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    90 मिनट में न्यूयॉर्क से पेरिस का सफर, ध्वनि से पांच गुना तेज होगी गति; अमेरिकी स्टार्टअप का सुपरसोनिक प्लान

    कॉनकॉर्ड सुपरसोनिक जेट कई दशक पहले बंद हो चुका है क्योंकि एक सर्वे में लोगों ने कहा था कि इससे उन्हें काफी परेशानी हो रही है। इसके बाद अब एक अमेरिकी स्टार्टअप ने सुपरसोनिक जेट को लेकर नया लक्ष्य बनाया है। यह जेट 20 लोगों के साथ एक घंटे में 6 हजार से ज्यादा की दूरी तय करने में सक्षम होगा।

    By Shalini KumariEdited By: Shalini KumariUpdated: Tue, 05 Sep 2023 12:10 PM (IST)
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    अमेरिकी स्टार्टअप ने 2024 में बनाया सुपरसोनिक जेट को उड़ाने का लक्ष्य

    नई दिल्ली, ऑनलाइन डेस्क। विश्व के कई देश अपने देश की तकनीकी विकास पर काफी जोर दे रहे हैं, किसी देश में हथियारों में तकनीकी विकास किया जा रहा है, तो कहीं आम लोगों के जीवन को आसान बनाने का प्रयास किया जा रहा है। इसी कड़ी में परिवहन भी आता है, हर देश अपने क्षेत्र में परिवहन के विकास को ध्यान में रखते हुए कई तकनीकी प्रयोग कर रहे हैं।

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    एक घंटे में तय होगी 6 हजार किमी की दूरी

    हम उदाहरण के तौर पर देख सकते हैं कि भारत में वंदे भारत एक्सप्रेस ट्रेन को तकनीकी तौर पर काफी एडवांस बनाया गया है, जिसके कारण वह 6 घंटे की दूरी को भी कुछ घंटों में ही पूरा कर देती है। ऐसा ही एक और तकनीकी प्रयोग किया जा रहा है, जिससे 7-8 घंटे की दूरी को महज 90 मिनट में पूरा कर लिया जाएगा।

    ध्वनि से तेज होगी गति

    दरअसल,  हर्मियस की गुफाओं वाली अटलांटा फैक्ट्री में एक ऐसा जेट इंतजार कर रही है, जिसकी स्पीड ध्वनि की गति से भी पांच गुना ज्यादा होगी। हालांकि, इसकी कल्पना करना भी मुश्किल है कि आखिर कोई चीज ध्वनि की गति से तेज कैसे हो सकती है, लेकिन ऐसा होने जा रहा है। दरअसल, क्वार्टर हॉर्स नाम के ड्रोन का एक प्रोटोटाइप है। इसे सितंबर में शुरू होने वाले ग्राउंड-टेस्टिंग के लिए निर्धारित किया गया है।

    निर्माता कंपनी हर्मियस (Hermius) के सीईओ ए जे पिप्लिका और उनके सह-संस्थापकों का मानना है कि इस विमान का निर्माण एक साहसिक लक्ष्य की ओर लंबी यात्रा की ओर पहला कदम है, जो हाइपरसोनिक गति से 20 यात्रियों को ले जाने में सक्षम होगा। आम शब्दों में कहें तो, इसकी गति 6,195 किलो प्रति घंटे होगी।

    तकनीकी विकास में आएंगी कई चुनौतियां

    कॉनकॉर्ड की आखिरी उड़ान के 20 साल पूरे हो गए हैं, जो अभूतपूर्व लेकिन पैसा खोने वाला सुपरसोनिक जेटलाइनर है। अब तक, सुपरसोनिक यात्रा को वापस लाने की कोशिश करने वाले किसी भी स्टार्टअप्स ने भी मैदान नहीं छोड़ा है।

    हर्मियस के सीईओ पिप्लिका (CEO Piplica) स्वीकार करते हैं कि हर्मियस एक ऐसे विमान के निर्माण में और भी कई तकनीकी चुनौतियां आने वाली है, जैसे तीव्र गर्मी में लंबे समय तक उड़ान भरना, लेकिन उनका कहना है कि यह सबसे बड़ी समस्या नहीं है। उन्होंने कहा कि व्यावसायिक चुनौतियां सबसे कठिन और बड़ी चुनौती है। उन्होंने कहा, "आप सिर्फ एक यात्री विमान बनाने के लिए अरबों डॉलर नहीं जुटा सकते हैं।

    फंड का सही इस्तेमाल करने की योजना

    हर्मियस सीईओ पिप्लिका, पेंटागन के फंड का इस्तेमाल कॉम्पैक्ट हाइपरसोनिक ड्रोन बनाकर अपनी प्रौद्योगिकी का प्रदर्शन करने के लिए करेंगे। यदि यह सफल हो जाता है, तो वाशिंगटन हाइपरसोनिक मिसाइलों के विकास में चीन और रूस से आगे निकलने में सक्षम होगा। विमान के तीन अलग-अलग संस्करणों के निर्माण और परीक्षण के लिए स्टार्टअप हर्मियस को अमेरिकी वायु सेना ने 30 मिलियन डॉलर का फंड भी दिया था।

    2024 में भरेगा पहली उड़ान

    सीईओ पिप्लिका के मुताबिक, इस हाइपरसोनिक विमान की पहली उड़ान 2024 में की जाएगी। सीईओ ने कहा कि वे उम्मीद करते हैं कि इस पूरे विकास की लागत 100 मिलियन डॉलर से कम होगी। हर्मियस ने उम्मीद जताई है कि 2026 की शुरुआत में, वह लंबी दूरी की निगरानी और हमलों के लिए अपने ड्रोन, डार्क हॉर्स को भी इस्तेमाल करने लगेगा। सीईओ पिप्लिका को उ्ममीद है कि एक बार सभी परीक्षण पूरे हो जाएंगे, तो हाइपरसोनिक ड्रोन का एक बेड़ा रक्षा विभाग के मिशनों का संचालन और प्रदर्शन कर सकेगा।

    सुपरसोनिक विमान विकसित करने में नासा को हासिल हुआ मील का पत्थर

    नासा सुपरसोनिक विमान विकसित करने की अपनी योजना में एक और मील के पत्थर पर पहुंच गया है।  एजेंसी ने मंगलवार को घोषणा की कि बोइंग और नॉर्थरॉप ग्रुम्मन को मैक 2-प्लस यात्रा को वास्तविकता देने के लिए रोडमैप विकसित करने के लिए अनुबंध दिया गया है। यह कंपनियां, अन्य उद्योग भागीदारों के साथ मिलकर ऐसे विमानों के लिए अवधारणाएं तैयार करेंगी, जो 6,195 किलो प्रति घंटे पहुंच सके।

    कॉनकॉर्ड था आखिरी सुपरसोनिक जेट

    नासा के अनुसार, आधुनिक विमान लगभग एक घंटे में 965 किलोमीटर की दूरी तय करते हैं। वहीं, कॉनकॉर्ड सुपरसोनिक जेट, जो अब बंद हो चुका है, वह एक घंटे में लगभग 2,156 किलोमीटर का सफर तय कर लेती थी। नासा के हाइपरसोनिक टेक्नोलॉजी प्रोजेक्ट के प्रबंधक मैरी जो लॉन्ग-डेविस ने कहा, "नासा की एडवांस हाई-स्पीड यात्रा रणनीति के लिए डिजाइन काफी महत्वपूर्ण साबित होने वाले हैं। दरअसल, इस बात की जानकारी तब सामने आई है, जब नासा ने अपने सुपरसोनिक विमान का परीक्षण शुरू किया है।

    अमेरिका ने लगा दिया था प्रतिबंध

    स्पेस एजेंसी ने पिछले महीने एक बयान में कहा था, लॉकहीड मार्टिन के साथ विकसित नासा के एक्स-59 को ध्वनि अवरोध को तोड़ने के साथ-साथ तेज ध्वनि उछाल को "सोनिक थंप" में बदलने के लिए डिजाइन किया गया था।

    यह एक महत्वपूर्ण प्रयोग है क्योंकि हालांकि, अमेरिका में 50 साल पहले ही इस तरह के गैर-सैन्य सुपरसोनिक उड़ान पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। नासा के मुताबिक, 1973 में एक सर्वे किया गया था, जिस दौरान लोगों का मानना था कि वे अक्सर इस तरह से विमान की तेज आवाज से डर जाते  हैं और इससे उनकी संपत्ति को नुकसान हो सकता है।