महंगाई, आर्थिक संकट और सख्त नियम... 30 सालों में सबसे कम हज यात्री, सऊदी अरब में क्यों घटी जायरीनों की संख्या?
सऊदी अरब में इस साल हज यात्रियों की संख्या पिछले 30 वर्षों में सबसे कम रही जिसमें कोविड महामारी का समय शामिल नहीं है। सऊदी अरब के हज मंत्रालय के अनुसार इस वर्ष केवल 1673230 मुसलमानों ने हज किया है जिनमें से अधिकांश सऊदी अरब के बाहर से हैं। पिछले साल की तुलना में यह संख्या 160000 कम है।
एपी, इस्लामाबाद। सऊदी अरब में हज करने जाने वाले जायरीनों की संख्या इस वर्ष पिछले 30 वर्षों में सबसे कम है। इसमें कोविड महामारी के समय को शामिल नहीं किया गया है।
सऊदी अरब के हज मंत्रालय ने एक्स पोस्ट में कहा है कि इस वर्ष हज करने वालों में सिर्फ 16,73,230 मुसलमान शामिल हैं। इनमें से अधिकांश सऊदी अरब के बाहर से हैं। अधिकारियों ने कम संख्या का तुरंत कोई कारण नहीं बताया है। हज इस्लाम के पांच स्तंभों में से एक है।
जायरीनों की संख्या पिछले वर्ष की तुलना में 160,000 कम है। महामारी से पहले आमतौर पर 20 लाख से अधिक लोग हज में भाग लेते थे। वहीं, 2012 में रिकार्ड 31.6 लाख जायरीनों ने हज किया था। 2023 का हज महामारी की शुरुआत के बाद से बिना किसी प्रतिबंध के आयोजित किया गया पहला हज था। दुनिया भर में महंगाई और आर्थिक संकट के कारण कुछ लोगों के लिए हज करना मुश्किल हो रहा है।
इस्लाम में इस चट्टानी पहाड़ी का बहुत महत्व
अत्यधिक गर्मी और यहां प्रवेश के लिए सख्त नियमों ने भी संभावित जायरीनों की संख्या में कमी की है। जायरीन गुरुवार को अराफात में इकट्ठा हुए और घंटों इबादत और चिंतन में समय बिताया। इस्लाम में इस चट्टानी पहाड़ी का बहुत महत्व है। अराफात का उल्लेख कुरान में किया गया है। तीर्थयात्री खंभों पर कंकड़ फेंककर शैतान को पत्थर मारने की प्रतीकात्मक रस्म को पूरा करने के लिए मीना की ओर बढ़ेंगे।
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