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    'गाजा से ज्यादा संख्या में शरणार्थियों को स्वीकार करें,' अरब देशों से डोनाल्ड ट्रंप की खास अपील

    Updated: Sun, 26 Jan 2025 03:45 PM (IST)

    अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने शनिवार को कहा कि जार्डन मिस्त्र और अन्य अरब देश गाजा पट्टी से अधिक से अधिक संख्या में फलस्तीनी शरणार्थियों को स्वीकार करें ताकि युद्धग्रस्त क्षेत्र से ज्यादा से ज्यादा लोगों को बाहर निकाला जा सके। जार्डन के राजा अब्दुल्ला द्वितीय के साथ फोन पर अपने रुख को लेकर चर्चा की और मिस्त्र के राष्ट्रपति अब्देल फतह अल सीसी से भी बात करेंगे।

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    अरब देशों से डोनाल्ड ट्रंप की खास अपील

    एयर फोर्स वन, एपी। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने शनिवार को कहा कि जार्डन, मिस्त्र और अन्य अरब देश गाजा पट्टी से अधिक से अधिक संख्या में फलस्तीनी शरणार्थियों को स्वीकार करें, ताकि युद्धग्रस्त क्षेत्र से ज्यादा से ज्यादा लोगों को बाहर निकाला जा सके। उन्होंने कहा कि जार्डन के राजा अब्दुल्ला द्वितीय के साथ फोन पर अपने रुख को लेकर चर्चा की और मिस्त्र के राष्ट्रपति अब्देल फतह अल सीसी से भी बात करेंगे।

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    ट्रंप ने कहा कि मैं चाहता हूं कि वे ज्यादा से ज्यादा लोगों को स्वीकार करें। आप शायद 15 लाख लोगों की बात कर रहे हैं, लेकिन हम चाहते हैं कि पूरे इलाके को साफ किया जाए और हम कह सकें कि युद्ध खत्म हो गया है।

    क्या बोले डोनाल्ड ट्रंप?

    ट्रंप ने कहा कि जार्डन को फलस्तीनी शरणार्थियों को सफलतापूर्वक स्वीकार करने के लिए बधाई दी और अब्दुल्ला से कहा कि मैं चाहता हूं कि आप और अधिक शरणार्थियों को स्वीकार करें, क्योंकि मैं अभी पूरी गाजा पट्टी को देख रहा हूं और वहां हालात वास्तव में बहुत खराब हैं।

    गाजा पट्टी में अलग जगह आवास बनाने की पहल

    अमेरिकी राष्ट्रपति ने फलस्तीनियों के बड़े पैमाने पर विस्थापन के बारे में कहा, 'यह अस्थायी या दीर्घकालिक हो सकता है। दुनिया का वह क्षेत्र, जिसमें गाजा भी शामिल है, ‘सदियों से’ कई संघर्षों का सामना कर रहा है।'

    उन्होंने इसके बाद कहा, 'कुछ तो किया ही जाना चाहिए, लेकिन यह क्षेत्र अभी पूरी तरह से विध्वंस स्थल में बदल चुका है। लगभग सब कुछ तबाह हो चुका है और लोग मर रहे हैं।'

    ट्रंप ने कहा, 'इसलिए, मैं कुछ अरब देशों के साथ मिलकर उनके (गाजा पट्टी के लोगों) लिए एक अलग जगह पर आवास बनाने का आह्वान करना चाहूंगा, जहां वे शांति से रह सकें।