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    Bengal Panchayat: बंगाल में रात दो बजे दलबदल, वाम-कांग्रेस के तीन पंचायत सदस्य तृणमूल में शामिल

    By Jagran NewsEdited By: Anurag Gupta
    Updated: Sat, 05 Aug 2023 06:27 PM (IST)

    बंगाल के पंचायत चुनाव में हिंसा हत्या से लेकर बैलेट बाक्स लूट से लेकर बैलेट पेपर खाने तक की घटना हुई। अब जब पंचायतों में बोर्ड गठित होने जा रहा है तो भी हत्याएं हो रही हैं। तृणमूल सूत्रों के अनुसार मुर्शिदाबाद के नाउदा ब्लाक के चांदपुर ग्राम पंचायत के तीन विजयी सदस्यों ने शुक्रवार आधी रात को वाम और कांग्रेस छोड़ दी।

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    वाम-कांग्रेस के तीन पंचायत सदस्यों ने थामा तृणमूल का दामन (फाइल फोटो)

    कोलकाता, राज्य ब्यूरो। बंगाल के पंचायत चुनाव में हिंसा, हत्या से लेकर बैलेट बाक्स लूट से लेकर बैलेट पेपर खाने तक की घटना हुई। अब जब पंचायतों में बोर्ड गठित होने जा रहा है तो भी हत्याएं हो रही हैं, अपरहण हो रहे हैं। यही नहीं दिन ही नहीं रात दो बजे भी दलबदल का खेल चल रहा है। शुक्रवार को घड़ी में रात के 1:47 बज रहे थे, इलाके के ज्यादातर लोग सो चुके थे।

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    मुर्शिदाबाद जिले के नाउदा इलाके में अचानक से तृणमूल कांग्रेस जिंदाबाद के नारे सुनाई देने लगे और काफी देर तक नारेबाजी होती रही। तभी सामने मुख्य सड़क घरों से निकलकर लोग जमा होने लगे। पार्टी कार्यालय के अंदर लोगों की भीड़ थी। अपरिचित चेहरों और लक्जरी कारों की कतारें थी। थोड़ी देर बाद पता चला कि यहां दलबदल खेल चल रहा है। आधी रात को वाम और कांग्रेस के तीन विजयी पंचायत सदस्य पार्टी छोड़कर तृणमूल में शामिल हो गए।

    पंचायतों पर तृणमूल की पकड़ हुई मजबूत

    पंचायत बोर्ड गठन का समीकरण बदल गया है। जिन पंचायतों पर पूरी तरह से कांग्रेस का नियंत्रण था, वहां भी तृणमूल ने अपनी पकड़ बना ली है। जैसे-जैसे पंचायत गठन के दिन नजदीक आ रहे हैं, सक्रियता बढ़ती जा रही है।

    भाजपा से लेकर कांग्रेस तक के नेता कह रहे हैं कि पुलिस से लेकर गुंडों तक से दबाव डालकर पंचायत सदस्यों को तृणमूल में शामिल होने के लिए मजबूर किया जा रहा है। हालांकि, तृणमूल ने आरोपों को खारिज कर दिया है। परंतु प्रश्न यही है कि आधी रात में झंडा थमाने का कारण क्या है?

    अधीर के जिले में तृणमूल की सेंधमारी

    तृणमूल सूत्रों के अनुसार, मुर्शिदाबाद के नाउदा ब्लाक के चांदपुर ग्राम पंचायत के तीन विजयी सदस्यों ने शुक्रवार आधी रात को वाम और कांग्रेस छोड़ दी। चांदपुर ग्राम पंचायत के बूथ नंबर 268 से आरएसपी सदस्य काबरुल मंडल, बूथ नंबर 256 से कांग्रेस सदस्य अब्दुर रब शेख और बूथ नंबर 262 से कांग्रेस सदस्य बनिरुल मालित्य एक साथ तृणमूल में शामिल हुए और परिणामस्वरूप, कांग्रेस ने अपना बहुमत खो दिया है और तृणमूल अब उस पंचायत में समान रूप से मजबूत है, सत्तारूढ़ दल का का दावा है।

    20 सीटों वाली चांदपुर ग्राम पंचायत में कांग्रेस ने 11 सीटों पर कब्जा कर लिया है। तृणमूल को सात सीटें मिलीं। वाममोर्चा के आरएसपी उम्मीदवारों ने दो सीटें जीतीं। अब पंचायत चुनाव में पूर्ण बहुमत मिलने के बावजूद विपक्ष सदस्यों को बनाए रखने और बोर्ड बनाने के लिए संघर्ष करना पड़ रहा है।

    बताते चलें कि यह जिला लोकसभा में कांग्रेस संसदीय दल के नेता व बंगाल कांग्रेस अध्यक्ष अधीर रंजन चौधरी का गृह क्षेत्र है और इसी जिले से वे सांसद भी हैं। एक तरफ आइएनडीआइए गठबंधन की बातें हो रही हैं और दूसरी ओर पार्टी तोड़ने का खेल चल रहा है।