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रचनात्मकता को बढ़ावा देने को आइआइटी खड़गपुर में शास्त्रीय एवं लोक कला अकादमी का शुभारंभ

देश की आइआइटी व्यवस्था में शास्त्रीय और लोक कला अकादमी शुरू करने वाला भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आइआइटी) खड़गपुर पहला संस्थान बना।

By Vijay KumarEdited By: Updated: Wed, 19 Aug 2020 04:35 PM (IST)
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रचनात्मकता को बढ़ावा देने को आइआइटी खड़गपुर में शास्त्रीय एवं लोक कला अकादमी का शुभारंभ

राज्य ब्यूरो, कोलकाता : भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आइआइटी) खड़गपुर ने राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के प्रस्तावों को अपनाते हुए अपने परिसर में शास्त्रीय एवं लोक कला अकादमी की शुरुआत की है। संस्थान के प्रवक्ता ने बुधवार को यह जानकारी दी। देश की आइआइटी व्यवस्था में अपने तरह की पहली इस अकादमी को शुरू करने का उद्देश आइआइटी खड़गपुर में संगीत एवं ललित कलाओं को समाहित करते हुए संस्थान के छात्र-छात्राओं की रचनात्मक प्रतिभा को बढ़ावा देना है। 

प्रवक्ता ने बताया कि यहां संगीत, ललित कला और अन्य प्रदर्शन कलाओं से संबंधित प्रशिक्षण दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि यह अकादमी नवाचार और बहु-विषयक शिक्षण को बढ़ावा देने संबंधी नयी शिक्षा नीति 2020 के अनुरूप है। उन्होंने बताया कि हिंदुस्तानी शास्त्रीय संगीत गायक पंडित अजय चक्रवर्ती अकादमी में '100 रागों' का प्रशिक्षण देंगे। इसका उद्देश्य रचनात्मक कलाओं के साथ संज्ञानात्मक विज्ञान को जोड़कर भारीतय रागों की गहरी संरचना स्थापित करना है। 

वहीं, संस्थान के निदेशक प्रोफेसर वीके तिवारी ने कहा, 'एक राष्ट्रीय स्तर के संस्थान के लिए अपने छात्रों, कर्मचारियों और संकाय सदस्यों के समग्र विकास पर ध्यान देना आवश्यक है। आइआइटी खड़गपुर में शास्त्रीय और लोक कला अकादमी अपनी तरह का पहला संस्थान है।' उप निदेशक प्रोफेसर एस के भट्टाचार्य ने कहा कि पंडित अजय चक्रवर्ती संगीत की मदद से वैज्ञानिक नवाचार विकसित करने को लेकर एक व्याख्यान देंगे।