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    Kolkata Case: एक्शन मोड में ममता सरकार, अब सभी मेडिकल कॉलेजों के रेजिडेंट डॉक्टरों का मांगा ब्योरा

    Updated: Sun, 08 Sep 2024 02:49 PM (IST)

    Kolkata Doctor Murder Case ममता सरकार ने राज्य के मेडिकल कॉलेजों और अस्पतालों से सभी रेजिडेंट डॉक्टरों के बारे में विस्तृत जानकारी मांगी है। राज्य के स्वास्थ्य विभाग द्वारा शनिवार को मांगी गई जानकारी में पंजीकरण संख्या आधार और पैन नंबर मोबाइल नंबर और उनके शैक्षणिक रिकॉर्ड का विवरण शामिल है। राज्य के स्वास्थ्य विभाग ने इस तरह के विवरण मांगने का कोई कारण नहीं बताया है।

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    Kolkata Doctor Murder Case बंगाल सरकार का बड़ा कदम।

    आईएएनएस, कोलकाता। पश्चिम बंगाल स्वास्थ्य विभाग ने एक अधिसूचना के जरिए राज्य के मेडिकल कॉलेजों और अस्पतालों से सभी रेजिडेंट डॉक्टरों के बारे में विस्तृत जानकारी मांगी है। राज्य के स्वास्थ्य विभाग द्वारा शनिवार को मांगी गई जानकारी में पंजीकरण संख्या, आधार और पैन नंबर, मोबाइल नंबर और उनके शैक्षणिक रिकॉर्ड का विवरण शामिल है। 

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    निजी प्रैक्टिस करने की अनुमति नहीं 

    रेजिडेंट मेडिकल ऑफिसर और सीनियर रेजिडेंट के पद नॉन-प्रैक्टिसिंग पद हैं, जिसका मतलब है कि उन्हें अस्पताल की ड्यूटी से परे निजी प्रैक्टिस करने की अनुमति नहीं है। 

    विवरण मांगने का कोई कारण नहीं बताया

    हालांकि, राज्य के स्वास्थ्य विभाग ने इस तरह के विवरण मांगने का कोई कारण नहीं बताया है, लेकिन पिछले महीने अस्पताल परिसर के भीतर सरकारी आरजी कर मेडिकल कॉलेज और अस्पताल की एक जूनियर डॉक्टर के साथ हुए जघन्य बलात्कार और हत्या को लेकर जारी विरोध के बीच इस घटनाक्रम ने मेडिकल बिरादरी के सदस्यों के बीच हलचल पैदा कर दी है।

    रेजिडेंट डॉक्टरों के निलंबन पर एक्शन

    इस अधिसूचना को मेडिकल बिरादरी के प्रतिनिधियों द्वारा दो सरकारी मेडिकल कॉलेजों और अस्पतालों से जुड़े दो रेजिडेंट मेडिकल ऑफिसर और एक सीनियर रेजिडेंट डॉक्टर के निलंबन की पृष्ठभूमि में भी महत्वपूर्ण माना जा रहा है। तीनों को पश्चिम बंगाल मेडिकल काउंसिल के पूर्व और विवादास्पद प्रिंसिपल संदीप घोष का करीबी विश्वासपात्र माना जाता था।

    सीबीआई की हिरासत में है संदीप घोष

    घोष वर्तमान में आरजी कर में वित्तीय अनियमितताओं के मामले में कथित संबंधों के कारण केंद्रीय जांच ब्यूरो (सीबीआई) की हिरासत में हैं। दो निलंबित रेजिडेंट मेडिकल ऑफिसर और एक सीनियर रेजिडेंट के खिलाफ अपने राजनीतिक प्रभाव का इस्तेमाल कर जूनियर डॉक्टरों को परेशान करने और धमकाने की शिकायतें मिल रही हैं।