'अमेरिका में हमारे Sleeper Cell एक्टिव...', ईरान की धमकी से US में मची खलबली; कैसे काम करते हैं स्लीपर सेल?
Israel Iran Conflict: ईरान ने कथित तौर पर राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को सूचित किया था कि वह अमेरिका में स्लीपर-सेल को सक्रिय कर सकता है> व्हाइट हाउस और एफबीआइ के अधिकारी इन ईरानी स्लीपर सेल्स को लेकर हाई अलर्ट पर हैं। स्लीपर सेल जासूस या आतंकवादी होते हैं जो अमेरिका में ऐसा सामान्य जीवन जीते हैं जिससे उनपर किसी को कोई संदेह न हो।
ईरान ने अमेरिका को दी स्लीपर सेल एक्टिव करने की चेतावनी।(फाइल फोटो)
जेएनएन, नई दिल्ली। Israel Iran Conflict: इजरायल और ईरान के बीच संघर्ष अब खतरनाक मोड़ पर आ पहुंचा है। अमेरिकी सेना ने हाल ही में ईरान के परमाणु प्रतिष्ठानों पर हमला कर उसके तीन यूरेनियम संवर्धन संयंत्रों को नष्ट कर दिया। इस हमले से पहले ईरान ने कथित तौर पर राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को सूचित किया था कि वह अमेरिका में स्लीपर-सेल को सक्रिय कर सकता है।
व्हाइट हाउस और एफबीआइ के अधिकारी इन ईरानी स्लीपर सेल्स को लेकर हाई अलर्ट पर हैं। अमेरिकी सीमा शुल्क और सीमा सुरक्षा (सीबीपी) का कहना है कि यह खतरा ''पहले कभी इतना अधिक नहीं था।'' हालांकि, सीबीपी ने अभी तक किसी विश्वसनीय खतरे की पहचान नहीं की है। लेकिन, उसने कहा है कि अमेरिका में अवैध रूप से प्रवेश करने वाले हजारों ईरानी नागरिकों का दस्तावेजीकरण किया जा रहा है।
स्लीपर सेल क्या हैं?
स्लीपर सेल जासूस या आतंकवादी होते हैं जो अमेरिका में ऐसा सामान्य जीवन जीते हैं जिससे उनपर किसी को कोई संदेह न हो। वे अपने आस-पास के लोगों से घुलते-मिलते नहीं हैं। इसलिए कोई उन पर ध्यान नहीं देता। जब तक उन्हें अपने देश से जासूसी, तोड़फोड़ या हमले करने के लिए नहीं कहा जाता, तब तक वे काफी हद तक निष्कि्रय रहते हैं।
कई समाचार रिपोर्टों में दावा किया गया कि हिजबुल्लाह से जुड़े संभावित स्लीपर सेल अमेरिका में सक्रिय हो सकते हैं। हिजबुल्लाह ईरान और लेबनान में स्थित उसके प्राक्सी समूह का एक सहयोगी संगठन है। एक स्वतंत्र समाचार रिपोर्ट में कहा गया है कि ईरान में परमाणु ठिकानों पर अमेरिका द्वारा हमला करने से पहले ही एफबीआइ प्रमुख काश पटेल ने इन एजेंटों की निगरानी का आदेश दिया था।
मध्यस्थ के माध्यम से ट्रंप को संदेश
इजरायल-ईरान संघर्ष में अमेरिकी सेना को शामिल करने और तीन ईरानी परमाणु स्थलों पर हमला करने से कुछ दिन पहले ईरान ने अमेरिका में स्लीपर सेल सक्रिय करने की धमकी थी।
एनबीसी की रिपोर्ट के अनुसार, पिछले सप्ताह कनाडा में जी7 शिखर सम्मेलन में एक मध्यस्थ के माध्यम से ट्रंप को यह संदेश दिया गया था। उसी शिखर सम्मेलन के दौरान सात देशों के समूह ने ईरान को मध्य-पूर्व में अस्थिरता का स्त्रोत बताते हुए इजरायल को समर्थन देने का संकल्प व्यक्त किया था।
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