US Election 2024: बाइडन के पीछे हटने से कितना बदल जाएगा अमेरिका का राष्ट्रपति चुनाव? राजनीतिक रणनीतिकारों के मन में कई सवाल
81 वर्षीय डेमोक्रेट नेता जो बाइडन ट्रंप के खिलाफ ताल नहीं ठोकेंगे। उन्होंने चुनाव से नाम वापस लेने का एलान करते हुए कहा कि उनका रेस में बने रहना देश के हित में नहीं है। अमेरिका की इस अप्रत्याशित राजनीतिक घटना पर सियासी बयानबाजी का दौर शुरू हो गया है। अब चर्चा ये है कि अगर कमला हैरिस राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनती हैं तो यह एक ऐतिहासिक दांव होगा।
वॉशिंगटन, रॉयटर्स। डेमोक्रेटिक पार्टी अगर उपराष्ट्रपति कमला हैरिस को राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनाती है तो यह एक ऐतिहासिक दांव होगा क्योंकि सवाल यह है कि क्या एक अश्वेत महिला नस्लवाद व लैंगिक भेदभाव की चुनौती और राजनीतिज्ञ के रूप में अपनी गलतियों पर काबू पाकर रिपब्लिकन उम्मीदवार डोनाल्ड ट्रंप को हरा सकती है।
अश्वेत महिला को राष्ट्रपति नहीं चुना गया
अमेरिका में दो सदी से ज्यादा के लोकतंत्र में अमेरिकी मतदाताओं ने सिर्फ एक अश्वेत राष्ट्रपति (2008 में बराक ओबामा) चुना है और कभी अश्वेत महिला को राष्ट्रपति नहीं चुना है। कुछ अश्वेत मतदाता भी आशंका जताते हैं कि क्या हैरिस अमेरिकी राजनीति के इस रिकार्ड को तोड़ पाएंगी। राजनीतिक रणनीतिकार एवं ब्लैक वोटर्स मैटर फंड के सह-संस्थापक लातोशा ब्राउन ने कहा, 'क्या उनकी नस्ल और लिंग एक मुद्दा नहीं होगा? बिल्कुल होगा।'
हैरिस, युवा मतदाताओं की पहली पसंद
हैरिस अगर डेमोक्रेटिक पार्टी की प्रत्याशी बनीं तो उनके सामने और भी अन्य चुनौतियां होंगी। मसलन, उनके पास चुनाव प्रचार करने, पार्टी को एकजुट करने और चंदादाताओं को जुटाने के लिए सिर्फ तीन महीनों का वक्त होगा। हालांकि कुछ डेमोक्रेट उनकी संभावनाओं को लेकर उत्साहित हैं। 59 वर्षीय हैरिस गर्भपात के अधिकारों को लेकर काफी मुखर रही हैं और यह मुद्दा युवा मतदाताओं को काफी लुभाता है और डेमोक्रेटिक पार्टी की प्रगतिशील विचारधारा से मेल खाता है।
हैरिस के समर्थकों को काफी उम्मीद
समर्थकों का तर्क है कि वह मतदाताओं को उत्साहित करेंगी, अश्वेत समर्थन को मजबूत करेंगी और ट्रंप के विरुद्ध राजनीतिक मामले को आगे बढ़ाने के लिए अपने बहस कौशल का प्रयोग करेंगी। ब्राउन ने कहा कि उनकी उम्मीदवारी रिपब्लिकन टिकट पर दो श्वेत पुरुषों ट्रंप और उनके उपराष्ट्रपति पद के उम्मीदवार जेडी. वेंस के समक्ष एक विपरीत स्थिति पेश करेगी। ब्राउन ने कहा, ''मेरे लिए यह अमेरिका के अतीत को दर्शाता है। जबकि वह (हैरिस) अमेरिका के वर्तमान और भविष्य को दर्शाती हैं।''
हालांकि, कुछ डेमोक्रेट्स हैरिस के उपराष्ट्रपति कार्यालय में पहले दो वर्षों की अस्थिरता और 2020 के डेमोक्रेटिक नामांकन के लिए अल्पकालिक अभियान को लेकर चिंतित हैं। उल्लेखनीय है कि ट्रंप पर हमले की घटना के बाद 15-16 जुलाई को रॉयटर्स/इप्सोस पोल में हैरिस और ट्रंप 44 प्रतिशत समर्थन के साथ बराबरी पर थे। उसी पोल में ट्रंप 43 प्रतिशत के साथ बाइडन के 41 प्रतिशत से आगे थे। हालांकि दो प्रतिशत अंकों का यह अंतर पोल के तीन प्रतिशत अंकों की त्रुटि मार्जिन के भीतर था।
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