ब्यूरो, तेल अवीव: भारत अब इजरायल के साथ भी मुक्त व्यापार समझौता (एफटीए) करने जा रहा है। इस दिशा में व्यापार वार्ता शुरू करने को लेकर दोनों देशों ने गुरुवार को टर्म ऑफ रेफरेंस पर हस्ताक्षर किए गए। भारत की ओर से वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल और इजरायल के अर्थिक व्यापार मंत्री निर बरकत के बीच ये हस्ताक्षर किए गए।
एफटीए वार्ता में वस्तु और सेवा दोनों सेक्टर को शामिल किया जाएगा। वाणिज्य मंत्री पीयूष गोयल ने बताया कि टर्म आफ रेफरेंस पर बातचीत के दौरान इजरायल ने भारत को अपने देश में 4.5 लाख करोड़ रुपये की मेट्रो निर्माण परियोजना में भाग लेने के लिए कहा है। उम्मीद है कि इस परियोजना का काम भारत को मिल सकता है।
उन्होंने कहा कि इजरायल के पास टेक्नोलॉजी है जिससे भारत में साइबर सुरक्षा और आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस के विकास में मदद मिलेगी। इससे पहले भारत और इजरायल के बीच आयोजित बिजनेस समिट में इजरायल के आर्थिक मंत्री नीर बरकत ने कहा कि दोनों देशों के बीच कई चीजों में समानता है और जल्द ही भारत दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने जा रहा है। इजरायल भारत को अपना सबसे अच्छा भागीदार बनाना चाहता है।
उन्होंने कहा कि इजरायल की प्रति व्यक्ति आय 60,000 डॉलर है और इजरायल के साथ भारत को अपना व्यापार बढ़ाने का बड़ा मौका है। अभी दोनों देशों के बीच सिर्फ छह अरब डॉलर का व्यापार होता है। वहीं, गोयल ने कहा कि भारत अगले दो दशक तक दुनिया में सबसे तेज गति से विकास करने वाले देश बना रहेगा और चालू वित्त वर्ष 2025-26 में भी हमारी विकास दर सात प्रतिशत रहेगी।
इजरायल की अपनी पहली यात्रा में गोयल ने कहा कि भारत 140 अरब आबादी के बाजार के साथ एक भरोसेमंद देश है। गोयल के साथ भारत के 60 से अधिक उद्यमी भी इजरायल के दौरे पर है, वहां के उद्यमियों के साथ निवेश व व्यापारिक सहभागिता को लेकर अगले चार दिनों तक वार्ता करेंगे।
इन क्षेत्रों में इजरायली कंपनियों को भारत से बड़ी उम्मीद
एआइ के क्षेत्र में काम करने वाली इजरायल की कंपनी लीडस्पाटिंग के संस्थापक राय आयोनास ने बताया कि भारत मैन्यूफैक्चरिंग हब बनने की ओर है। भारत की जीडीपी में लगातार हो रही वृद्धि को देखते हुए हमें भारत का बाजार आकर्षित कर रहा है। भारत को टेक्नोलॉजी की जरूरत है और हम इस काम में भारत का सहयोग कर सकते हैं। उनकी कंपनी ने हाल ही में गुरुग्राम में अपना कार्यालय खोला है।
आइसीयू से जुड़े विभिन्न उपकरणों के इस्तेमाल के बदले सिर्फ एक डिवाइस बनाने वाली इजरायली कंपनी एटलासेंसे बायोमेड के संस्थापक तल ओर ने बताया कि उनकी कंपनी भारत में इस डिवाइस का निर्माण शुरू करना चाहती है। कुछ भारतीय कंपनियों से इस दिशा में बात भी चल रही है। उन्होंने बताया कि इस डिवाइस को मरीज के शरीर पर रख देने के बाद बीपी, पल्स व अन्य जांच के लिए अलग-अलग उपकरण की जरूरत नहीं होगी।
अमूल के डेयरी उत्पादों का इजरायल को निर्यात जल्द अमूल डेयरी के प्रबंध निदेशक (एमडी) जयेन मेहता ने बताया कि अमूल जल्द ही विभिन्न डेयरी उत्पादों का निर्यात इजरायल को करने जा रही है।
अमूल अभी इजरायल को घी का निर्यात करता है, लेकिन अमूल के पास कई अन्य उत्पाद है जिनके निर्यात की इजरायल में पूरी संभावना है। इस काम के लिए इजरायल सरकार से सर्टिफिकेट लेने की जरूरत होती है। यह इस बात को सुनिश्चित करता है कि हमारे उत्पाद के उपयोग से इजरायल की जनता की धार्मिक भावना आहत नहीं होगी।

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