'फिर कुछ और ही होते नतीजे...', दिल्ली चुनाव नतीजों पर ममता ने AAP और कांग्रेस को सुनाई खरी-खरी
बंगाल की सीएम ममता बनर्जी ने कहा कि 2026 में फिर से दो-तिहाई बहुमत से हम सत्ता में आएंगे। दिल्ली के जैसे बीजेपी को बंगाल में कोई सफलता नहीं मिलने वाली। बंगाल की मुख्यमंत्री ने कहा कि दिल्ली में आप और कांग्रेस मिलकर चुनाव लड़ा होता तो नतीजे अलग होते। दिल्ली के विधानसभा चुनाव में बीजेपी ने 48 सीटों पर जीत हासिल की है।
राज्य ब्यूरो, जागरण, कोलकाता। बंगाल की मुख्यमंत्री और तृणमूल कांग्रेस सुप्रीमो ममता बनर्जी ने सोमवार को अपनी पार्टी के विधायकों से कहा कि दिल्ली चुनाव के नतीजों का अगले साल होने वाले बंगाल में होने वाले विधानसभा चुनाव पर कोई असर नहीं पड़ेगा।
दरअसल, राज्यपाल के अभिभाषण के साथ विधानसभा का बजट सत्र शुरू होने से ठीक पहले एक आंतरिक बैठक के दौरान ममता ने तृणमूल विधायकों से कहा कि हम अपने दम पर 2026 में फिर से दो-तिहाई बहुमत से सत्ता में आएंगे। कांग्रेस के पास यहां कुछ भी नहीं है। हम अपने दम पर जीतेंगे।
दिल्ली में 27 साल बाद बीजेपी सरकार
भाजपा 27 साल बाद दिल्ली में सत्ता में लौटी है और आप सरकार को करारी हार का सामना करना पड़ा। आप प्रमुख और दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल सहित पार्टी के सभी बड़े नेताओं को हार का सामना करना पड़ा।
फिर कुछ और होते नतीजे
वहीं, दिल्ली चुनाव में गठबंधन नहीं होने के सवाल पर ममता ने कहा कि यदि आम आदमी पार्टी और कांग्रेस मिलकर चुनाव लड़ा होता तो नतीजे अलग होते। बैठक के दौरान नदिया जिले के एक तृणमूल विधायक ने कहा, दीदी को लगता है कि कांग्रेस को करीब पांच प्रतिशत वोट मिलने से नतीजों पर असर पड़ा।
उनके अनुसार, ममता ने कहा कि अगर कांग्रेस ने थोड़ा लचीलापन रूख दिखाया होता और आप के साथ चुनावी समझौता किया होता तो नतीजे अलग होते। उन्होंने यह भी कहा कि हरियाणा में भी आप ने कांग्रेस का समर्थन नहीं किया।
बीजेपी को केवल टीएमसी हराएगी
ममता का मानना है कि अगर दोनों गठबंधन सहयोगी एक साथ चुनाव लड़ते तो हरियाणा में भाजपा सत्ता में नहीं लौटती। तृणमूल विधायक ने कहा कि मुख्यमंत्री को नहीं लगता कि बंगाल में भी यही स्थिति होगी, क्योंकि अन्य विपक्षी दलों के पास तृणमूल की तरह भाजपा की चुनौती का सामना करने के लिए संगठनात्मक ताकत नहीं है।
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